
Kisan Aandolan: कृषि कानूनों (Farm Laws) को लेकर केंद्र सरकार और किसानों (Talk Between government and Farmers) के बीच का गतिरोध अब तक दूर नहीं हो सका है. जहां किसान, तीनों कानूनों को रद्द करने की मांग पर अड़े हुए हैं जबकि सरकार कानून में संशोधन पर ही जोर दे रही है. दोनों पक्षों के बीच आज यानी बुधवार को 10वें दौर की बातचीत होने वाली है. ऑल इंडिया किसान सभा पंजाब के अध्यक्ष बालकरण सिंह बराड़ ने NDTV से कहा, 10वें दौर की बैठक (10th round talk) में हम कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर (Narendra singh Tomar) के सामने अपना विरोध दर्ज करेंगे जिस तरह से नेशनल इनवेस्टीगेशन एजेंसी (NIA) ने हमारा समर्थन कर रहे लोगों को नोटिस जारी किया है. हम कृषि मंत्री से पूछेंगे कि NIA ने हमारा लंगर का इंतजाम करने वाले, हमें स्वास्थ्य सेवाएं देने वाले और जो किसान शहीद हुए हैं, उनको मुआवजा देने वाले संस्थाओं को NIA ने क्यों नोटिस दिया है, यह आज हमारी पहली मांग होगी.
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बराड़ ने कहा कि हम कृषि मंत्री के तीनों नए कानून में संशोधन के प्रस्ताव को पहले ही खारिज कर चुके हैं. आज हम फिर मांग करेंगे कि तीनों नए कानून रद्द किए जाएं और न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की गारंटी देने के लिए देश में नया कानून बने. पंजाब से किसान नेता बलदेव सिंह ने इस मौके पर कहा कि 26 जनवरी को हमारा ट्रैक्टर रैली का जो कार्यक्रम है, वह होगा. हम रिंग रोड पर ट्रैक्टर रैली निकालेंगे, लेकिन साथ ही हम यह भी साफ कर देना चाहते हैं कि हम किसी भी सरकारी कार्यक्रम को 26 जनवरी को बाधित नहीं करेंगे.
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हमारा विरोध शांतिपूर्ण होगा. उन्होंने कहा कि हमारा विरोध तब तक चलता रहेगा जब तक तीनों ने किसी कानून रद्द नहीं किए जाते. बलदेव सिंह ने कहा कि NIA ने हमें नोटिस भेजा है. हम आज की बैठक में कृषि मंत्री के सामने यह सवाल पूछेंगे कि NIA ने हमें क्यों इस तरह की नोटिस भेजी है. ऐसे समय पर जब हम आंदोलन कर रहे हैं और हमारा आंदोलन तेजी से आगे बढ़ रहा है. किसान संघर्ष मोर्चा ने यह तय किया है कि जिनको नोटिस दिया गया है वह NIA के सामने पेश नहीं होंगे. उन्होंने कहा, 'मैं किसान संघर्ष समिति का सदस्य हूं और संघर्ष समिति के फैसले का पालन करूंगा.'
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