अयोध्या: बीएसपी का ऐलान, बीजेपी नींव पूरी नहीं कर सकी, मायावती सरकार राम मंदिर पूरा करेगी

अयोध्या में बहुजन समाज पार्टी का पहला ब्राह्मण सम्मेलन, पहली बार बीएसपी के मंच से 'जय श्री राम' के नारे लगे

अयोध्या: बीएसपी का ऐलान, बीजेपी नींव पूरी नहीं कर सकी, मायावती सरकार राम मंदिर पूरा करेगी

बीएसपी के महासचिव सतीश चंद्र मिश्र ने अयोध्या में सरयू नदी की आरती की.

लखनऊ:

अयोध्या में आज हुए बहुजन समाज पार्टी (BSP) के पहले ब्राह्मण सम्मेलन में मंच से 'जय श्री राम' के नारे लगे और ऐलान हुआ कि जिस राम मंदिर की नींव भी बीजेपी सरकार नहीं पूरी कर सकी, उस मंदिर का काम मायावती सरकार पूरा करेगी. सम्मेलन में पार्टी के महासचिव सतीश मिश्रा ने आरोप लगाया कि इस सरकार के दौरान चार सौ ब्राह्मणों की हत्या की गई है. कभी उन्हें शूट आउट में मारा गया तो कभी उनकी गाड़ी पलटाई गई. अगर वे बीएसपी के साथ आ जाएं तो उनकी सरकार बन जाएगी.

बीएसपी के इतिहास में पहली बार उनके मंच से जय श्री राम के नारे लगे. सतीश मिश्र ने कहा कि राम मंदिर का भूमि पूजन अशुभ मुहूर्त में करने के कारण बीजेपी के लोग मंदिर की नींव भी पूरी नहीं कर सके. मायावती सरकार आने पर राम मंदिर बहुत जल्द पूरा किया जाएगा.

सम्मेलन में सतीश मिश्र ने आरोप लगाया कि मौजूदा सरकार आने के बाद यूपी में 400 ब्राह्मणों  की हत्या हुई है. कभी उन्हें शूटआउट में मारा जाता है तो कभी उनकी गाड़ी पलटा दी जाती है. एनकाउंटर भी जाति देखकर हो रहा है.

सतीश मिश्रा ने कहा कि "इतना बड़ा चिट्ठा है. अगर गिनाने चलेंगे तो एक घंटा लग जाएगा, खाली उनके किस्से बताने में कि कहां- कहां, कैसे-कैसे 400 से ज़्यादा ब्राह्मण समाज के लोगों को मार गिराया गया है. कहते हैं कि रोको और ठोंको. लेकिन पहले जात पूछ लो. जात पूछ लो और उसके बाद ठोंक दो.

ब्राह्मण सम्मेलन से पहले सतीश मिश्रा ने हनुमानगढ़ी और रामजन्मभूमि में दर्शन किया, फिर सरयू के किनारे आरती की और सरयू में दुग्धाभिषेक किया. उन्होंने आरोप लगाया कि विकास दुबे कांड में एक साढ़े सोलह साल की बेकसूर ब्राह्मण बच्ची खुशी दुबे को सरकार ने एक साल से बंद कर रखा है. वह उसका मुकदमा लड़ेंगे.

सतीश मिश्रा ने कहा कि ''दो तारीख को हादसा हो गया और 48 घंटे भी नहीं हुए थे शादी को कि बंद कर दिया, जेल भेज दिया.'' सतीश मिश्र ने आरोप लगाया कि योगी सरकार के ब्राह्मण मंत्री सरकार में सिर्फ गुलदस्ते का काम करते हैं. जब ब्राह्मणों पर अत्याचार होता है तो उनकी डयूटी लगाई जाती है, उसे सही ठहराने के लिए. जबकि मायावती ने ब्राह्मणों को सबसे ज़्यादा प्रतिनिधित्व दिया.

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बीएसपी के महासचिव ने कहा कि ''ब्राह्मण समाज से 15 से ज़्यादा मंत्री बनाए. उन्होंने 35 लोगों को चेयरमैन बनाया और मंत्री का दर्जा देकर बनाया. और तो और उन्होंने विधान परिषद का अध्यक्ष भी ब्राह्मण समाज का बनाया, सम्मान देने के लिए.''