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महिलाओं के लिए बेहद फायदेमंद है कचनार के फूल, पीरियड्स से जुड़ी समस्याओं में बेहद लाभदायी, जानिए कैसे करें सेवन

Kachnaar Flower Benefits: महिलाओं को पीरियड्स के समय में कई तरह की समस्याएं होती हैं. ऐसे में कचनार का फूल उनके लिए लाभदायी हो सकता है. यहां जानिए कचनार के फूल के फायदे और सेवन का तरीका.

महिलाओं के लिए बेहद फायदेमंद है कचनार के फूल, पीरियड्स से जुड़ी समस्याओं में बेहद लाभदायी, जानिए कैसे करें सेवन
Kachnaar Benefits: कई रोगों के लिए काल है कचनार.

Kachaar Flower Benefits: कुछ फूल देखने में इतने खूबसूरत होते हैं कि लगता है कि उनका इस्तेमाल सिर्फ सजावट में किया जा सकता है, लेकिन ऐसा नहीं है. कचनार का फूल देखने में मनमोहक तो लगता ही है, साथ ही औषधीय गुणों से भरपूर भी होता है. सिर्फ फूल ही नहीं, कचनार की छाल, पत्ते और जड़ का इस्तेमाल भी कई बीमारियों से राहत पाने में किया जाता है. कचनार के फूल को अलग-अलग नामों से भी जाना जाता है. इसे कांचनार या कराली भी कहते हैं. इसका वैज्ञानिक नाम बाउहिनिया वेरिगाटा है और इसे अंग्रेजी में बाउहिनिया वेरिगाटा या ऑर्किड ट्री के नाम से भी जाना जाता है.

खास बात ये है कि कचनार का पौधा कहीं भी लगाया जा सकता है. ये भारत के लगभग हर हिस्से में पाया जाता है. कचनार का फूल कई बीमारियों में लाभकारी होता है. इसके फूल में एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं, जो शरीर में गांठ की समस्या, फोड़े-फुंसी, स्किन संबंधी परेशानी, लीवर की समस्या और शरीर की सूजन को कम करने में मदद करते हैं. कचनार के फूल को आयुर्वेद में "रक्तपित्त हर" कहा जाता है, जिसका सीधा अर्थ है, रक्त संबंधी बीमारियों को हरने वाला.

महिलाओं के लिए फायदेमंद

जिन महिलाओं में रक्तस्राव की परेशानी रहती है, मासिक धर्म में रक्त की मात्रा कम या ज्यादा होती है. ऐसे में कचनार का चूर्ण लेना फायदेमंद होता है. यह महिलाओं में मासिक धर्म से जुड़ी परेशानियों में राहत देता है और रक्त शुद्धि का काम करता है. इतना ही नहीं, कचनार को शरीर में होने वाली गांठों का दुश्मन कहा जाता है. अगर महिलाओं को गर्भाशय में रसोली की परेशानी होती है, तो कचनार के फूल या छाल के चूर्ण का सेवन लाभकारी साबित होगा.

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रोग प्रतिरोधक क्षमता

कचनार के फूल और पत्तों में एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं, जो शरीर को मजबूत करते हैं और शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाते हैं. इससे मौसम के बदलने पर होने वाले संक्रमण परेशान नहीं करते हैं. सेवन के लिए फूल और पत्तों को उबालकर पीया जा सकता है या पत्तों की सब्जी भी बनाई जा सकती है.

स्किन और सांस से जुड़ी समस्या

सांस से जुड़ी परेशानी और त्वचा संबंधी रोगों में भी कचनार के फूल लाभकारी हैं. अगर स्किन पर दाद या खुजली और काले धब्बों की समस्या है, तो फूल को पीसकर लेप प्रभावित जगह पर लगाया जा सकता है. कचनार के फूल की तासीर ठंडी होती है, जिससे जलन में राहत मिलती है. कचनार के फूल, जड़ और छाल का सेवन करने से पहले आयुर्वेदिक चिकित्सक से सलाह जरूर लें.

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(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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