मुंबई:
जापान में भूकंप और सुनामी के चलते परमाणु संयंत्रों पर मंडरा रहे खतरे के मद्देनजर महाराष्ट्र सरकार ने शुक्रवार को कहा कि वह विवादास्पद जैतापुर परमाणु संयंत्र को जरूरत पड़ने पर अतिरिक्त सुरक्षा कदमों के साथ मंजूरी देगी। प्रदेश के उप मुख्यमंत्री और ऊर्जा मंत्रालय का भी प्रभार संभाल रहे अजित पवार ने शुक्रवार को विधान परिषद में कहा कि जापान में सुनामी प्रभावित परमाणु संयंत्र में संकट के मद्देनजर यहां सभी अतिरिक्त सुरक्षा कदम उठाए जाएंगे। पवार ने कहा, जापान की घटना के बाद प्रधानमंत्री ने खुद भी देशभर के सभी परमाणु उर्जा संयंत्रों की समीक्षा का आश्वासन दिया है। परमाणु ऊर्जा आयोग के अध्यक्ष डॉ एस बनर्जी ने भी कहा कि जापान में संकट का अध्ययन किया जाएगा और यहां नए संयंत्र में उचित बदलाव किये जाएंगे। उन्होंने कहा कि स्थानीय लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सभी सुरक्षा कदमों को लागू किया जाएगा। पवार ने यह भी कहा कि जापान भूकंप जोन-9 के तहत आता है, वहीं जैतापुर जोन-3 में पढ़ता है जहां भूकंप का खतरा कम है। उप मुख्यमंत्री ने कहा कि जापान में संकट सुनामी के कारण नहीं बल्कि भूकंप के चलते आया है। उन्होंने कहा कि एक औसत सुनामी लहर 25 से 30 फुट ऊंचाई तक आ सकती है वहीं जैतापुर परियोजना समुद्र स्तर से 75 फुट ऊंचाई पर स्थित होगी। उन्होंने कहा, इस पर राजनीतिक करना ठीक नहीं है। बिना पर्याप्त ऊर्जा के उद्योगों को बढ़ाना कठिन है।
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