
Pradosh vrat kab hai : प्रदोष व्रत में भगवान शिव की पूजा अर्चना की जाती है. हर माह में दो बार प्रदोष व्रत आता है. भौम प्रदोष व्रत तब पड़ता है, जब त्रयोदशी तिथि (Triyodashi tithi) मंगलवार को होती है. यह व्रत बहुत फलदायी होता है. इस माह में भौम प्रदोष व्रत की तिथि को लेकर बहुत कंफ्यूजन है. कोई 8 तो कोई 9 जुलाई को मनाने की बात कर रहा है. ऐसे में आइए जानते हैं भौम प्रदोष व्रत (bhaum pradosh kab hai) कब है..
Rakshabandhan katha : रक्षाबंधन का श्रीकृष्ण से क्या है संबंध, पढ़िए यहां इसकी पौराणिक कथा
कब है भौम प्रदोष व्रत - When is Bhauma Pradosh fast
इस साल आषाढ़ पक्ष की त्रयोदशी तिथि 7 जुलाई 2025 को रात 11 बजकर 10 मिनट पर शुरू होगी और अगले दिन 8 जुलाई को प्रातः 12 बजकर 38 मिनट पर समाप्त होगी. ऐसे में भौम प्रदोष व्रत 8 जुलाई को रखा जाएगा. इस दिन पूजा मुहूर्त रात 07:23 से रात 09:24 तक है.
प्रदोष व्रत करने के लाभ - Benefits of observing Pradosh fast
- यह व्रत संतान की कामना और उसकी रक्षा के लिए किया जाता है. इस व्रत को स्त्री पुरुष दोनों ही कर सकते हैं.
- इस व्रत को करने से ऋण, भूमि, भवन संबंधित परेशानियां दूर होती हैं. साथ ही शारीरिक बल भी बढ़ता है. आपका मन और शरीर दोनों स्वस्थ रहता है.
- ऐसी मान्यता है कि भौम प्रदोष व्रत के दिन शिव जी कैलाश पर्वत पर नृत्य करते हैं. वहीं, यह व्रत करने से नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और जीवन में सुख शांति और समृद्धि बढ़ती है.
- प्रदोष व्रत में फल, साबूदाना, कुट्टू का आटा, सिंघाड़े का हलवा, दूध, दही और नारियल पानी पी सकते हैं. साथ ही इस दिन प्याज, लहसुन, अन्न का सेवन न करें.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं