
- अजरबैजान ने भारत पर शंघाई सहयोग संगठन में उसकी पूर्ण सदस्यता की कोशिश को अवरुद्ध करने का आरोप लगाया है.
- अजरबैजान का दावा- भारत पाकिस्तान के साथ उसके करीबी संबंधों के कारण वैश्विक मंचों पर उससे बदला लेना चाहता है.
- राष्ट्रपति इल्हाम अलीयेव ने तियानजिन में पाकिस्तानी प्रधानमंत्री को सैन्य संघर्ष में भारत पर जीत की बधाई दी.
अजरबैजान ने आरोप लगाया है कि पाकिस्तान के साथ उसके घनिष्ठ संबंधों के कारण भारत वैश्विक मंचों पर उससे "बदला" लेना चाहता है. अजरबैजान ने दावा किया कि भारत ने शंघाई सहयोग संगठन (SCO) में पूर्ण सदस्यता की उसकी चाहत में रोड़ा अटका दिया है, उसकी कोशिश को अवरुद्ध (ब्लॉक) कर दिया है. अजरबैजान मीडिया ने भारत पर अजरबैजान की कोशिश को अवरुद्ध करके "बहुपक्षीय कूटनीति" के सिद्धांतों का उल्लंघन करने का आरोप लगाया है. उसने दावा किया है कि नई दिल्ली का निर्णय ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तान के लिए बाकू (अजरबैजान की राजधानी) के समर्थन से जुड़ा था.
अजरबैजान के राष्ट्रपति इल्हाम अलीयेव ने चीनी शहर तियानजिन (जहां SCO शिखर सम्मेलन हुआ) में पाकिस्तानी प्रधान मंत्री शहबाज शरीफ के साथ एक बैठक की थी. इस दौरान उन्होंने इस्लामाबाद को सैन्य संघर्ष के दौरान भारत पर जीत के लिए बधाई दी. अब तुर्की के अखबार सबा के अनुसार, उन्होंने दावा किया कि वैश्विक मंचों पर नई दिल्ली की कार्रवाइयों के बावजूद, बाकू इस्लामाबाद के साथ अपने "भाईचारे" को तरजीह देगा.
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान अजरबैजान ने खुले तौर पर पाकिस्तान को अपना समर्थन दिया था. भारत पर हुए कायराना पहलगाम आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में भारत ने आतंकी बुनियादी ढांचे को निशाना बनाते हुए सैन्य कार्रवाई की थी और उस मिशन का नाम ऑपरेशन सिंदूर रखा गया था.
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