"इससे सच्चाई नहीं बदलेगी...": अमित शाह के अरुणाचल दौरे पर चीन की आपत्ति पर भारत की दो टूक

अमित शाह ने अरुणाचल के एक गांव जनसभा को संबोधित करते हुए चीन को जवाब दिया था. उन्होंने कहा कि कोई भी "भारत की क्षेत्रीय अखंडता" पर सवाल नहीं उठा सकता है.

गृह मंत्री अमित शाह ने अरुणाचल प्रदेश में 'वाइब्रेंट विलेज प्रोग्राम' कार्यक्रम लॉन्च किया था.

नई दिल्ली:

भारत ने गृह मंत्री अमित शाह की अरुणाचल प्रदेश के दौरे को लेकर चीन के बयान और आपत्ति को सिरे से खारिज कर दिया है. चीन ने अमित शाह के अरुणाचल दौरे को संप्रभुता का उल्लंघन करार दिया था. चीन का दावा था कि इस क्षेत्र की यात्रा बीजिंग की क्षेत्रीय संप्रभुता का उल्लंघन है. चीन के इस बयान को खारिज करते हुए भारत के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची कहा, 'हम चीन के आधिकारिक प्रवक्ता की गई टिप्पणियों को पूरी तरह से खारिज करते हैं. भारतीय नेता और मंत्री नियमित रूप से अरुणाचल प्रदेश राज्य की यात्रा करते हैं, जैसा कि वे भारत के किसी अन्य राज्य में करते हैं."

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा, "अरुणाचल प्रदेश भारत का अभिन्न और अविभाजित हिस्सा था, है और रहेगा. इस तरह की यात्राओं पर आपत्ति करना तर्कसंगत नहीं है. इससे उपरोक्त वास्तविकता नहीं बदलेगी."

इससे पहले अमित शाह ने अरुणाचल से चीन को जवाब दिया था. उन्होंने कहा कि कोई भी "भारत की क्षेत्रीय अखंडता" पर सवाल नहीं उठा सकता है. शाह ने कहा, "कोई हमारी एक इंच जमीन भी नहीं ले सकता है." गृह मंत्री ने अरुणाचल के किबिथू गांव में केंद्र की ओर से चलाई जा रही कई योजनाओं की शुरुआत की है. यह गांव भारत और चीन की सीमा पर स्थित है.

कोई आंख उठाकर नहीं देख सकता
अमित शाह ने कहा, 'ITBP और सेना के जवानों के शौर्य के कारण कोई भी आंख उठाकर हमारे देश की सीमा को नहीं देख सकता. अब वो जमाना चला गया जब भारत की जमीन पर कोई भी कब्जा कर सकता था. आज सूई की नोक बराबर भी जमीन पर कोई कब्जा नहीं कर सकता.'

चीन ने क्या कहा था?
चीन ने गृहमंत्री के अरुणाचल प्रदेश के दौरे को अपनी संप्रभुता का उल्लंघन बताते हुए भारत को धमकी दी कि उनका यह दौरा शांति के लिए खतरा हो सकता है और सीमा पर दोनों देशों की वस्तुस्थिति को बिगाड़ सकता है. 

अरुणाचल में चीन ने बदले थे 11 जगहों के नाम
हाल ही में चीन ने अरुणाचल प्रदेश के 11 जगहों के नाम बदल दिए थे. जिसके बाद अमित शाह की ये यात्रा हुई थी. भारत ने चीन की तरफ से बदले गए नामों को भी सिरे से खारिज कर दिया है.

अरुणाचल को लेकर भारत-चीन में क्या विवाद है?
पूरे अरुणाचल प्रदेश समेत करीब 90 हजार वर्ग किलोमीटर के इलाके पर चीन अपना दावा करता है. इस इलाके को वह जांगनान कहता है और इसे दक्षिण तिब्बत का हिस्सा बताता है. अपने मैप में भी वह अरुणाचल प्रदेश को चीन के हिस्से के रूप में दिखाता है. कभी-कभी चीनी मैप में इसे तथाकथित अरुणाचल प्रदेश के रूप में भी दर्शाया जाता है. इस भारतीय इलाके पर अपना दावा जताने के लिए चीन समय-समय पर कई तरह की हरकतें करता रहा है.

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