सीएम नवीन पटनायक ने पीएम मोदी को लिखे पत्र में कहा है कि "पुरुषों का अगला हॉकी विश्व कप नवंबर में ओडिशा में आयोजित किया जाएगा. मैं यह जानकर चौंक गया और आश्चर्यचकित हुआ कि राष्ट्रीय खेल के रूप में देश में लोकप्रिय हॉकी को हमारे राष्ट्रीय खेल के रूप में कभी अधिसूचित नहीं किया गया."
नवीन पटनायक ने पीएम मोदी से कहा है कि ‘‘मुझे पूरा भरोसा है कि आप हमारे देश के करोड़ों प्रशंसकों से सहमत होंगे कि हॉकी हमारे राष्ट्रीय खेल के रूप में आधिकारिक रूप से मान्यता का हकदार है. यह हमारे हॉकी के उन महान खिलाड़ियों के लिए श्रद्धांजलि होगी जिन्होंने हमारे देश को गौरवान्वित किया.’’ हॉकी ने देश को आठ ओलंपिक स्वर्ण पदक दिए हैं.Dear PM @narendramodi ji, you will agree with crores of hockey loving fans of our country that Hockey truly deserves to be notified as our National Game. This will be a fitting tribute to our great players & inspire youngsters #HockeyForNationalGame 1/4 https://t.co/oTGcrHxO9U pic.twitter.com/X7E7jrlWOo
— Naveen Patnaik (@Naveen_Odisha) June 20, 2018
नवीन पटनायक ने हॉकी को लेकर बुधवार को कई ट्वीट किए. एक ट्वीट में उन्होंने कहा कि हॉकी विश्व कप 2018 (एचडब्ल्यूसी2018) के लिए तैयारी की समीक्षा करते समय, मुझे यह जानकर आश्चर्य हुआ कि जिस खेल को हमने हमेशा अपने राष्ट्रीय खेल के रूप में प्यार किया है, उसे आधिकारिक तौर पर अधिसूचित नहीं किया गया है.
हॉकी ने भारत को गर्व करने के कई मौके दिए हैं. सन 1948 में नवजात राष्ट्र भारत ने अपना पहला ओलंपिक स्वर्ण पदक जीता था और राष्ट्रीय हॉकी टीम ने ग्रेट ब्रिटेन को हराया था. यह शायद प्राकृतिक न्याय था कि युवा और महत्वाकांक्षी भारत ने हमारे ऊपर राज करते रहने वाले (ब्रिटेन) के खिलाफ मैच जीता था.While reviewing preparations for the Odisha #HWC2018, I was greatly surprised to learn that the sport we have always loved as our National Game has never been officially notified. #HockeyForNationalGame #India4Hockey #Odisha4Hockey 2/4
— Naveen Patnaik (@Naveen_Odisha) June 20, 2018
नवीन ने कहा ह कि हॉकी भारतीय मानस का हिस्सा है. ग्रामीण क्षेत्र हों या शहरी, यह सभी जगह बेहद लोकप्रिय है. ओडिशा और झारखंड के जनजातीय क्षेत्रों में हॉकी जीवन का एक तरीका है. जब भी हमारी टीम जीतती है तो करोड़ों भारतीय खुश होते हैं.#Hockey has brought India’s proudest moments. In 1948, a newborn nation India won its first Olympic gold medal when National Hockey team beat Great Britain. It was perhaps poetic justice that young & aspirational India won against its former coloniser #HockeyForNationalGame 3/4
— Naveen Patnaik (@Naveen_Odisha) June 20, 2018
गौरतलब है कि भारत में हॉकी को अनधिकृत रूप से राष्ट्रीय खेल के रूप में ही पहचाना जाता रहा है. ओडिशा नवंबर में हॉकी विश्व कप की मेजबानी करेगा.Hockey is part of Indian psyche. Cutting across rural, urban divide, it is hugely popular. In tribal areas of #Odisha & Jharkhand, #hockey is a way of life. Crores of Indians rejoice everytime our team wins & National Anthem is played at medal podium #HockeyForNationalGame 4/4
— Naveen Patnaik (@Naveen_Odisha) June 20, 2018
VIDEO : हॉकी के नए कोच ने खिलाड़ियों के बार में यह कहा
ओडिशा में होने वाले हॉकी विश्व कप की तैयारियां शुरू कर दी गई हैं.