नई दिल्ली:
कांग्रेस ने बुधवार को गुजरात की एक पूर्व मंत्री और 31 अन्य को 2002 के नरोदा पाटिया नरसंहार मामले में अदालत द्वारा दोषी करार दिए जाने का स्वागत किया है। कांग्रेस ने कहा कि मंत्री की संलिप्तता नरेंद्र मोदी सरकार के दोष को जाहिर करता है।
कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने गुजरात की एक अदालत द्वारा सुनाए गए फैसले पर अपनी टिप्पणी में कहा, "जब तक मुख्यमंत्री की सहमति नहीं होगी, तब तक कोई भी मंत्री इस तरह के किसी अपराध में शामिल नहीं हो सकता।"
केंद्रीय कानून मंत्री सलमान खुर्शीद ने भी अदालत के फैसले का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि इससे न्याय प्रणाली में लोगों का भरोसा बढ़ेगा।
खुर्शीद ने हालांकि गुजरात के मुख्यमंत्री पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा, "मैं इस मामले से सम्बंधित मुद्दों के साथ राजनीति का घालमेल नहीं करना चाहता। यह कोई राजनीतिक लड़ाई नहीं है, बल्कि कानूनी व नैतिक लड़ाई है।"
ज्ञात हो कि जिस समय 28 फरवरी, 2002 को एक भीड़ ने अहमदाबाद के नरोदा पाटिया में 90 से अधिक मुसलमानों को मार डाला था, उस समय नरेंद्र मोदी गुजरात में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सरकार के मुख्यमंत्री थे।
मायाबेन कोडनानी, नरोदा की तत्कालीन विधायक और मंत्री थीं। अदालत द्वारा दोषी ठहराए गए लोगों में कोडनानी शामिल हैं। गवाहों ने अदालत को बताया है कि उन्होंने लोगों की हत्या करने के लिए भीड़ को उकसाया था।
मोदी की सरकार पर 2002 का गुजरात दंगा कराने का आरोप है, जिसमें 1,000 से अधिक लोग मारे गए थे।
कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने गुजरात की एक अदालत द्वारा सुनाए गए फैसले पर अपनी टिप्पणी में कहा, "जब तक मुख्यमंत्री की सहमति नहीं होगी, तब तक कोई भी मंत्री इस तरह के किसी अपराध में शामिल नहीं हो सकता।"
केंद्रीय कानून मंत्री सलमान खुर्शीद ने भी अदालत के फैसले का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि इससे न्याय प्रणाली में लोगों का भरोसा बढ़ेगा।
खुर्शीद ने हालांकि गुजरात के मुख्यमंत्री पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा, "मैं इस मामले से सम्बंधित मुद्दों के साथ राजनीति का घालमेल नहीं करना चाहता। यह कोई राजनीतिक लड़ाई नहीं है, बल्कि कानूनी व नैतिक लड़ाई है।"
ज्ञात हो कि जिस समय 28 फरवरी, 2002 को एक भीड़ ने अहमदाबाद के नरोदा पाटिया में 90 से अधिक मुसलमानों को मार डाला था, उस समय नरेंद्र मोदी गुजरात में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सरकार के मुख्यमंत्री थे।
मायाबेन कोडनानी, नरोदा की तत्कालीन विधायक और मंत्री थीं। अदालत द्वारा दोषी ठहराए गए लोगों में कोडनानी शामिल हैं। गवाहों ने अदालत को बताया है कि उन्होंने लोगों की हत्या करने के लिए भीड़ को उकसाया था।
मोदी की सरकार पर 2002 का गुजरात दंगा कराने का आरोप है, जिसमें 1,000 से अधिक लोग मारे गए थे।
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