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This Article is From Jun 26, 2022

मुंबई में कई नेताओं के कार्यालय और आवास पर पुलिस तैनात, 10 जुलाई तक निषेधाज्ञा लागू

पुलिस ने कहा कि विशेष शाखा के अधिकारियों को सोशल मीडिया मंच पर नजर रखने और आपत्तिजनक सामग्री, संदेश, वीडियो पोस्ट करने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने को कहा गया है.

मुंबई में कई नेताओं के कार्यालय और आवास पर पुलिस तैनात, 10 जुलाई तक निषेधाज्ञा लागू
मुंबई:

एकनाथ शिंदे की बगावत को लेकर शिवसेना कार्यकर्ताओं के बढ़ते आक्रोश के मद्देनजर मुंबई पुलिस ने शहर स्थित विभिन्न राजनीतिक दलों और नेताओं के कार्यालयों और उनके आवास पर पुलिस बल तैनात कर दिया है. एक अधिकारी ने शनिवार को इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि सुरक्षा के मद्देनजर मंत्रियों, विधायकों और सांसदों के कार्यालयों और आवास पर पुलिस बल तैनात किया गया है.

उन्होंने कहा कि मुंबई पुलिस आयुक्त संजय पांडेय की अध्यक्षता में हुई एक बैठक में सतर्कता बरतने और सुरक्षा मुहैया कराने के निर्देश दिए गए. बैठक में संयुक्त पुलिस आयुक्त (कानून व्यवस्था), अतिरिक्त आयुक्त और क्षेत्रीय उप पुलिस आयुक्त स्तर के अधिकारियों समेत अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे.

शहर की पुलिस द्वारा राज्यसभा चुनाव से पहले जून के प्रथम सप्ताह में मुंबई पुलिस अधिनियम की धारा 37 के तहत जारी निषेधाज्ञा को 10 जुलाई तक बढ़ा दिया गया है. यह धारा एक स्थान पर पांच या अधिक व्यक्तियों के एकत्र होने पर प्रतिबंध लगाती है.

एक पुलिस अधिकारी ने स्पष्ट किया कि उसने गलती से पहले दिन में दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 144 का उल्लेख किया था, लेकिन बाद में स्पष्ट किया कि मुंबई पुलिस अधिनियम की धारा 37 के अनुसार निषेधाज्ञा लागू है.

शिवसेना के अधिकतर विधायक मंत्री एकनाथ शिंदे के प्रति अपनी वफादारी दिखाते हुए गुवाहाटी में डेरा डाले हुए हैं. इससे मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली महा विकास आघाडी (एमवीए) सरकार पर संकट मंडरा रहा है. राज्य के कुछ हिस्सों में बागी विधायकों के कार्यालयों पर हमले की कुछ घटनाएं हुई हैं.

अधिकारी ने कहा, ‘‘शहर के पुलिसकर्मियों को सतर्क रहने और शहर में कानून व्यवस्था की स्थिति बनाए रखने के लिए कहा गया है. उन्हें राजनीतिक दलों के स्थानीय नेताओं के साथ समन्वय करने और उनके कार्यक्रमों, आंदोलन और बंदोबस्त से संबंधित जानकारी अग्रिम रूप से प्राप्त करने का निर्देश दिया गया है.''

पुलिस ने कहा कि विशेष शाखा के अधिकारियों को सोशल मीडिया मंच पर नजर रखने और आपत्तिजनक सामग्री, संदेश, वीडियो पोस्ट करने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने को कहा गया है.

उन्होंने कहा कि पुलिसकर्मियों को यह सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है कि राजनीतिक दलों के कार्यकर्ता कानून को हाथ में न लें, हिंसा में शामिल न हों या सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान न पहुंचा सकें. अधिकारियों को कानून का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने के लिए कहा गया है.

अधिकारी ने कहा कि पुलिस कर्मचारियों को यह सुनिश्चित करने के लिए भी कहा गया है कि कहीं भी कोई आपत्तिजनक बैनर और होर्डिंग नहीं लगने दें.

पुलिस अधिकारी ने कहा कि मौजूदा राजनीतिक घटनाक्रम को देखते हुए किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए मुंबई पुलिस पहले से ही हाई अलर्ट पर है. उन्होंने कहा कि पुलिस ने शहर के विभिन्न महत्वपूर्ण स्थानों पर पर्याप्त सुरक्षा बल की तैनाती की गई है.
धारा 37 के तहत पांच या अधिक व्यक्तियों के एकत्र होने, जुलूस निकालने, लाउड स्पीकर, संगीत बैंड और पटाखे फोड़ने पर पाबंदी रहती है.
 

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