संकटग्रस्त सूडान से 360 भारतीयों का पहला जत्था 'ऑपरेशन कावेरी' (Operation Kaveri) के तहत बुधवार शाम नई दिल्ली पहुंचा. 'ऑपरेशन कावेरी' सूडान से फंसे हुए भारतीय नागरिकों को निकालने के लिए सरकार द्वारा शुरू किया गया एक बचाव अभियान है. बताते चलें कि सूडान में सेना और अर्धसैनिक बलों के बीच युद्ध जैसे हालात हैं. सूडान में दोनों गुटों ने सोमवार को अमेरिका और सऊदी अरब द्वारा मध्यस्थता के बाद 72 घंटे के युद्धविराम के लिए सहमति व्यक्त की थी. जिसके बाद से सभी देश अपने नागरिकों को सुरक्षित निकालने में लगे हैं.
भारतीय वायु सेना के दो परिवहन विमानों के जरिये सूडान से 250 भारतीयों को निकाला गया है. इससे पहले नौसेना के जहाज आईएनएस सुमेधा के माध्यम से इस हिंसाग्रस्त अफ्रीकी देश से 278 नागरिकों को निकाला गया था.
"हम सूडान में फंसे भारतीयों को बचाना चाहते हैं" : जयशंकर
विदेश मंत्री ने कहा कि मैं अभी यहां पनामा में हूं. मैं पिछले कुछ दिनों से गुयाना में था. हालांकि, मेरा दिमाग सूडान में है. हम वहां ‘ऑपरेशन कावेरी' को अंजाम दे रहे हैं, जिसके तहत हम सूडान में फंसे भारतीयों को निकालना और बचाना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि हम उन्हें वापस लाने या किसी अन्य देश में स्थानांतरित करने और उनकी सुरक्षित निकासी के लिए काम कर रहे हैं. यात्रियों के दिल्ली एयरपोर्ट पर पहुंचने की तस्वीर को विदेश मंत्री ने स्वयं ट्वीट किया है.
India welcomes back its own. #OperationKaveri brings 360 Indian Nationals to the homeland as first flight reaches New Delhi. pic.twitter.com/v9pBLmBQ8X
— Dr. S. Jaishankar (@DrSJaishankar) April 26, 2023
राज्य सरकारों ने बनाया हेल्प डेस्क
हिंसाग्रस्त सूडान में फंसे भारतीयों के लिए कई राज्यों ने सहायता डेस्क स्थापित की हैं और उनके देश वापस आने पर उनकी यात्रा, ठहरने और खाने-पीने जैसी सुविधाओं की निशुल्क व्यवस्था करने का ऐलान किया है. केरल सरकार ने कहा कि सूडान से केंद्र द्वारा लाए जा रहे मलयाली लोगों को गृह राज्य लाने के लिए वह जरूरी इंतजाम करेगी.
15 अप्रैल शुरू हुआ था गृहयुद्ध
राजधानी खार्तूम और सूडान के अन्य क्षेत्रों में 15 अप्रैल को सेना प्रमुख अब्देल फतह अल-बुरहान के प्रति वफादार बलों और उनके उप-प्रतिद्वंद्वी मोहम्मद हमदान डागलो के बीच हिंसा भड़क उठी थी. डागलो शक्तिशाली अर्धसैनिक रैपिड सपोर्ट फोर्स की कमान संभालते हैं.
सूडान में अमेरिकी एंबेसी बंद
23 अप्रैल को अमेरिकी एंबेसी के करीब 100 राजनयिकों और उनके परिवार को सुरक्षित निकालने के लिए मिलिट्री के एयरक्राफ्ट में एयरलिफ्ट किया गया. अमेरिकी एंबेसी को फिलहाल बंद कर दिया गया है. यहां सभी काम रोक दिए गए हैं. सूडान में अमेरिकी दूतावास के काम दोबारा कब शुरू किए जाएंगे, इस बारे में भी नहीं बताया गया.
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