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This Article is From Feb 03, 2024

UP : फर्जी वीडियो के जरिए ईवीएम और चुनाव प्रक्रिया को लेकर भ्रम फैलाने वाले के खिलाफ FIR दर्ज

जिलाधिकारी निखिल टी. फुन्डे ने मामले की जांच कराई तो सामने आया कि यह वीडियो 2019 के लोकसभा चुनाव के वक्‍त का है. आरोपी ने 'ईवीएम हटाओ देश बचाओ' हैशटैग के साथ अलग-अलग मौकों पर कई भ्रामक पोस्ट किये. 

UP : फर्जी वीडियो के जरिए ईवीएम और चुनाव प्रक्रिया को लेकर भ्रम फैलाने वाले के खिलाफ FIR दर्ज
ईवीएम का फर्जी वीडियो पोस्‍ट करने वाले के खिलाफ विभिन्‍न धाराओं में मामला दर्ज किया गया है. (प्रतीकात्‍मक)
नई दिल्‍ली:

उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के चंदौली में फर्जी वीडियो (Fake Video) के जरिए ईवीएम (EVM) और चुनाव प्रक्रिया को लेकर भ्रम फैलाना एक शख्‍स को महंगा पड़ गया है. आरोपी शख्‍स के खिलाफ पुलिस में एफआईआर दर्ज कराई गई है. आरोपी फर्जी वीडियो के साथ 'ईवीएम हटाओ देश बचाओ' हैशटैग पोस्‍ट कर भ्रामक सूचना फैला रहा था. इस मामले में जिलाधिकारी ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स को पत्र लिखकर आरोपी के हैंडल के विरुद्ध भी कार्रवाई करने के लिए निर्देश दिए हैं. 

जानकारी के मुताबिक, एक्‍स हैंडल गुर्जर@प्रतिहार सुरेंद्र द्वारा, "स्थानीय लोगों ने एक दुकान के अन्दर रखे 300 से अधिक ईवीएम मशीन पकड़े'' शीर्षक के साथ एक वीडियो पोस्ट किया था. जिलाधिकारी निखिल टी. फुन्डे ने मामले की जांच कराई तो सामने आया कि यह वीडियो 2019 के लोकसभा चुनाव के वक्‍त का है. साथ ही पता चला कि आरोपी ने 'ईवीएम हटाओ देश बचाओ' हैशटैग के माध्यम से अभियान चलाकर निर्वाचन प्रक्रिया और ईवीएम को लेकर अलग-अलग मौकों पर भ्रामक पोस्ट किये हैं. 

आरोपी की यह पोस्‍ट 29 जनवरी को पुलिस अधीक्षक अनिल कुमार की सोशल मीडिया टीम के सामने आई थी, जिसके बाद इसे जिलाधिकारी के संज्ञान में लाया गया. जिलाधिकारी ने बताया कि उस वक्‍त वीवीपैट को राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों की उपस्थिति में शिफ्ट किया गया था और उस दौरान किसी भी तरह की अनियमितता नहीं हुई थी. 

इन धाराओं में दर्ज की गई FIR

इस मामले में चंदौली थाने में आईपीसी की धारा 505, 507 के साथ ही सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 की धारा 66 (डी) के तहत एफआईआर दर्ज की गई है. इसके अलावा एक्स को ईमेल भेजकर उपरोक्त हैंडल को बैन करने के लिए लिखा गया है. 

कार्रवाई पर क्‍या बोले जिलाधिकारी?

जिलाधिकारी ने कहा कि इस पूरी कार्रवाई के पीछे मंशा है कि कोई व्यक्ति या संस्था निर्वाचन संबंधी किसी भी विषय पर भ्रामक सूचना न फैलाए, जिससे निर्वाचन प्रक्रिया बाधित हो. उन्होंने कहा कि निर्वाचन कार्यो में लगे सभी संबंधित और जिम्‍मेदार प्राधिकारियों से अपेक्षा है कि वह आगामी चुनाव तक ईवीएम के रखरखाव और ट्रेनिंग आदि के समय उसके प्रयोग आदि को लेकर बेहद सतर्कता बरतें और किसी भी अवांछनीय तत्व के शरारतपूर्ण रवैये से तुरन्त प्रशासन को अवगत कराएं. 

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