राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के राज्य सभा सांसद मनोज झा (Manoj Jha) ने आज (बुधवार) राज्य सभा में बिहार विधानसभा में हुई पुलिसिया कार्रवाई का मामला उठाना चाहा तो राज्यसभा के सभापति एम वेंकैया नायडू ने इससे मना कर दिया. नायडू ने कहा कि राज्य का विषय है मैं इसे यहां उठाने की अनुमति नहीं दे सकता. इसके बाद मनोज झा ने कहा, "बिहार राष्ट्रपति शासन के लिये फिट केस है. मुझे मुद्दा उठाने नही दिया गया. महिलाओं के साथ क्या हुआ? विधानसभा में पुलिस भेजा गया. 40 सीटों वाले मुख्यमंत्री क्या कर रहे हैं? वहां तो लोकतंत्र का शव निकला है."
राज्यसभा में जैसे ही मनोज झा ने बिहार विधानसभा घटनाक्रम का मुद्दा उठाया तो राज्यसभा के सभापति वेंकैया नायडू ने कहा कि हम सबसे पहले फिनान्स बिल पर चर्चा करेंगे , फिर NCT दिल्ली बिल पर चर्चा करेंगे. इस बीच कांग्रेस ने नेता सदन मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि अगर किसी राज्य में अन्याय हुआ है तो हम उस मुद्दे पर चर्चा कर सकते हैं लेकिन सभापति ने इसकी इजाजत नहीं दी.
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इससे पहले सांसद मनोज कुमार झा ने बिहार के सीएम नीतीश कुमार को चेतावनी दी थी कि वह बुधवार को बिहार विधानसभा में आरजेडी विधायकों की साथ हुई बदसलूकी का मुद्दा संसद में उठाएंगे. उधर, पाटलिपुत्र से बीजेपी सांसद रामकृपाल यादव ने कहा, "जो कुछ हुआ, वह दुर्भाग्यपूर्ण है. विपक्ष ने हिंसा की है. किसी को नहीं छोड़ा. सदन से लेकर बाहर तक, हर जगह मार पिटाई की गई. नहीं रोका जाता तो, कुछ भी हो जाता.
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बता दें कि बिहार विधानसभा में मंगलवार को बिहार विशेष सशस्त्र पुलिस विधेयक, 2021 पर चर्चा के दौरान खूब हंगामा हुआ. इस दौरान मुख्य विपक्षी पार्टी राजद समेत अन्य विपक्षी दलों के विधायकों के साथ सदन के अंदर पुलिस की धक्का-मुक्की और हाथापाई भी हुई.
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