मध्यप्रदेश में किसानों को उपद्रव के लिए भड़काने के आरोपी कांग्रेस नेता डीपी धाकड़ ने आत्मसमर्पण कर दिया है.
भोपाल:
मध्यप्रदेश में किसानों के आंदोलन के दौरान रतलाम के डेलनपुर में भड़की हिंसा के आरोपी कांग्रेसी नेता और जिला पंचायत उपाध्यक्ष डीपी धाकड़ ने 55 वें दिन अदालत में आत्मसमर्पण कर दिया. धाकड़ ने पुलिस से अपनी जान को खतरा बताते हुए न्यायिक हिरासत में भेजने की मांग की. सुनवाई के बाद धाकड़ को 31 जुलाई तक उसे न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है.
किसान आंदोलन के दौरान डेलनपुर में हुई हिंसा के मुख्य आरोपी धाकड़ ने शुक्रवार दोपहर जज महेन्द्रसिंह सोलंकी की अदालत में आत्मसमर्पण कर दिया. पहले अदालत ने अपने आदेश में धाकड़ के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी कर उन्हें 31 जुलाई तक पेश करने के निर्देश दिए थे. पुलिस ने धाकड़ के भड़काऊ भाषण के लिए आवाज़ का नमूना, मोबाइल जब्त करने जैसी बातों के आधार पर पुलिस रिमांड की मांग की थी, लेकिन कोर्ट ने कहा कि पुलिस ने एफआईआर में भड़काऊ भाषण देने के बारे में कोई ज़िक्र नहीं किया है.
एफआईआर में ये भी नहीं बताया गया है कि भाषण का वीडियो तैयार हुआ है. इस मामले में धाकड़ की अगली पेशी 31 जुलाई को होगी. धाकड़ सहित 57 नामजद लोगों के खिलाफ पुलिस ने किसान आंदोलन के उपद्रव को लेकर तीन अलग-अलग मामले दर्ज कर रखे है. इनमें से अब तक 38 लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है.
जेल भेजे जाने के आदेश के बाद डीपी धाकड़ ने वीडियो को झूठा बताया और कहा कि उसे अदालत पर पूरा भरोसा है. डेलनपुर हिंसा के बाद डीपी धाकड़ और तीन मुख्य आरोपी फरार हो गये थे. उसे गिरफ्तार करने पहले पुलिस ने 10 हजार, बाद में उसे बढ़ाकर 20 हजार रुपए का इनाम घोषित किया था.
VIDEO : हिंसा में कांग्रेस का हाथ
1 से 10 जून तक मध्यप्रदेश में किसान आंदोलन के दौरान, 4 जून को डेलनपुर में उपद्रव हुआ था. आरोप था कि धाकड़ के भड़काऊ भाषण के बाद उपद्रवियों ने आगजनी और पथराव किया. 3 गाड़ियां जलाई गईं, आंदोलनकारियों को काबू करने के दौरान 2 पुलिसकर्मी घायल हो जिसमें एक पुलिसकर्मी की आंख चली गई.
किसान आंदोलन के दौरान डेलनपुर में हुई हिंसा के मुख्य आरोपी धाकड़ ने शुक्रवार दोपहर जज महेन्द्रसिंह सोलंकी की अदालत में आत्मसमर्पण कर दिया. पहले अदालत ने अपने आदेश में धाकड़ के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी कर उन्हें 31 जुलाई तक पेश करने के निर्देश दिए थे. पुलिस ने धाकड़ के भड़काऊ भाषण के लिए आवाज़ का नमूना, मोबाइल जब्त करने जैसी बातों के आधार पर पुलिस रिमांड की मांग की थी, लेकिन कोर्ट ने कहा कि पुलिस ने एफआईआर में भड़काऊ भाषण देने के बारे में कोई ज़िक्र नहीं किया है.
एफआईआर में ये भी नहीं बताया गया है कि भाषण का वीडियो तैयार हुआ है. इस मामले में धाकड़ की अगली पेशी 31 जुलाई को होगी. धाकड़ सहित 57 नामजद लोगों के खिलाफ पुलिस ने किसान आंदोलन के उपद्रव को लेकर तीन अलग-अलग मामले दर्ज कर रखे है. इनमें से अब तक 38 लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है.
जेल भेजे जाने के आदेश के बाद डीपी धाकड़ ने वीडियो को झूठा बताया और कहा कि उसे अदालत पर पूरा भरोसा है. डेलनपुर हिंसा के बाद डीपी धाकड़ और तीन मुख्य आरोपी फरार हो गये थे. उसे गिरफ्तार करने पहले पुलिस ने 10 हजार, बाद में उसे बढ़ाकर 20 हजार रुपए का इनाम घोषित किया था.
VIDEO : हिंसा में कांग्रेस का हाथ
1 से 10 जून तक मध्यप्रदेश में किसान आंदोलन के दौरान, 4 जून को डेलनपुर में उपद्रव हुआ था. आरोप था कि धाकड़ के भड़काऊ भाषण के बाद उपद्रवियों ने आगजनी और पथराव किया. 3 गाड़ियां जलाई गईं, आंदोलनकारियों को काबू करने के दौरान 2 पुलिसकर्मी घायल हो जिसमें एक पुलिसकर्मी की आंख चली गई.
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