फाइल फोटो...
इलाहाबाद:
उत्तर प्रदेश में अगले साल होने वाले महत्वपूर्ण विधानसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए भाजपा राष्ट्रीय कार्यकारिणी की दो दिवसीय बैठक आज (रविवार) से शुरू होगी, जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह एवं अन्य नेता हिस्सा लेंगे। बैठक में केंद्रीय मंत्रिमंडल के वरिष्ठ सदस्य, भाजपा शासित राज्यों के मुख्यमंत्री और सांसद हिस्सा लेंगे जो राज्य में विधानसभा चुनाव का एजेंडा तय कर सकते हैं।
शहर में गुरूवार से डेरा जमाए भाजपा के राष्ट्रीय सचिव सिद्धार्थ नाथ सिंह ने कहा कि इलाहाबाद राज्य की राजनीति का केंद्र रहा है और इस स्थान से जवाहर लाल नेहरू से लेकर वीपी सिंह जैसे दिग्गजों ने सीखा। यहां पार्टी की बैठक आयोजित करने से निश्चित तौर पर उत्तर प्रदेश में राजनीतिक बदलाव लाने के हमारे प्रयासों पर उत्प्रेरक प्रभाव डालेगा।
भाजपा कार्यकर्ताओं में काफी उत्साह
पार्टी अध्यक्ष शाह ने हाल ही में शहर के बाहरी इलाके में एक रैली में कहा था कि अगर कोई एक राज्य संसद में भाजपा को बहुमत दिलाने में मददगार रही है तो वह उत्तर प्रदेश है। वहीं भाजपा उपाध्यक्ष और राज्य के प्रभारी ओम माथुर ने कहा था कि राष्ट्रीय कार्यकारणी की बैठक में कई मुद्दों पर चर्चा होगी, लेकिन मुख्य जोर निश्चित तौर पर अगले साल होने वाला उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव होगा।
बहरहाल, भाजपा कार्यकर्ताओं में काफी उत्साह देखा जा रहा है, क्योंकि पार्टी की स्थापना के बाद से पहली बार भाजपा ने राष्ट्रीय कार्यकारणी की बैठक के लिए इस शहर को चुना है। इलाहाबाद की लगभग सभी गलियां बैनर, पोस्टरों से पटे हैं, जिन पर शहर में पीएम मोदी एवं अन्य नेताओं का स्वागत किया गया है। काफी संख्या में बैनर पोस्टरों पर 'मिशन 265 प्लस' प्रदर्शित किया गया है। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने 'मिशन 265 प्लस' को आगे बढ़ाया है और 403 सदस्यों वाले उत्तर प्रदेश विधानसभा में बहुमत हासिल करने के लिए पार्टी कार्यकर्ताओं में उत्साह भरते रहते हैं। कुछ पोस्टरों में पार्टी के मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार सुल्तानपुर से सांसद वरूण गांधी को घोषित करने की मांग की गई है।
पार्टी के राष्ट्रीय सचिव एवं प्रवक्ता श्रीकांत शर्मा ने कहा कि ऐसे फैसले संसदीय बोर्ड की बैठक में होती है जो आमतौर पर दिल्ली में होती है। राष्ट्रीय कार्यकारणी की बैठक ऐसा स्थान नहीं होता, जहां ऐसी घोषणा की जाए। शर्मा ने कहा, 'बैठक में निश्चित तौर पर समाजवादी पार्टी के 'गुंडाराज' के मुद्दे पर चर्चा होगी जो राज्य की समाजवादी पार्टी के शासन में आगे बढ़ रहा है और जिसका सबसे ताजा उदाहरण मथुरा की हिंसा की घटना है, जहां भूमि पर कब्जा करने वालों को राजनीतिक संरक्षण प्राप्त था और जिसमें दो जांबाज पुलिस अधिकारी को जान गंवानी पड़ी।' उन्होंने कहा, 'भाजपा राज्य से सपा और बसपा को उखाड़ फेंकने को प्रतिबद्ध है, जिन्होंने बारी-बारी से एक दशक से अधिक समय तक शासन किया और इसे बर्बाद करने का काम किया।'
