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This Article is From Jun 19, 2018

'नाक की लड़ाई' के लिए हुआ बुराड़ी में गैंगवार, बुलेटप्रूफ स्कॉर्पियो भी नहीं बचा सकी जान

दिल्ली के बुराड़ी इलाके में हुआ बड़ा गैंगवार एक दूसरे पर वर्चस्व की लड़ाई के साथ-साथ सम्मान की लड़ाई से भी जुड़ा हुआ है.

'नाक की लड़ाई' के लिए हुआ बुराड़ी में गैंगवार, बुलेटप्रूफ स्कॉर्पियो भी नहीं बचा सकी जान
बुराड़ी में गैंगवार के दौरान मारा गया बदमाश मोनू (फाइल फोटो)
नई दिल्ली: दिल्ली के बुराड़ी इलाके में हुआ बड़ा गैंगवार एक दूसरे पर वर्चस्व की लड़ाई के साथ-साथ सम्मान की लड़ाई से भी जुड़ा हुआ है. पुलिस सूत्रों के मुताबिक बाहरी दिल्ली के रहने वाले शातिर अपराधी जितेंद्र उर्फ गोगी की चचेरी बहन से दीपक नाम के एक लड़के के करीबी संबंध थे. गोगी को जब पता चला तो उसने दीपक को कई बार धमकाया, लेकिन दीपक ने उसकी धमकियों को अनसुना कर दिया. इसी बीच गोगी को ये पता चला कि दीपक इलाके में खुद को उसका जीजा कहने लगा है. इसी बात से नाराज गोगी ने 2015 में अपने गैंग के लोगों कुलदीप फ़ज़्ज़ा, जरनैल जेली और योगेश टुंडा से दीपक की हत्या करवा दी. इस केस की पैरवी दीपक का मामा, 18 साल का मुकुल भांजा उर्फ सोनू कर रहा था. गोगी चाहता था कि मुकुल इस केस की पैरवी न करे, लेकिन मुकुल नहीं माना. दीपक के भाई पवन ने मुकुल को एक बुलेटप्रूफ स्कॉर्पियो कार तैयार कर दी थी. गोगी को ये भी जानकारी मिली थी कि दीपक के भाई पवन और मामा मुकुल ने सुनील उर्फ टिल्लू गैंग से हाथ मिला लिया है. इसलिए उसने मुकुल को मारने की ठान ली. 

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गोगी गैंग को ये मालूम चल गया था कि मुकुल संतनगर में एक जिम में हर रोज आता है. पहले रेकी की गई और फिर सोमवार सुबह हमला करने की प्लानिंग कर ली गयी. सोमवार सुबह मुकुल अपने साथियों जितेंद्र, हिमांशु और सुरेंद्र के साथ जिम से बाहर निकला और फिर सुरेंद्र ड्राइविंग सीट पर बैठ गया, जबकि जितेंद्र उसकी बगल वाली सीट पर बैठ गया.  जबकि हिमांशु और मुकुल पिछली सीट पर बैठने की कोशिश कर ही रहे थे कि तभी एक तेज रफ्तार सफेद रंग की फॉर्च्यूनर कार आई. जिसमें गोगी के अलावा उसके साथी संजीत, कुलदीप फ़ज़्ज़ा,रोहित मोई और एक और शख्स सवार था. इन लोगों ने स्कोर्पियो सवार लोगों पर ताबड़तोड़ फायरिंग कर दी. हिमांशु और मुकुल जान बचाने के लिए सड़क और दुकान की तरफ भागे, लेकिन दोनों को कई गोलियां मारी गईं. स्कॉर्पियो कार के ड्राइवर सुरेंद्र को भी कई गोलियां लगीं. वहीं हिमांशु ने भी फायरिंग की जिसमें गोगी गैंग का बदमाश संजीत मारा गया. इस गैंगवार में मुकुल की भी मौत हो गई, जबकि उसके साथी सुरेंद्र, हिमांशु और जितेंद्र बुरी तरह घायल हो गए. 

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गैंगवार में 2 राहगीरों संगीता नाम की एक महिला और बाइक पर सवार राजकुमार नाम के एक लड़के की मौत हो गयी. संगीता को गोली लगी जबकि राजकुमार को स्कॉर्पियो ने कुचल दिया था. गैंगवार में 4 लोग घायल भी हो गए. पुलिस के मुताबिक पिछले साल दोनों गैंग के बीच हुए गैंगवार में 4 हत्याएं हुईं जबकि इस साल जनवरी में गोगी ने प्रशांत विहार इलाके में टिल्लू गैंग के रवि भारद्वाज को 30 गोलियां मारकर सरेआम उसकी हत्या कर दी. इसके बाद टिल्लू गैंग ने रोहिणी कोर्ट के बाहर गोगी गैंग के मोनू नेपाली की हत्या करवा दी. इसी महीने तीस हजारी कोर्ट में टिल्लू गैंग ने गोगी के एक और साथी दिनेश कराला की हत्या करवा दी थी. टिल्लू अभी जेल में है इसलिए गोगी ने मुकुल को मारने की प्लानिंग की. गैंगवार में गोगी के साथ उसके साथी रोहित मोई और कुलदीप फ़ज़्ज़ा भी थे. हालांकि गैंगवार में उसका एक साथी संजीत मारा गया. इस मामले की जांच फिलहाल स्पेशल सेल कर रही है. स्पेशल सेल के अधिकरियों के मुताबिक गोगी एक शातिर बदमाश है, जिस पर 4 लाख का इनाम है. वो अक्सर दिल्ली में अपराध करने के बाद दिल्ली छोड़ देता है और फिर तभी आता है जब दूसरे कोई दूसरी वारदात करनी हो. इस समय वो दिल्ली का सबसे मोस्ट वांटेड अपराधी है. उसकी धरपकड़ के लिए स्पेशल सेल की की टीमें लगी हुई हैं. 

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