देहरादून (Dehradun) में जंगल सफारी (Jungle Safari) के दौरान स्थानीय निवासियों के एक समूह को सभी सुरक्षा मानदंडों की अनदेखी करते हुए दिखाने वाली एक तस्वीर ने इंटरनेट का ध्यान खींचा है. स्थानीय निवासी आनंद शंकर ने घटनास्थल की तस्वीर ली और इसे 13 फरवरी को एक्स पर शेयर किया.
अब वायरल हो रही पोस्ट में एक तस्वीर दिखाई गई है जिसमें पर्यटकों की गुमनामी बनाए रखने के लिए उनके कार्यों की 'मूर्खता' पर जोर देते हुए उनके चेहरे पर जोकर इमोजी चिपकाए गए थे. तस्वीर में एक बच्चे को एक शख्स की गोद में बैठा हुआ दिखाया गया है, जो जीप की सुरक्षा के बाहर खतरनाक स्थिति में बैठा है. स्नैपशॉट में बैकग्राउंड में कुछ दूरी पर एक बाघ को देखा जा सकता है, जो जंगल में मौजूद संभावित खतरों की डरावनी याद दिलाता है.
आनंद की पोस्ट में उनके 'परेशान करने वाले' अनुभव का विवरण दिया गया है, जिसमें बताया गया है कि कैसे उन्होंने गाइड और ड्राइवरों के साथ, बार-बार पर्यटकों को अपनी सुरक्षा के लिए वाहन के अंदर रहने के लिए मनाने की कोशिश की.
पोस्ट के कैप्शन में लिखा, "कल सफारी में 3 पर्यटक, 1 बच्चा और 1 बाघ था. ड्राइवर, गाइड और मैंने बार-बार पर्यटकों से कहा, कि वे इस तरह न बैठें और बच्चे को पकड़ लें. लेकिन पर्यटकों ने सुनने से इनकार कर दिया. इसके बजाय, हमारे ड्राइवर के आगे बढ़ने से पहले बच्चे को पकड़े हुए पर्यटक मेरे साथ दुर्व्यवहार करने ही वाला था. बाघ को इतनी दूरी तक छलांग लगाने में मुश्किल से एक सेकंड लगता. यहां तक कि अगर जिप्सी अचानक चलती है तो नकली चार्ज से भी आप अपना संतुलन खो देंगे. आनंद ने पोस्ट के कैप्शन में लिखा, "इस तरह की दुर्घटनाओं का मतलब होगा कि सरकार सफ़ारी पर प्रतिबंध लगा देगी, और हम वन्यजीवों तक जो भी थोड़ी बहुत पहुंच है, उसे खो देंगे."
3 x 🤡 + 1 👶 & 1 🐅 at the safari yesterday.
— Anand Sankar (@kalapian_) February 13, 2024
I was very tempted to face-shame all of the 🤡 s in this post.
All the drivers + guides + ME repeatedly told the 🤡s to not sit like that and hold the 👶.
🤡s refused to listen. Instead the 🤡 holding the 👶 was almost about to… pic.twitter.com/VpxDyhmp1J
आनंद ने कहा, "मैंने अपनी सफारी के बाद गाइडों और ड्राइवरों के साथ विस्तृत बातचीत की. बेचारे लोग लगभग रोने लगे क्योंकि पर्यटक सुनते ही नहीं. अगर कोई दुर्घटना होती है, तो सबसे पहले दोषी ठहराए जाने वाले लोग गाइड और ड्राइवर होते हैं, जबकि उनकी कोई गलती नहीं होती. इससे भी बुरी बात यह है कि कुछ पर्यटकों की मृत्यु हो जाती है, और फिर खराब गाइडों और ड्राइवरों को पिछले साल की तरह पुलिस मामलों का सामना करना पड़ता है! पर्यटक उनके साथ 'नौकरों' की तरह व्यवहार करते हैं, और जब वे पर्यटकों को उचित व्यवहार करने के लिए कहते हैं तो उन्हें सबसे अच्छी गालियाँ सुनने के लिए मजबूर किया जाता है. ईमानदारी से अनुरोध, कृपया जंगल में ऐसे पर्यटक मत बनो.''
जैसे ही पोस्ट ऑनलाइन सामने आई, इसे 2 लाख से अधिक बार देखा गया. इस तस्वीर ने सफ़ारी के दौरान सुरक्षा दिशानिर्देशों का उल्लंघन करने वालों के लिए नियमों और दंडों को सख्ती से लागू करने की आवश्यकता के बारे में कई चर्चाएं शुरू कर दीं.
एक यूजर ने कहा, "मुझे लगता है कि इन सभी जंगल सफारी पर प्रतिबंध लगाया जाना चाहिए. हम अपने आनंद के लिए उनके प्राकृतिक आवासों को परेशान कर रहे हैं और पर्यावरण को प्रदूषित कर रहे हैं. अगर आप बाघ देखना चाहते हैं, तो चिड़ियाघर जाएं."
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