अमेरिकी कांग्रेस के संयुक्त सत्र को संबोधित करने पहुंचे पीएम नरेंद्र मोदी
वाशिंगटन:
अमेरिका में योग करने वालों की संख्या तीन करोड़ होने का जिक्र करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अमेरिकी कांग्रेस के सदस्यों से कहा कि भारत ने अब तक योग पर बौद्धिक संपदा अधिकार (आईपीआर) का दावा नहीं किया है।
अमेरिकी कांग्रेस के संयुक्त सत्र को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा, 'एसआईआरआई हमसे कहता है कि भारत के प्राचीन धरोहर योग का अभ्यास करने वाले अमेरिका में तीन करोड़ लोग हैं। यह भी अनुमान है कि अमेरिका में कर्व बॉल फेंकने वालों से ज्यादा योग करने वालों की संख्या है।' पीएम मोदी ने कहा, 'और, श्रीमान स्पीकर (पॉल र्यान), हमने अब तक योग पर आईपीआर का दावा नहीं किया है।'
मोदी ने कहा, 'हमारे दो देशों को जोड़ना भी तीन करोड़ भारतीय-अमेरिकियों का एक खास और जीवंत पुल है।' उन्होंने कहा कि दोनों देशों के लोगों के बीच के संबंध मजबूत हैं और काफी सांस्कृतिक जुड़ाव है, जो दोनों समाजों को जोड़ता है।
प्रधानमंत्री ने कहा, 'आज वे आपके बेहतरीन सीईओ, शिक्षाविद, अंतरिक्ष वैज्ञानिक, वैज्ञानिक, अर्थशास्त्री, डॉक्टर में शामिल हैं। यहां तक कि स्पेलिंग बी चैंपियन भी हैं। वे आपकी ताकत हैं। वे भारत की भी शान हैं। वे हमारे समाजों के सर्वश्रेष्ठ को परिलक्षित करते हैं।'
अपने 45 मिनट के भाषण में पीएम मोदी ने भारत और अमेरिका के बीच बढ़ते रिश्तों के सभी प्रमुख पहलुओं का जिक्र किया। इसमें खासकर सामरिक संबंधों और असैन्य परमाणु सहयोग का जिक्र किया गया। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि दोनों देशों को 'अतीत की बाधाएं' पीछे छोड़ देनी चाहिए, क्योंकि भविष्य की आधारशिला ठोस तरीके से रखी गई है। साल 2014 में संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 21 जून को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के तौर पर मान्यता दी थी। भारत की ओर से पेश किए गए मसौदे को 177 सदस्य देशों ने अपना समर्थन दिया था। पहला अंतरराष्ट्रीय योग दिवस 21 जून 2015 को मनाया गया था।
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है)
अमेरिकी कांग्रेस के संयुक्त सत्र को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा, 'एसआईआरआई हमसे कहता है कि भारत के प्राचीन धरोहर योग का अभ्यास करने वाले अमेरिका में तीन करोड़ लोग हैं। यह भी अनुमान है कि अमेरिका में कर्व बॉल फेंकने वालों से ज्यादा योग करने वालों की संख्या है।' पीएम मोदी ने कहा, 'और, श्रीमान स्पीकर (पॉल र्यान), हमने अब तक योग पर आईपीआर का दावा नहीं किया है।'
मोदी ने कहा, 'हमारे दो देशों को जोड़ना भी तीन करोड़ भारतीय-अमेरिकियों का एक खास और जीवंत पुल है।' उन्होंने कहा कि दोनों देशों के लोगों के बीच के संबंध मजबूत हैं और काफी सांस्कृतिक जुड़ाव है, जो दोनों समाजों को जोड़ता है।
प्रधानमंत्री ने कहा, 'आज वे आपके बेहतरीन सीईओ, शिक्षाविद, अंतरिक्ष वैज्ञानिक, वैज्ञानिक, अर्थशास्त्री, डॉक्टर में शामिल हैं। यहां तक कि स्पेलिंग बी चैंपियन भी हैं। वे आपकी ताकत हैं। वे भारत की भी शान हैं। वे हमारे समाजों के सर्वश्रेष्ठ को परिलक्षित करते हैं।'
अपने 45 मिनट के भाषण में पीएम मोदी ने भारत और अमेरिका के बीच बढ़ते रिश्तों के सभी प्रमुख पहलुओं का जिक्र किया। इसमें खासकर सामरिक संबंधों और असैन्य परमाणु सहयोग का जिक्र किया गया। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि दोनों देशों को 'अतीत की बाधाएं' पीछे छोड़ देनी चाहिए, क्योंकि भविष्य की आधारशिला ठोस तरीके से रखी गई है। साल 2014 में संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 21 जून को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के तौर पर मान्यता दी थी। भारत की ओर से पेश किए गए मसौदे को 177 सदस्य देशों ने अपना समर्थन दिया था। पहला अंतरराष्ट्रीय योग दिवस 21 जून 2015 को मनाया गया था।
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