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'आज मैं जो कुछ', चैंपियंस ट्रॉफी से पहले संन्यास लेकर भारतीय दिग्गज ने क्रिकेट जगत में मचाई सनसनी

Wriddhiman Saha Retired From All Formats Of Cricket: ऋद्धिमान साहा ने पंजाब के खिलाफ बंगाल के लिए अपना अंतिम रणजी ट्रॉफी मैच खेलने के बाद क्रिकेट के सभी प्रारूपों से संन्यास ले लिया है.

'आज मैं जो कुछ',  चैंपियंस ट्रॉफी से पहले संन्यास लेकर भारतीय दिग्गज ने क्रिकेट जगत में मचाई सनसनी
ऋद्धिमान साहा ने लिया संन्यास

Wriddhiman Saha Retired From All Formats Of Cricket: भारत के विकेटकीपर-बल्लेबाज ऋद्धिमान साहा ने पंजाब के खिलाफ बंगाल के लिए अपना अंतिम रणजी ट्रॉफी मैच खेलने के बाद शनिवार (01 फरवरी 2025) को यहां प्रतिष्ठित ईडन गार्डन्स में क्रिकेट के सभी प्रारूपों से संन्यास ले लिया. चालीस साल के साहा ने अपने शानदार करियर के दौरान भारत के लिए 2010 में पदार्पण करने के बाद 40 टेस्ट और नौ एकदिवसीय मैच खेले हैं. उन्होंने घरेलू क्रिकेट में बंगाल और त्रिपुरा के लिए कुल मिलाकर 142 प्रथम श्रेणी और 116 लिस्ट ए मैच खेले हैं.

साहा ने एक्स पर लिखा, 'जब मैंने 1997 में पहली बार क्रिकेट के मैदान पर कदम रखा था तब से 28 साल हो गए हैं, और यह यात्रा शानदार रही है. अपने देश, राज्य, जिले, क्लब, विश्वविद्यालय, कॉलेज और स्कूल का प्रतिनिधित्व करना मेरे जीवन का सबसे बड़ा सम्मान रहा है.' साहा ने अपने जीवन पर क्रिकेट के प्रभाव पर कहा, 'आज मैं जो कुछ भी हूं, हर उपलब्धि, हर सीखा हुआ सबक, मैं इन सबका श्रेय इस अद्भुत खेल को देता हूं. क्रिकेट ने मुझे बेहद खुशी के पल, अविस्मरणीय जीत और अमूल्य अनुभव दिए हैं. इसने मेरी परीक्षा भी ली है और मुझे उससे निपटना के बारे में भी सिखाया है.'

उन्होंने कहा, 'उतार-चढ़ाव, जीत और हार ने इस यात्रा ने मुझे वह बना दिया है जो मैं हूं। सभी चीजों का अंत होना ही है, इसलिए मैंने क्रिकेट के सभी प्रारूपों से संन्यास लेने का फैसला किया है.' साहा ने भारत के लिए अपना आखिरी मैच 2021 में न्यूजीलैंड के खिलाफ खेला था. वह 2014 में एमएस धोनी के संन्यास लेने के बाद और ऋषभ पंत के आने से पहले भारतीय टीम के नियमित सदस्य थे.

यह अनुभवी खिलाड़ी अपने आखिरी रणजी मैच में खाता खोले बगैर आउट हो गया लेकिन उनकी टीम बंगाल ने पंजाब को एक पारी और 13 रनों से हरा कर उनके लिए इस मैच को यादगार बना दिया. मैच के बाद उनके साथियों ने उन्हें कंधों पर उठा लिया.

भारत के लिए तीन शतक और छह अर्धशतक लगाने वाले साहा ने कहा, 'अब एक नया अध्याय शुरू करने का समय आ गया है. अब अपने आप को अपने परिवार और दोस्तों के प्रति समर्पित करने का का समय है. मैं उन पलों को संजोना चाहता हूं जिसे मैं खेल से जुड़े होने के कारण अनुभव नहीं कर सका था.'

उन्होंने इसके साथ ही अपने परिवार और अब तक क्रिकेट यात्रा में साथ देने वाले सभी कोच, खिलाड़ी और प्रशासकों का शुक्रिया अदा किया. साहा ने कुछ समय पहले स्वीकार किया था कि 2022 में राहुल द्रविड़ के कोचिंग कार्यकाल के तहत राष्ट्रीय टीम से उनका बाहर होना ‘अन्याय नहीं था' बल्कि टीम की आवश्यकताओं के आधार पर लिया गया निर्णय था.

भारत के सबसे बेहतरीन विकेटकीपर होने साहा का अंतरराष्ट्रीय करियर 2021 में प्रभावी रूप से समाप्त हो गया जब मुख्य कोच द्रविड़ और कप्तान रोहित शर्मा के नेतृत्व में नए टीम प्रबंधन ने ऋषभ पंत के विकल्प के रूप में केएस भरत को प्राथमिकता दी.

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