
- भारत में पुरानी पिन कोड प्रणाली की जगह पर नई एड्रेसिंग प्रणाली डिजिपिन लॉन्च की जा रही है, जो अधिक सटीक है.
- डिजिपिन एक 10 अंकीय अल्फान्यूमेरिक कोड है जो आपके स्थान के सटीक कोऑर्डिनेट्स के आधार पर जनरेट होता है.
- यह प्रणाली IIT हैदराबाद और NRSC ISRO द्वारा विकसित की गई है और इसमें IIM तथा IISC बैंगलोर की मदद ली जा रही है.
Digipin: आप कहां रहते हैं? आपका पता क्या है... इसे बताने के लिए गांव, थाना, जिला के साथ-साथ पिन कोड भी याद रखा जाता रहा है. लेकिन सालों से चली आ रही यह व्यवस्था बदलने अब बदलने वाली है. क्योंकि भारत में एक नई एड्रेसिंग प्रणाली- Digipin को लॉन्च किया जा रहा है. तकनीक के क्षेत्र में आए अभूतपूर्व बदलाव के कारण डिजिपिन को बदलते वक्त की जरूरत बताया जा रहा है. इस डिजिपिन के जरिए किसी के गंतव्य तक आसानी से बेहद सटीकता के साथ कुछ भी सामान पहुंचाया जा सकता है.
डाक विभाग के उप महानिदेशक ने बताया- क्यों पड़ी इसकी जरूरत?
गुरुवार को भारत में एक नई एड्रेसिंग प्रणाली-डिजिपिन को पेश करते हुए डाक विभाग के उप महानिदेशक, विवेक दक्ष ने कहा, "पुरानी पिन कोड प्रणाली डाक विभाग द्वारा साल 1972 में पार्सल की छंटाई और वितरण में मदद के लिए शुरू की गई थी. लेकिन अब हम गंतव्य तक पहुंचने के लिए और सटीकता चाहते हैं तो ऐसे में हमें एक मानकीकृत नई एड्रेसिंग प्रणाली की आवश्यकता है.
उन्होंने आगे बताया कि इसके लिए हमने प्रत्येक स्थान को 10 अंकों के अल्फान्यूमेरिक कोड में बदल दिया है, जिसे डिजिपिन का नाम दिया गया है. इस पिन का उपयोग करने से पता की सटीकता और बढ़ जाएगी.
#WATCH | Mumbai: Introducing a new addressing system in India-DIGIPIN, Deputy DG, Department of Posts, Vivek Daksh says, "...Old PIN code system was introduced by the postal department in the year 1972 to help in sorting and delivery of parcels...now that we want precision and… pic.twitter.com/IPeXKswxt3
— ANI (@ANI) October 9, 2025
डाक विभाग के उप महानिदेशक विवेक दक्ष ने बताया कि IIT हैदराबाद और NRSC ISRO द्वारा संयुक्त रूप से विकसित की गई यह प्रणाली भारत में क्रांति लाएगी. इस पूरे डिजिटल पिनकोड पारिस्थितिकी तंत्र का अध्ययन करने के लिए, हम IIM, IISC बैंगलोर से मदद ले रहे हैं."
आपके लोकेशन को सटीक ट्रैक करने में सक्षम
बताया गया कि यह पिन इतना सटीक होता है कि आपके घर, ऑफिस या किसी भी स्थान को सीधे ट्रैक किया जा सकता है. अब आपको कूरियर या पार्सल भेजने के लिए पुराने PIN कोड पर निर्भर रहने की जरूरत नहीं है. भारतीय डाक विभाग की नई सुविधा DIGIPIN, आपके लोकेशन के आधार पर एक डिजिटल पिन कोड तैयार करता है.
- DIGIPIN एक 10-अंकीय अल्फान्यूमेरिक कोड है, जो आपके लोकेशन के सटीक कोऑर्डिनेट्स के आधार पर जनरेट होता है. यह कोड एक 4 मीटर × 4 मीटर ग्रिड में किसी भी स्थान को दर्शाता है चाहे वो घर हो, दफ्तर हो या कोई संस्था.
- यह कोड सिर्फ कूरियर या लॉजिस्टिक्स के लिए ही नहीं, बल्कि आपातकालीन सेवाओं जैसे पुलिस, एंबुलेंस या फायर ब्रिगेड को बुलाने के लिए भी उपयोग किया जा सकता है. DIGIPIN साझा करने से सेवाएं सीधे आपके लोकेशन पर पहुंच सकेंगी.
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