- GST चोरी को लेकर बड़ा खुलासा
- टीम ने एक आरोपी को किया अरेस्ट
- काट दिए 1200 करोड़ के फर्जी बिल
राजधानी दिल्ली में केंद्रीय कर विभाग की टीम ने दया शंकर कुशवाहा नाम के शख्स को गिरफ्तार किया है. आरोप है कि उसने टैक्स का लाभ लेने के लिए 1200 करोड़ रुपये के मूल्य के फर्जी बिल का उपयोग किया. पश्चिमी दिल्ली के जीएसटी सुपरिटेंडेंट नरोत्तम के मुताबिक, दया शंकर कुशवाहा ने सरकार के साथ धोखाधड़ी के लिए 49 मुखौटा कंपनियों के नेटवर्क का उपयोग किया और इस तरह से 124 करोड़ रुपये के इनपुट टैक्स क्रेडिट से जुड़े 1200 करोड़ रुपये के फर्जी बिल काट दिए.
इस गोरखधंधे में वस्तुओं की खरीद के फर्जी बिल काटे गए ताकि वह उसके आधार पर इनपुट टैक्स क्रेडिट का दावा कर सकें जबकि वास्तव में कोई माल नहीं खरीदा गया. खरीदारों को फर्जी बिल जारी किए गए. उन लोगों ने बिना कुछ धोखाधड़ी कर इनपुट टैक्स क्रेडिट का लाभ उठाया. दया शंकर कुशवाहा ने पूछताछ में बताया कि बिलों के बदले में कोई वस्तु नहीं ली गई. कुशवाहा ने फर्जीवाड़ा कर दो अलग-अलग पैन कार्ड हासिल किए.
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पैन कार्ड में जो फोटो उपयोग किए गए, उसमें फोटोशॉप के जरिए बदलाव किए गए. कुछ फोटो में वह विग लगाए है जबकि कुछ में बिना विग के है. इन पैन कार्ड के जरिए उसने 14 कंपनियां बनाईं. बाकी 35 कंपनियां गरीब लोगों के केवाईसी दस्तावेज चुराकर बनाई गईं. इस तरह कुल मिलाकर आरोपी ने 297 कंपनियां बनाईं. इनमें से कुछ का उपयोग बैंक लेन-देन के लिए किया गया. जांच में 60 से अधिक बैंक खातों का पता चला है. इन खातों का उपयोग एक जगह से दूसरी जगह लेन-देन में किया जा रहा था.
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