दिल्ली के 'गैस चैंबर' में तब्दील होने के बाद राजधानी में 'इन' डीजल वाहनों पर लगा प्रतिबंध

आदेश अनुसार हाइवे, सड़कों, फ्लाईओवर, ओवरब्रिज, पावर ट्रांसमिशन और पाइपलाइन जैसे बड़े प्रोजक्ट के निर्माण पर भी अगले आदेश तक रोक रहेगी. सरकारी और प्राइवेट ऑफिस में 50 प्रतिशत स्टाफ वर्क फ्रॉम होम रहेंगे.

नई दिल्ली:

देश की राजधानी दिल्ली फिर एक बार 'गैस-चैंबर' में तब्दील हो गई है. हवा की गुणवत्ता बेहद खराब हो चुकी है. ऐसे में राष्ट्रीय राजधानी में एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) के गंभीर श्रेणी में पहुंचने और आगे भी हालात लगभग ऐसे ही बने रहने के मद्देनजर एयर क्वालिटी कमीशन ने गुरुवार को आदेश जारी किया है. बकौल कमीशन राजधानी में जरूरी सामानों के अलावा अन्य डीजल ट्रकों की एंट्री पर रोक रहेगी. केवल सीएनजी और इलेक्ट्रिक ट्रक ही चल सकेंगे. 

साथ ही राजधानी के अंदर भी मीडियम और बड़ी गाड़ियां नहीं चल सकेंगी. सिर्फ जरूरी सामानों से जुड़ी गाड़ियों को छूट रहेगी. राजधानी और राजधानी से लगते शहरों में डीजल गाड़ियों पर रोक (BS-6 और जरूरी सामान सेवाओं वाले वाहन को छूट) रहेगी. वहीं, जो इंडस्ट्री क्लीन फ्यूल पर नहीं चल रही हैं, उन पर रोक रहेगी. हालांकि, इमरजेंसी इंडस्ट्री जैसे दूध, डेयरी, दवाइयों व मेडिकल सामानों को छूट रहेगी.

आदेश अनुसार हाइवे, सड़कों, फ्लाईओवर, ओवरब्रिज, पावर ट्रांसमिशन और पाइपलाइन जैसे बड़े प्रोजक्ट के निर्माण पर भी अगले आदेश तक रोक रहेगी. सरकारी और प्राइवेट ऑफिस में 50 प्रतिशत स्टाफ वर्क फ्रॉम होम रहेंगे. राज्य सरकार स्कूलों, कॉलेजों, एजुकेशनल इंस्टीट्यूट, गाड़ियों को ऑड-ईवन पर चलाने जैसे निर्णय ले सकती हैं.

इधर, दिल्ली में GRAP-4 लागू करने के CAQM के निर्देश के बाद पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने बैठक बुलाई है. 4 नवम्बर को दोपहर 12 बजे दिल्ली सचिवालय में गोपाल राय की अध्यक्षता में ये बैठक होगी. बैठक में पर्यावरण विभाग और अन्य संबंधित विभागों से जुड़े अधिकारी मौजूद रहेंगे.

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