403 सदस्यीय विधानसभा में भाजपा के 50 से भी कम विधायक हैं। पिछले दशक में राज्य में पार्टी के प्रभाव में कमी आई जो 1990 के शुरू में काफी प्रभावी था। हालांकि 2014 के लोकसभा चुनाव में भाजपा ने जबर्दस्त वापसी की और राज्य से लोकसभा की 80 सीटों में 78 पर चुनाव लड़कर 71 सीटों पर जीत दर्ज की। उत्तरप्रदेश में भाजपा का यह सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन था, जिसका श्रेय मोदी के गुजरात से बाहर निकलकर वाराणसी से चुनाव लड़ने के निर्णय और अमित शाह के संगठनात्मक कौशल को जाता है जो उस समय राज्य के प्रभारी थे।
दो दिवसीय बैठक के मद्देनजर इलाहाबाद में सुरक्षा के व्यापक प्रबंध
भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारणी की दो दिवसीय बैठक के मद्देनजर इलाहाबाद में सुरक्षा के व्यापक प्रबंध किए गए हैं। प्रधानमंत्री की सुरक्षा के लिए जिम्मेदार स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (एसपीजी) गुरूवार को यहां पहुंच गया और उसके बाद से कायस्थ पाठशाला खेल मैदान में सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा करने में जुटा है। इस स्थान पर विशाल एवं वातानुकूलित शामियाने के तले यह बैठक होगी। यहीं पवित्र संगम के पास परेड ग्राउंड के पास सोमवार को एक रैली का भी आयोजन किया जाएगा। एसपीजी यहां सर्किट हाउस की सुरक्षा व्यवस्था की भी समीक्षा कर रही है, जहां पर प्रधानमंत्री के 12-13 जून की दरमियानी रात को रूकने की संभावना है।
सुरक्षा व्यवस्था में उत्तर प्रदेश पुलिस ने 20 जिलों से जवानों को लगाया है। इलाहाबाद जोन के पुलिस महानिरीक्षक आर के चतुर्वेदी के अनुसार, 18 एसपी रैंक के अधिकारियों, 30 अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक और 50 सर्किल आफिसर (डीएसपी रैंक) के अधिकारी 2,500 कॉन्स्टेबल और प्रांतीय सशस्त्र बल के 1,800 जवानों को शहर में सुरक्षा व्यवस्था एवं यातायात का प्रबंधन करने के काम में लगाया गया है। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही बम निष्क्रिय करने वाले दल और श्वान दस्ते को भी सेवा में लगाया गया है।
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है)
शहर में गुरूवार से डेरा जमाए भाजपा के राष्ट्रीय सचिव सिद्धार्थ नाथ सिंह ने कहा कि इलाहाबाद राज्य की राजनीति का केंद्र रहा है और इस स्थान से जवाहर लाल नेहरू से लेकर वीपी सिंह जैसे दिग्गजों ने सीखा। यहां पार्टी की बैठक आयोजित करने से निश्चित तौर पर उत्तर प्रदेश में राजनीतिक बदलाव लाने के हमारे प्रयासों पर उत्प्रेरक प्रभाव डालेगा।
भाजपा कार्यकर्ताओं में काफी उत्साह
पार्टी अध्यक्ष शाह ने हाल ही में शहर के बाहरी इलाके में एक रैली में कहा था कि अगर कोई एक राज्य संसद में भाजपा को बहुमत दिलाने में मददगार रही है तो वह उत्तर प्रदेश है। वहीं भाजपा उपाध्यक्ष और राज्य के प्रभारी ओम माथुर ने कहा था कि राष्ट्रीय कार्यकारणी की बैठक में कई मुद्दों पर चर्चा होगी, लेकिन मुख्य जोर निश्चित तौर पर अगले साल होने वाला उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव होगा।
बहरहाल, भाजपा कार्यकर्ताओं में काफी उत्साह देखा जा रहा है, क्योंकि पार्टी की स्थापना के बाद से पहली बार भाजपा ने राष्ट्रीय कार्यकारणी की बैठक के लिए इस शहर को चुना है। इलाहाबाद की लगभग सभी गलियां बैनर, पोस्टरों से पटे हैं, जिन पर शहर में पीएम मोदी एवं अन्य नेताओं का स्वागत किया गया है। काफी संख्या में बैनर पोस्टरों पर 'मिशन 265 प्लस' प्रदर्शित किया गया है। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने 'मिशन 265 प्लस' को आगे बढ़ाया है और 403 सदस्यों वाले उत्तर प्रदेश विधानसभा में बहुमत हासिल करने के लिए पार्टी कार्यकर्ताओं में उत्साह भरते रहते हैं। कुछ पोस्टरों में पार्टी के मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार सुल्तानपुर से सांसद वरूण गांधी को घोषित करने की मांग की गई है।
