लोक जनशक्ति पार्टी (Lok Janshakti Party) के अध्यक्ष चिराग पासवान (Chirag Paswan) बिहार चुनावों से पहले अलग-अलग अंदाज में नजर आ रहे हैं. कभी वो नीतीश कुमार पर नरम तो कभी गरम रुख़ अख्तियार कर ले रहे हैं. दरअसल, राज्य की करीब दो दर्जन असेंबली सीटें ऐसी हैं, जिनपर दोनों पार्टियों के बीच टकराव की स्थिति है. आंकड़ों पर गौर करें तो 2015 के विधान सभा चुनाव में इन सीटों पर जेडीयू की जीत हुई थी, जबकि चिराग पासवान की पार्टी नंबर दो पर रही थी.
पिछले विधान सभा चुनाव में समीकरण अलग थे. नीतीश कुमार ने लालू यादव और कांग्रेस के साथ मिलकर चुनाव लड़ा था, जबकि लोजपा, हम और रालोसपा ने बीजेपी के साथ मिलकर चुनाव लड़ा था. लोजपा ने कुल 42 सीटों पर कैंडिडेट उतारे थे. इनमें से दो पर ही जीत हुई। बाकी 40 सीटों पर उसे हार का स्वाद चखना पड़ा था। हारी हुई सीटों में से 50 फीसदी पर उसका मुकाबला जेडीयू से रहा. इनमें सभी पर लोजपा नंबर दो पार्टी रही, जबकि सिर्फ एक सीट (लालगंज) पर लोजपा ने जेडीयू उम्मीदवार को पटखनी दी थी.
किन-किन सीटों पर है रार?
कोशी-सीमांचल के अधिकांश सीटों यानी- बेलसंड, बाबू बरही, त्रिवेणीगंज, ठाकुरगंज, आलमनगर, सोनबरसा, सिमरी बख्तियारपुर, कुशेश्वर स्थान, गौरा बौरांव विधानसभा क्षेत्र में जेडीयू ने लोजपा उम्मीदवारों को हरा दिया. इसी तरह कल्याणपुर, वारिसनगर, चेरिया बरियारपुर, बेलदौर, नाथनगर, जमालपुर, अस्थावां, हरनौत और रफीगंज असेंबली सीटों पर भी लोजपा को जेडीयू के हाथों मुंह की खानी पड़ी थी. इसके अलावा छपरा के परसा विधानसभा सीट पर राजद के चंद्रिका राय ने लोजपा उम्मीदवार को हराया था. चंद्रिका राय अब जेडीयू में शामिल हो चुके हैं. लिहाजा इस सीट पर भी अब जेडीयू अपना दावा ठोक रहा है.
चिराग की चाहत- बीजेपी पाए बराबरी का दर्जा
चिराग पासवान इन सीटों पर भी दावा कर रहे हैं, जबकि जेडीयू सीटिंग सीट होने के नाते स्वभाविक तौर पर उसकी दावेदार है. इस वजह से दोनों दलों में करीब तीन-चार महीनों से सियासी नूरा-कुश्ती जारी है. बीजेपी-जेडीयू के बीच सीट बंटवारे पर बनी सहमति से भी लोजपा असहज है। लोजपा चाहती है कि राज्य में बीजेपी-जेडीयू बराबर-बराबर सीटों पर लड़े, जबकि बीजेपी पहले ही नीतीश कुमार को बड़ा भाई घोषित कर चुकी है और एक सीट ज्यादा दे चुकी है.
चिराग ने बुलाई अहम बैठक
बीजेपी अध्यक्ष जे पी नड्डा के बिहार दौरे पर बातचीत के बाद चिराग ने नरमी के संकेत दिए थे लेकिन फिर से उनके तेवर तल्ख हो चुके हैं। उनकी पार्टी राज्य के 243 विधान सभा सीटों में से 143 पर चुनाव लड़ने की बात कह चुकी है। इस पर चर्चा के लिए नई दिल्ली में आज केंद्रीय संसदीय दल की बैठक बुलाई गई है। उम्मीद है कि इस बैठक में एलजेपी अपना स्टैंड लेगी और 143 सीटों पर चुनाव लड़ने पर अंतिम फैसला लेगी। अगर चिराग 143 सीटों पर चुनाव लड़ने का फैसला करते हैं तो इससे एनडीए पर संकट आ सकता है. साथ ही जेडीयू की जीत पर भी संशय के बादल मंडरा सकते हैं.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं