विक्रम कोठारी (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
बैंकों से 3700 करोड़ के गबन के आरोप में रोटोमैक पेन कंपनी के मालिक विक्रम कोठारी और उसके बेटे राहुल कोठारी को सीबीआई ने गिरफ्तार कर लिया है. ये दोनों रोटोमैक ग्लोबल प्राइवेट लिमिटेड के मालिक हैं, जो कानपुर में है. बता दें कि बीते दिनों सीबीआई दोनों को दिल्ली पूछताछ के लिए लाई थी. इनके ऊपर 7 बैंकों से गबन करने का आरोप है.
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सीबीआई ने बैंक ऑफ बड़ोदा की शिकायत के आधार पर सीबीआई ने मामला दर्ज किया है. मंलगवार शाम कानपुर में पूछताछ के लिए सीबीआई दोनों को साथ ले गई थी. लगातार दो दिनों तक सीबीआई ने कानपुर में इनके घर पर छापेमारी की. कोठारी के खिलाफ 3,700 करोड़ रुपये के कथित बैंक ऋण की धोखाधड़ी को लेकर धन शोधन जांच चल रही है.
जांच एजेंसी ने इस मामले में सबूत जुटाने के लिए उन्नाव और कानपुर सहित उत्तर प्रदेश में कई जगहों पर छापे भी मारे. आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि प्राथमिक जांच के अनुसार, ऋण की राशि का इच्छित उद्देश्यों के लिए उपयोग नहीं किया गया. कोठारी, उसकी पत्नी साधना और पुत्र राहुल देश छोड़ कर भाग न सकें, यह सुनिश्चित करने के लिए एक लुकआउट परिपत्र जारी कर केंद्रीय जांच एजेंसी द्वारा आव्रजन प्राधिकारियों को अधिसूचित किया गया.
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प्रवर्तन निदेशालय ने धनशोधन की रोकथाम कानून (पीएमएलए) के तहत रोटोमैक कंपनी और उसके प्रमोटरों के खिलाफ 18 फरवरी को आपराधिक आरोप लगाए. यह आरोप, सीबीआई द्वारा उसी दिन दर्ज एक प्राथमिकी के आधार पर लगाए गए. बता दें कि ये मामला नीरव मोदी द्वारा किये गये करीब साढ़े ग्यारह हजार के फ्रॉड सामने आने के बाद आया.
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सीबीआई ने बैंक ऑफ बड़ोदा की शिकायत के आधार पर सीबीआई ने मामला दर्ज किया है. मंलगवार शाम कानपुर में पूछताछ के लिए सीबीआई दोनों को साथ ले गई थी. लगातार दो दिनों तक सीबीआई ने कानपुर में इनके घर पर छापेमारी की. कोठारी के खिलाफ 3,700 करोड़ रुपये के कथित बैंक ऋण की धोखाधड़ी को लेकर धन शोधन जांच चल रही है.
जांच एजेंसी ने इस मामले में सबूत जुटाने के लिए उन्नाव और कानपुर सहित उत्तर प्रदेश में कई जगहों पर छापे भी मारे. आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि प्राथमिक जांच के अनुसार, ऋण की राशि का इच्छित उद्देश्यों के लिए उपयोग नहीं किया गया. कोठारी, उसकी पत्नी साधना और पुत्र राहुल देश छोड़ कर भाग न सकें, यह सुनिश्चित करने के लिए एक लुकआउट परिपत्र जारी कर केंद्रीय जांच एजेंसी द्वारा आव्रजन प्राधिकारियों को अधिसूचित किया गया.
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प्रवर्तन निदेशालय ने धनशोधन की रोकथाम कानून (पीएमएलए) के तहत रोटोमैक कंपनी और उसके प्रमोटरों के खिलाफ 18 फरवरी को आपराधिक आरोप लगाए. यह आरोप, सीबीआई द्वारा उसी दिन दर्ज एक प्राथमिकी के आधार पर लगाए गए. बता दें कि ये मामला नीरव मोदी द्वारा किये गये करीब साढ़े ग्यारह हजार के फ्रॉड सामने आने के बाद आया.
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