दिल्ली में गणतंत्र दिवस समारोह के मंच को खास तरीके से सजाया गया था.
नई दिल्ली:
दिल्ली में गणतंत्र दिवस समारोह में जिस मंच पर राष्ट्रपति से लेकर प्रधानमंत्री और आसियान देशों के प्रमुख मौजूद थे उसको हॉलैंड के फूलों से सजाया गया था. मंच की स्लाइडिंग बुलेटप्रूफ छत बनाई गई थी.
पिछले गणतंत्र दिवस पर मुख्य अतिथि अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा को बारिश की वजह से छतरी ताननी पड़ी थी. ऐसा दोबारा न हो इसके लिए इस बार मंच पर 106 फुट लंबी पारदर्शी खिसकने वाली छत बनाई गई थी. यह छत खराब मौसम के साथ हमलों से भी निपटने के लिए तैयार थी. मंच के आगे अतिथियों के लिए बुलेट प्रूफ शीशे लगाए गए थे.
VIDEO : सैन्य ताकत के साथ संस्कृति की झलक
गणतंत्र दिवस समारोह में मंच की छत से लेकर यहां लगाए गए फूल तक खास थे. मंच के लिए हॉलैंड से फूल मंगाए गए थे. सीपीडब्लूडी के कांट्रैक्टर त्रिलोक सैनी और डेकोरेटर हरेराम चौधरू ने बताया कि एन्थूरियम फूल को हॉलैंड से मंगवाया गया था जो खूबसूरत होने के साथ एक सप्ताह तक सूखता नहीं है. यही नहीं इस फूल को हालैंड से आने में भी तीन दिन का वक्त लगा है. जबकि पुणे से पनसिटिया प्लांट और बेंगलुरु से आर्किड फूल मंगाए गए थे.
पिछले गणतंत्र दिवस पर मुख्य अतिथि अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा को बारिश की वजह से छतरी ताननी पड़ी थी. ऐसा दोबारा न हो इसके लिए इस बार मंच पर 106 फुट लंबी पारदर्शी खिसकने वाली छत बनाई गई थी. यह छत खराब मौसम के साथ हमलों से भी निपटने के लिए तैयार थी. मंच के आगे अतिथियों के लिए बुलेट प्रूफ शीशे लगाए गए थे.
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गणतंत्र दिवस समारोह में मंच की छत से लेकर यहां लगाए गए फूल तक खास थे. मंच के लिए हॉलैंड से फूल मंगाए गए थे. सीपीडब्लूडी के कांट्रैक्टर त्रिलोक सैनी और डेकोरेटर हरेराम चौधरू ने बताया कि एन्थूरियम फूल को हॉलैंड से मंगवाया गया था जो खूबसूरत होने के साथ एक सप्ताह तक सूखता नहीं है. यही नहीं इस फूल को हालैंड से आने में भी तीन दिन का वक्त लगा है. जबकि पुणे से पनसिटिया प्लांट और बेंगलुरु से आर्किड फूल मंगाए गए थे.
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