
- नोबेल शांति पुरस्कार विजेता वेनेजुएला की मारिया कोरीना मचाडो अपना पुरस्कार ट्रंप को समर्पित किया है
- उन्होंने कहा कि ये सम्मान वेनिजुएला के उन सभी लोगों के संघर्ष की पहचान है, जो आजादी की लड़ाई में साथ खड़े हैं
- कोशिशों के बावजूद ट्रंप को नोबेल शांति पुरस्कार न मिलने पर व्हाइट हाउस ने राजनीति करने का आरोप लगाया था
तमाम कोशिशों के बावजूद नोबेल शांति पुरस्कार न मिल पाने से दुखी ट्रंप को मारिया कोरिना मचाडो के ताजा बयान से थोड़ी शांति मिली होगी. पुरस्कार पाने वाली वेनेजुएला की विपक्षी नेता मारिया कोरीना मचाडो (Maria Corina Machado) ने वेनेजुएला के "पीड़ित" लोगों और अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप को यह पुरस्कार समर्पित कर दिया है. इसकी वजह भी बताई है.
नोबेल शांति पुरस्कार पाने के लिए ट्रंप ने हर पैंतरा आजमाया था. बार-बार खुद कहते रहे कि उन्होंने दुनिया में 8 युद्ध रुकवाए हैं. भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर कराने का झूठा श्रेय भी दर्जनों बार खुद को देते रहे. लेकिन नोबेल पुरस्कार देने वाली समिति के सामने ट्रंप के अलावा 338 व्यक्तियों और संगठनों को शांति पुरस्कार के लिए नॉमिनेट किया गया था.
नॉर्वे की नोबेल समिति ने अपना फैसला सुनाते हुए वेनेजुएला की विपक्षी नेता मारिया कोरिना मचाडो को नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित करने का ऐलान किया. मारिया को वेनेजुएला के लोगों के लोकतांत्रिक अधिकारों को बढ़ावा देने और न्यायपूर्ण व शांतिपूर्ण तरीके से देश को तानाशाही से लोकतंत्र की तरफ ले जाने के अथक प्रयासों के लिए यह पुरस्कार दिया गया है.
This recognition of the struggle of all Venezuelans is a boost to conclude our task: to conquer Freedom.
— María Corina Machado (@MariaCorinaYA) October 10, 2025
We are on the threshold of victory and today, more than ever, we count on President Trump, the people of the United States, the peoples of Latin America, and the democratic…
नोबेल पुरस्कार से सम्मानित होने के बाद मारिया ने सोशल मीडिया पोस्ट में कहा कि मैं यह पुरस्कार वेनेजुएला के पीड़ित लोगों और राष्ट्रपति ट्रंप को समर्पित करती हूं, जिन्होंने हमारे प्रयासों को निर्णायक समर्थन दिया. उन्होंने लिखा कि ये सम्मान वेनिजुएला के उन सभी लोगों के संघर्ष की पहचान हैं जो आजादी की लड़ाई में साथ खड़े हैं.
उन्होंने कहा कि ये हमें हमारी अंतिम मंजिल आजादी तक पहुंचने की ताकत देता है. आज हम जीत की दहलीज पर हैं और अब हमें पहले से ज्यादा प्रेसिडेंट ट्रंप, अमेरिकी जनता, लैटिन अमेरिकी देशों और दुनिया की लोकतांत्रिक ताकतों के समर्थन की आवश्यकता है. यही हमारी आजादी और लोकतंत्र की सबसे बड़ी उम्मीद हैं.
इससे पहले, व्हाइट हाउस ने ट्रंप को नोबेल पुरस्कार न मिलने पर नोबेल समिति पर राजनीति करने तक का आरोप मढ़ दिया था. व्हाइट हाउस के कम्युनिकेशन डायरेक्टर स्टीवन चुइंग ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि राष्ट्रपति ट्रंप शांति समझौते कराना जारी रखेंगे और युद्ध खत्म कराते रहेंगे ताकि जिंदगियां बचाई जा सकें.
President Trump will continue making peace deals, ending wars, and saving lives.
— Steven Cheung (@StevenCheung47) October 10, 2025
He has the heart of a humanitarian, and there will never be anyone like him who can move mountains with the sheer force of his will.
The Nobel Committee proved they place politics over peace. https://t.co/dwCEWjE0GE
स्टीवन ने कहा कि ट्रंप के पास मानवीयता से भरा दिल है. उनके जैसा कोई नहीं है. वह अपनी इच्छाशक्ति से पहाड़ को भी हिला सकते हैं. उन्होंने पोस्ट में आगे लिखा कि नोबेल कमिटी ने एक बार फिर से साबित कर दिया कि वह शांति की जगह राजनीति को ज्यादा तवज्जो देते हैं.
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