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This Article is From Apr 15, 2023

अतीक अहमद और अशरफ की गोली मारकर हत्या, प्रयागराज मेडिकल कॉलेज के पास हुई घटना

Atiq Ahmed Murder Updates: अतीक अहमद और अशरफ की प्रयागराज में गोली मारकर हत्या कर दी गई है. जानकारी के अनुसार प्रयागराज मेडिकल कॉलेज के पास यह घटना हुई है.

Latest News on Atiq Ahmad: माफिया अतीक अहमद की हत्या

Atiq Ahmed Shot Dead Update: माफिया अतीक अहमद (Atiq Ahmed) और अशरफ की प्रयागराज में गोली मारकर हत्या कर दी गई है. सूत्रों के अनुसार प्रयागराज मेडिकल कॉलेज के पास यह घटना हुई है. दोनों को ही 10 से अधिक गोली मारी गई. इस मामले में पुलिस ने 3 लोगों को गिरफ्तार किया है. अतीक और अशरफ को मेडिकल के लिए ले जाया गया था. मारे गए गैंगस्टर के वकील विजय मिश्रा ने NDTV को बताया कि पत्रकारों की भीड़ में से किसी ने अतीक अहमद और उनके भाई पर बेहद करीब से फायरिंग की. मिश्रा ने कहा कि जब उन्हें गोली मारी गई तो वह उनके साथ खड़े थे.

घटना के कुछ वीडियो भी सामने आए हैं जिसमें अतीक अहमद और उसके भाई को पत्रकारों से बात करते हुए देखा जा सकता है, तभी किसी ने सरगना के सिर पर गोली मार दी. अगले ही पल उसके भाई को भी गोली मार दी गई. 

सीएम योगी आदित्यनाथ ने दिए उच्चस्तरीय जांच के आदेश
इस घटना को उत्तर प्रदेश के मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने बेहद गंभीरता से लेते हुए तुरंत घटना का संज्ञान लिया है. सीएम योगी ने घटना के बाद तुरंत उच्‍चस्‍तरीय बैठक बुलाई और पूरे मामले की उच्‍चस्‍तरीय जांच के आदेश दिए हैं. मुख्‍यमंत्री ने तीन सदस्‍यीय जांच आयोग के गठन के निर्देश भी दिए हैं. इस मामले में तीन हमलावरों को गिरफ्तार किया गया है. वहीं पुलिस मामले की जांच में जुट गई है. 

यूपी की जनता से CM योगी की अपील
CM योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को फील्ड में सतर्कता बरतने के निर्देश दिए हैं. उन्होंने कहा है कि प्रदेश में शांति व्यवस्था बनी रहनी चाहिए. इसमें सभी प्रदेश वासी सहयोग भी कर रहे हैं. आम जनता को किसी प्रकार की परेशानी ना आए इसका ध्यान रखें. सीएम योगी ने कहा कि कानून के साथ कोई भी खिलवाड़ न करें. सीएम योगी ने जनता से अपील की है कि किसी भी अफवाह पर ध्यान ना दें. अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.

अतीक औऱ  अशरफ की हत्या पर पुलिस का बयान
अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की हत्या पर पुलिस आयुक्त रमित शर्मा ने कहा, "प्राथमिक जानकारी के अनुसार तीन लोग मीडियाकर्मी बनकर आए, उन्होंने हमला किया. तीन लोगों को पकड़ा गया है जिनसे पूछताछ जारी है. उनके पास से कुछ असलहा बरामद हुआ है. अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की मौत के अलावा एक पुलिसकर्मी को भी गोली लगी है. एक पत्रकार को भी चोट आई है: 

अतीक अहमद और उनके भाई अशरफ की गोली मारकर हत्या के बाद पुलिस ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए हैं. पुलिस द्वारा गश्त और चेकिंग की जा रही है. प्रदेश के सभी ज़िलों में सीआरपीसी की धारा 144 लागू की गई है. न्यूज एजेंसी ANI के हवाले से यह जानकारी दी गई है.

घटना को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ट्वीट किया है कि उप्र में अपराध की पराकाष्ठा हो गयी है और अपराधियों के हौसले बुलंद है. जब पुलिस के सुरक्षा घेरे के बीच सरेआम गोलीबारी करके किसीकी हत्या की जा सकती है तो आम जनता की सुरक्षा का क्या. इससे जनता के बीच भय का वातावरण बन रहा है, ऐसा लगता है  कुछ लोग जानबूझकर ऐसा वातावरण बना रहे हैं.

​अतीक और अशरफ की हत्या पर असदुद्दीन ओवैसी का बयान
अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की हत्या पर AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी की ने तीखी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा, "अतीक़ और उनके भाई पुलिस की हिरासत में थे. उन पर हथकड़ियां लगी हुई थीं. नारे भी लगाये गये. दोनों की हत्या योगी के कानून व्यवस्था की नाकामी है. एनकाउंटर राज का जश्न मनाने वाले भी इस हत्या के ज़िम्मेदार हैं."
 

मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने क्या कहा? जानिए
अतीक और अशरफ की हत्या के बाद UP सरकार में मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने अपनी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने ट्वीट कर कहा, "पाप-पुण्य का हिसाब इसी जन्म में होता है…"

बेटे के जनाजे में शामिल नहीं हो पाया था माफिया अतीक अहमद

अतीक अहमद ने अपने बेटे के जनाजे में शामिल होने के लिए शुक्रवार को अपने वकील के माध्यम से मजिस्ट्रेट के पास एक प्रार्थना पत्र दिया था जिस पर शनिवार को मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में निर्णय लिया जाना था, लेकिन अदालती कार्यवाही से पहले ही शव को दफनाने की प्रक्रिया पूरी हो गई थी. असद, अतीक अहमद के पांच बेटों में तीसरे नंबर का बेटा था और उमेश पाल हत्याकांड के बाद से ही फरार था. अतीक का सबसे बड़ा बेटा उमर लखनऊ जेल में निरुद्ध है, जबकि उसका उमर से छोटा बेटा अली नैनी सेंट्रल जेल में निरुद्ध है. वहीं चौथे नंबर का बेटा अहजम और सबसे छोटा बेटा अबान प्रयागराज के बाल सुधार गृह में हैं.

जानिए कैसे हुई थी उमेश पाल की हत्या? 
गौरतलब है कि जनवरी 2005 में राजू पाल की ह्त्या हो गई थी. जिसके मुख्य गवाह रहे उमेशपाल को अतीक अहमद ने फ़रवरी 2006 में अगवा कर लिया था. बाद में मार पीट कर उससे गवाही न देने का हफलनामा लिखवा कर छोड़ दिया था. इस मामले में जब प्रदेश में बसपा सरकार 2007 में आई तब उमेश पाल ने जुलाई 2007 में प्रागराज के धूमनगंज थाने में अपने अपहरण का मुकदमा दर्ज करवाया, जिसमे  लगातार सुनवाई और गवाही चल रही थी. इसी मामले में 24 फ़रवरी 2023 को अपनी आखिरी गवाही दे कर जब उमेश पाल लौट रहे थे तब उनकी ह्त्या कर दी गई.

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