
यामातो तानूका...
तोक्यो:
यह किसी चमत्कार से कम नहीं है कि उत्तरी जापान में वह सात वर्षीय बच्चा जीवित मिल गया है जिसे एक सप्ताह पहले सजा देते हुए उसके माता-पिता ने ऐसे जंगल में छोड़ दिया था जहां भालू रहते हैं।
एक झोपड़ी में बिना खाने के रहा बच्चा
स्पष्ट रूप से बच्चे को कोई बाहरी चोट नहीं लगी है और उसका स्वास्थ्य अच्छा है। बच्चा एक सैन्य शिविर में मिला। खबरों में कहा गया है कि उसने एक झोंपड़ी में शरण ली थी और उसे पानी पीने के लिए एक टोंटी मिल गई थी, लेकिन वह भूखा था। बच्चा मिलने के बाद उससे भोजन के बारे में तत्काल पूछा गया।
सेल्फ डिफेंस फोर्स के अधिकारी को मिला
उत्तरी होक्काइडो द्वीप में पुलिस के प्रवक्ता तोमोहितो तामुरा ने कहा, सेल्फ डिफेंस फोर्स के एक अधिकारी को अभ्यास के दौरान एक बच्चा मिला, जो सात वर्ष की आयु का प्रतीत हो रहा था। उन्होंने कहा, बच्चे को कोई बाहरी चोट नहीं लगी थी और उसने बताया कि वह यामातो तानूका है। बच्चा अपने माता-पिता से मिल गया है। माता-पिता ने पुष्टि की है कि बच्चा उनका बेटा है।
रो दिए पिता
इसके बाद बच्चे का पिता ‘टीवी असाही’ को फोन पर दिए साक्षात्कार में अपने बच्चे से मिलने के क्षण को बयां करते हुए रो पड़ा। उन्होंने रंधे गले से कहा, ‘‘मैंने यामातो से माफी मांगी।’’ उन्होंने बताया कि उनके बेटे ने सिर हिलाकर जवाब दिया।
पिता ने कहा, मुझे शब्द नहीं मिल रहे
यामातो के पिता ने कहा, सबसे अच्छी बात यह है कि वह सुरक्षित है। मुझे शब्द नहीं मिल रहे। बहुत अच्छा लग रहा है। सेल्फ डिफेंस फोर्सेज के प्रवक्ता मानाबु तोकेहारा ने कहा कि बच्चे का ‘‘स्वास्थ्य ठीक प्रतीत हो रहा है, लेकिन उसे एहतियातन जांच के लिए हेलीकॉप्टर से अस्पताल ले जाया गया है।
बच्चे को दी थी सजा
बच्चा पिछले शनिवार से लापता था। उसके माता पिता ने कहा था कि उन्होंने अपने बच्चे को उसके दुर्व्यवहार की सजा देने के लिए एक पर्वतीय सड़क पर कार से बाहर कर दिया था। माता-पिता ने पहले पुलिस को बताया था कि उनका बेटा लापता हो गया है लेकिन बाद में उन्होंने स्वीकार किया कि बच्चे ने कारों एवं लोगों पर पत्थर फेंके थे, इसलिए उन्होंने नाराज होकर उसे छोड़ दिया था।
स्थानीय समाचार पत्र होक्काइडो शिमबुन ने कहा कि लड़के ने पुलिस को बताया था कि वह जहां से लापता हुआ था, शनिवार रात को वह वहां से करीब 5.5 किलोमीटर पूर्वोत्तर स्थित सैन्य शिविर में एक झोंपड़ी में चला गया था।
सेल्फ डिफेंस फोर्स के एक अधिकारी ने राष्ट्रीय प्रसारणकर्ता एनएचके को बताया कि एक अभ्यास मैदान के दायरे में दो इमारतें थीं। जवान ने जब एक इमारत का दरवाजा खोला तो उसे उसके भीतर बच्चा मिला।
बच्चा भूखा था
उन्होंने कहा, अधिकारी ने जब बच्चे से पूछा, ‘क्या तुम यामातो हो?’ तो बच्चे कहा, ‘हां, मैं ही हूं’।’’ एक अन्य सैन्य अधिकारी ने एनएचके को बताया कि लड़का जब मिला तो वह भूखा था, इसलिए अधिकारी ने पहले उसे कुछ खाने को दिया। निप्पोन टीवी ने बताया कि झोंपड़ी के बाहर टोंटी थी जहां से बच्चा पानी पी रहा था। जापानी मीडिया अपने नियमित समाचार कार्यक्रम को रोककर इस मामले से जुड़ी खबरें लगातार दिखा रहा था।
