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This Article is From Jun 08, 2023

जीवा की हत्या के आरोपी के खिलाफ नाबालिग से दुष्कर्म समेत दो अन्य आपराधिक मामले दर्ज : पुलिस

जीवा की हत्या के बाद विजय (24) की गिरफ्तारी की खबर मिलते ही केराकत के पुलिस क्षेत्राधिकारी गौरव शर्मा समेत थाने की पुलिस विजय के सर्की सुल्तानपुर गांव पहुंची और लोगों से उसके आपराधिक इतिहास के बारे में पूछताछ की.

जीवा की हत्या के आरोपी के खिलाफ नाबालिग से दुष्कर्म समेत दो अन्य आपराधिक मामले दर्ज : पुलिस
क्षेत्राधिकारी ने बताया कि यादव के खिलाफ दो आपराधिक मामले पहले से दर्ज हैं. (फाइल फोटो)
जौनपुर:

गैंगस्टर नेता मुख्तार अंसारी गिरोह के सदस्य संजीव माहेश्वरी उर्फ जीवा की लखनऊ अदालत परिसर के भीतर हत्या करने का आरोपी विजय यादव यहां के केराकत कोतवाली क्षेत्र में रहता है और उसके खिलाफ एक नाबालिग लड़की का अपरहण कर उससे दुष्कर्म करने समेत दो आपराधिक मामले पहले से दर्ज हैं. पुलिस के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी.

जीवा की हत्या के बाद विजय (24) की गिरफ्तारी की खबर मिलते ही केराकत के पुलिस क्षेत्राधिकारी गौरव शर्मा समेत थाने की पुलिस विजय के सर्की सुल्तानपुर गांव पहुंची और लोगों से उसके आपराधिक इतिहास के बारे में पूछताछ की.

गौरव शर्मा ने बताया कि विजय लखनऊ में प्लंबर का काम करता था. वह एक शादी में शामिल होने 10 मई को अपने गांव आया था और अगले दिन लखनऊ वापस लौट गया था.

क्षेत्राधिकारी ने बताया कि यादव के खिलाफ दो आपराधिक मामले पहले से दर्ज हैं. उन्होंने बताया कि एक मामला एक नाबालिग लड़की का कथित रूप से अपहरण करने और उससे दुष्कर्म से संबंधित है. इस संबंध में आजमगढ़ के देवगांव पुलिस थाने में मामला दर्ज है. शर्मा ने बताया कि विजय के खिलाफ 2016 में दर्ज इस प्राथमिकी में यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) कानून के तहत भी आरोप लगाए गए हैं.

उन्होंने बताया कि विजय के खिलाफ दूसरा मामला सरकारी काम में बाधा पहुंचाने के आरोपों से जुड़ा है, जो 2020 में केराकत पुलिस थाने में दर्ज किया गया था. विजय यादव के पिता श्यामा यादव ने बताया कि उसका बेटा मुंबई में एक निजी कंपनी में काम करता था और बाद में वह नौकरी छोड़कर घर चला आया. श्यामा ने बताया कि नौकरी छोड़ने के डेढ़ महीने बाद विजय रोजगार की तलाश में लखनऊ चला गया था जहां वह प्लंबर का काम करता था.

उसने बताया कि गत 10 मई को विजय अपनी ममेरी बहन की शादी में शामिल होने आया था और अगले दिन वह लखनऊ वापस चला गया था और तब से श्यामा की अपने बेटे से बात नहीं हुई. श्यामा ने बताया कि परिवार के लोगों ने जब विजय से बात करने का प्रयास किया तो उसका फोन बंद आ रहा था और उन्हें आज की घटना की जानकारी ग्राम प्रधान के माध्यम से मिली. 

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(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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