पार्टी के राष्ट्रीय सचिव एवं प्रवक्ता श्रीकांत शर्मा ने कहा कि ऐसे फैसले संसदीय बोर्ड की बैठक में होती है जो आमतौर पर दिल्ली में होती है। राष्ट्रीय कार्यकारणी की बैठक ऐसा स्थान नहीं होता, जहां ऐसी घोषणा की जाए। शर्मा ने कहा, 'बैठक में निश्चित तौर पर समाजवादी पार्टी के 'गुंडाराज' के मुद्दे पर चर्चा होगी जो राज्य की समाजवादी पार्टी के शासन में आगे बढ़ रहा है और जिसका सबसे ताजा उदाहरण मथुरा की हिंसा की घटना है, जहां भूमि पर कब्जा करने वालों को राजनीतिक संरक्षण प्राप्त था और जिसमें दो जांबाज पुलिस अधिकारी को जान गंवानी पड़ी।' उन्होंने कहा, 'भाजपा राज्य से सपा और बसपा को उखाड़ फेंकने को प्रतिबद्ध है, जिन्होंने बारी-बारी से एक दशक से अधिक समय तक शासन किया और इसे बर्बाद करने का काम किया।'
403 सदस्यीय विधानसभा में भाजपा के 50 से भी कम विधायक हैं। पिछले दशक में राज्य में पार्टी के प्रभाव में कमी आई जो 1990 के शुरू में काफी प्रभावी था। हालांकि 2014 के लोकसभा चुनाव में भाजपा ने जबर्दस्त वापसी की और राज्य से लोकसभा की 80 सीटों में 78 पर चुनाव लड़कर 71 सीटों पर जीत दर्ज की। उत्तरप्रदेश में भाजपा का यह सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन था, जिसका श्रेय मोदी के गुजरात से बाहर निकलकर वाराणसी से चुनाव लड़ने के निर्णय और अमित शाह के संगठनात्मक कौशल को जाता है जो उस समय राज्य के प्रभारी थे।
दो दिवसीय बैठक के मद्देनजर इलाहाबाद में सुरक्षा के व्यापक प्रबंध
भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारणी की दो दिवसीय बैठक के मद्देनजर इलाहाबाद में सुरक्षा के व्यापक प्रबंध किए गए हैं। प्रधानमंत्री की सुरक्षा के लिए जिम्मेदार स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (एसपीजी) गुरूवार को यहां पहुंच गया और उसके बाद से कायस्थ पाठशाला खेल मैदान में सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा करने में जुटा है। इस स्थान पर विशाल एवं वातानुकूलित शामियाने के तले यह बैठक होगी। यहीं पवित्र संगम के पास परेड ग्राउंड के पास सोमवार को एक रैली का भी आयोजन किया जाएगा। एसपीजी यहां सर्किट हाउस की सुरक्षा व्यवस्था की भी समीक्षा कर रही है, जहां पर प्रधानमंत्री के 12-13 जून की दरमियानी रात को रूकने की संभावना है।
सुरक्षा व्यवस्था में उत्तर प्रदेश पुलिस ने 20 जिलों से जवानों को लगाया है। इलाहाबाद जोन के पुलिस महानिरीक्षक आर के चतुर्वेदी के अनुसार, 18 एसपी रैंक के अधिकारियों, 30 अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक और 50 सर्किल आफिसर (डीएसपी रैंक) के अधिकारी 2,500 कॉन्स्टेबल और प्रांतीय सशस्त्र बल के 1,800 जवानों को शहर में सुरक्षा व्यवस्था एवं यातायात का प्रबंधन करने के काम में लगाया गया है। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही बम निष्क्रिय करने वाले दल और श्वान दस्ते को भी सेवा में लगाया गया है।
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है)
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