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है)
एक झोपड़ी में बिना खाने के रहा बच्चा
स्पष्ट रूप से बच्चे को कोई बाहरी चोट नहीं लगी है और उसका स्वास्थ्य अच्छा है। बच्चा एक सैन्य शिविर में मिला। खबरों में कहा गया है कि उसने एक झोंपड़ी में शरण ली थी और उसे पानी पीने के लिए एक टोंटी मिल गई थी, लेकिन वह भूखा था। बच्चा मिलने के बाद उससे भोजन के बारे में तत्काल पूछा गया।
सेल्फ डिफेंस फोर्स के अधिकारी को मिला
उत्तरी होक्काइडो द्वीप में पुलिस के प्रवक्ता तोमोहितो तामुरा ने कहा, सेल्फ डिफेंस फोर्स के एक अधिकारी को अभ्यास के दौरान एक बच्चा मिला, जो सात वर्ष की आयु का प्रतीत हो रहा था। उन्होंने कहा, बच्चे को कोई बाहरी चोट नहीं लगी थी और उसने बताया कि वह यामातो तानूका है। बच्चा अपने माता-पिता से मिल गया है। माता-पिता ने पुष्टि की है कि बच्चा उनका बेटा है।
रो दिए पिता
इसके बाद बच्चे का पिता ‘टीवी असाही’ को फोन पर दिए साक्षात्कार में अपने बच्चे से मिलने के क्षण को बयां करते हुए रो पड़ा। उन्होंने रंधे गले से कहा, ‘‘मैंने यामातो से माफी मांगी।’’ उन्होंने बताया कि उनके बेटे ने सिर हिलाकर जवाब दिया।
पिता ने कहा, मुझे शब्द नहीं मिल रहे
यामातो के पिता ने कहा, सबसे अच्छी बात यह है कि वह सुरक्षित है। मुझे शब्द नहीं मिल रहे। बहुत अच्छा लग रहा है। सेल्फ डिफेंस फोर्सेज के प्रवक्ता मानाबु तोकेहारा ने कहा कि बच्चे का ‘‘स्वास्थ्य ठीक प्रतीत हो रहा है, लेकिन उसे एहतियातन जांच के लिए हेलीकॉप्टर से अस्पताल ले जाया गया है।
बच्चे को दी थी सजा
बच्चा पिछले शनिवार से लापता था। उसके माता पिता ने कहा था कि उन्होंने अपने बच्चे को उसके दुर्व्यवहार की सजा देने के लिए एक पर्वतीय सड़क पर कार से बाहर कर दिया था। माता-पिता ने पहले पुलिस को बताया था कि उनका बेटा लापता हो गया है लेकिन बाद में उन्होंने स्वीकार किया कि बच्चे ने कारों एवं लोगों पर पत्थर फेंके थे, इसलिए उन्होंने नाराज होकर उसे छोड़ दिया था।
स्थानीय समाचार पत्र होक्काइडो शिमबुन ने कहा कि लड़के ने पुलिस को बताया था कि वह जहां से लापता हुआ था, शनिवार रात को वह वहां से करीब 5.5 किलोमीटर पूर्वोत्तर स्थित सैन्य शिविर में एक झोंपड़ी में चला गया था।
सेल्फ डिफेंस फोर्स के एक अधिकारी ने राष्ट्रीय प्रसारणकर्ता एनएचके को बताया कि एक अभ्यास मैदान के दायरे में दो इमारतें थीं। जवान ने जब एक इमारत का दरवाजा खोला तो उसे उसके भीतर बच्चा मिला।
बच्चा भूखा था
उन्होंने कहा, अधिकारी ने जब बच्चे से पूछा, ‘क्या तुम यामातो हो?’ तो बच्चे कहा, ‘हां, मैं ही हूं’।’’ एक अन्य सैन्य अधिकारी ने एनएचके को बताया कि लड़का जब मिला तो वह भूखा था, इसलिए अधिकारी ने पहले उसे कुछ खाने को दिया। निप्पोन टीवी ने बताया कि झोंपड़ी के बाहर टोंटी थी जहां से बच्चा पानी पी रहा था। जापानी मीडिया अपने नियमित समाचार कार्यक्रम को रोककर इस मामले से जुड़ी खबरें लगातार दिखा रहा था।
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है)
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