भारत के प्रधानमंत्री के तौर पर नरेंद्र मोदी के तीसरे कार्यकाल के पहले 100 दिन के दौरान देशभर के शेयर बाज़ारों में ज़ोरदार तेज़ी दर्ज की गई है. केंद्र की NDA सरकार का सोमवार, 16 सितंबर को 100वां दिन था. मोदी 3.0 के पहले 100 दिन में बेंचमार्क सूचकांकों में अहम उछाल दर्ज किया गया और मोटे तौर पर बाज़ार अधिकतर वक्त सकारात्मक ही रहा है.
कैपिटल गेन्स टैक्स में बढ़ोतरी और भारतीय जनता पार्टी (BJP) को लोकसभा चुनाव में प्रचंड बहुमत नहीं मिलने को लेकर चिंताओं और बाधाओं के बावजूद BSE सेंसेक्स और NSE निफ्टी दोनों ने मोदी 3.0 के 100 दिन के भीतर रिकॉर्ड ऊंचाई को छुआ है.
17 सितंबर को दोनों सूचकांक रिकॉर्ड ऊंचाई पर बंद हुए थे, और जब सरकार ने मोदी 3.0 के 100 दिन पूरे होने का जश्न मनाया, तो 18 सितंबर को दोनों सूचकांक मामूली गिरावट के साथ बंद हुए.
दूसरी ओर, इस अवधि के दौरान कई सेक्टरों ने बेहतर प्रदर्शन किया है 10 जून से 18 सितंबर के बीच निफ्टी IT इंडेक्स में 8 फ़ीसदी से ज़्यादा की तेज़ी देखी गई, जबकि निफ्टी हेल्थकेयर इंडेक्स में करीब 17 फ़ीसदी की बढ़त दर्ज की गई.
BSE स्मॉलकैप इंडेक्स ने भी अच्छा प्रदर्शन किया और इस दौरान 15 फ़ीसदी से ज़्यादा बढ़त हासिल की. इस दौरान BSE मिडकैप इंडेक्स भी 10 फ़ीसदी उछला.
मोदी 3.0 के पहले 100 दिन में शेयर बाज़ारों का प्रदर्शन उस प्रदर्शन से बिल्कुल उलट है, जब नरेंद्र मोदी सरकार वर्ष 2019 में दूसरी बार सत्ता में आई थी. मोदी 2.0 के पहले 100 दिन में BSE सेंसेक्स में 2,800 से अधिक अंक की गिरावट आई थी, जबकि निफ्टी में 1,000 अंक की गिरावट दर्ज हुई थी.
वर्ष 2014 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पहले कार्यकाल के दौरान शुरुआती दिनों में शेयर बाज़ार में तेज़ उछाल आया था, जिसमें निफ्टी और सेंसेक्स ने 26 मई से 3 सितंबर के बीच लगभग 11 फ़ीसदी की बढ़त दर्ज की थी.
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