मध्यप्रदेश देश का पहला ऐसा राज्य बना गया है, जहां 'द्वार प्रदाय योजना' की शुरुआत हुई है. इसके जरिए राज्य के लोगों को पांच तरह की सेवाएं महज 24 घंटों के अंदर घर पहुंचेंगी. मुख्यमंत्री कमलनाथ ने शनिवार को इंदौर में देश की पहली 'द्वार प्रदाय सेवा योजना' की शुरुआत की. इस सेवा योजना के जरिए प्रदेश के नागरिकों को आय प्रमाण-पत्र, मूल निवास प्रमाण-पत्र, जन्म प्रमाण-पत्र, मृत्यु प्रमाण-पत्र एवं खसरा-खातौनी की नकल 24 घंटे के अंदर उनके घर प्राप्त होगी. इसके लिए नागरिकों को लोकसेवा केंद्र अथवा उसके पोर्टल पर आवेदन देते समय उपलब्ध विकल्प को चुनकर आवेदन करना होगा.
सेवाएं लोकसेवा गारंटी एक्ट के तहत 'आपकी सरकार-आपके द्वार' योजना के अंतर्गत दी जाएंगी. इस सेवा योजना की शुरुआत होते ही इंदौर की स्कीम नंबर 71 गुमास्ता नगर निवासी मेहूल बंसल को आवेदन करने के कुछ घंटे बाद ही प्रमाण-पत्र उनके घर पहुंच गया. इस पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा, "मैंने एक दिन पहले दोपहर में आवेदन किया था. इतनी जल्दी मुझे अपना प्रमाण-पत्र मिल जाएगा, यह विश्वास नहीं हो रहा है. मैं आश्चर्यचकित हूं. सरकार और जिला प्रशासन ने यह बहुत ही अच्छी सेवा प्रारंभ की है."
इसी तरह बीसीएम सिटी नवलखा क्षेत्र में रहने वाले कैलाश ऐरन भी एक दिन में ही प्रमाण पत्र मिलने से खुश हैं. उनका कहना है, "यह बहुत ही अच्छी सेवा है. इससे जरूरतमंद लोगों को दस्तावेज और शासकीय सेवाएं प्राप्त करने में आसानी होगी. जनता को अधिक से अधिक लाभ मिलेगा."
सरकारी सूत्रों के अनुसार, प्रदेश में सरकार लोकसेवा गारंटी योजना के तहत 464 सेवाएं निरंतर 300 दिन आम जन को दे रही है. इसके तहत तय समय सीमा में सेवाओं का लाभ मिलता है. इसके लिए लोकसेवा केंद्रों की संख्या 326 से बढ़ाकर 426 की गई है. इन सेवा केंद्रों में प्रति दिन 25 से 30 हजार आवेदन आते हैं, जिन्हें तत्काल संबंधित विभागों को निर्धारित अवधि में समाधान के लिए भेजा जाता है. लेकिन अब इनमें से पांच सेवाओं को 24 घंटे के अंदर घर पहुंचाने की योजना शुरू की गई है.
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं