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This Article is From Feb 23, 2023

मोदी सरकार भारत-चीन सीमा संकट पर चर्चा से क्यों ‘भाग रही’ है : असदुद्दीन ओवैसी

ओवैसी ने दावा किया, ‘‘यह तथ्य है कि राजग सरकार देपसान्ग और डेमचोक में चीन की पीएलए (पीपुल्स लिबरेशन आर्मी) द्वारा कब्जा किए गए 2000 वर्ग किलोमीटर के मामले में बहस नहीं करना चाहती है.’’

मोदी सरकार भारत-चीन सीमा संकट पर चर्चा से क्यों ‘भाग रही’ है : असदुद्दीन ओवैसी
हैदराबाद:

ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिममीन (एआईएमआईएम)अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने बृहस्पतिवार को भारत-चीन सीमा विवाद को लेकर केंद्र की राष्ट्रीय जनतांत्रिक सरकार (राजग) पर निशाना साधा और जानना चाहा कि अगर कुछ भी छिपाने को नहीं है तो सरकार संसद में इस मुद्दे पर चर्चा से ‘क्यों भाग रही है.' यहां संवाददाताओं से बातचीत करते हुए ओवैसी ने कहा, ‘‘ यह पूरी तरह से दिखावा है, अगर (प्रधानमंत्री नरेंद्र) मोदी सरकार कुछ नहीं छिपा रही तो संसद में बहस से क्यों भाग रही है? '' वह विदेश मंत्री एस जयशंकर द्वारा एक समाचार चैनल को दिए गए साक्षात्कार और भारत-चीन सीमा विवाद पर की गई टिप्पणी को लेकर पूछे गए सवाल का जवाब दे रहे थे.

ओवैसी ने दावा किया, ‘‘यह तथ्य है कि राजग सरकार देपसान्ग और डेमचोक में चीन की पीएलए (पीपुल्स लिबरेशन आर्मी) द्वारा कब्जा किए गए 2000 वर्ग किलोमीटर के मामले में बहस नहीं करना चाहती है.'' हैदराबाद से लोकसभा सदस्य ओवैसी ने कहा, ‘‘...क्या वह (जयशंकर) स्वीकार कर रहे हैं कि प्रधानमंत्री ‘ना कोई घुसा है, ना कोई घुसेगा' कहकर देश को गुमराह कर रहे हैं?'' पिछली जनवरी में वार्षिक पुलिस सम्मेलन में जमा अनुसंधान पत्र का हवाला देते हुए उन्होंने कहा कि भारतीय सेना वास्तविक नियंत्रण रेखा से लगते 65 गश्त बिंदुओं से 26 तक पहुंच खो चुकी है.

ओवैसी ने सवाल किया कि विदेश मंत्री कैसे पुलिस महानिदेशक सम्मेलन में पेश पत्र को भूल सकते हैं? उन्होंने कहा, ‘‘ मूल मुद्दा है कि हमें वह स्थिति वापस प्राप्त नहीं हुई जो जून या जुलाई 2020 में हमारे पास थी.'' एआईएमआईएम नेता ने आरोप लगाया कि राजग सरकार सच्चाई से ‘डरती' है और कहा कि गुजरात 2002 दंगों पर बने बीबीसी के वृत्तचित्र को इसलिए प्रतिबंधित किया गया.

राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट पर निशाना साधते हुए ओवैसी ने आरोप लगाया कि कांग्रेस नेता जब राज्य का मुख्यमंत्री बनना चाहते थे तब उन्होंने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की मदद ली थी. उन्होंने कहा, ‘‘वह (पायलट) मुख्यमंत्री बनना चाहते थे और भाजपा की मदद ली थी. पूरी दुनिया इस बारे में जानती है. वह अपने समर्थक विधायकों को लेकर आए जिसे भाजपा ने समर्थन, बढ़ावा और प्रोत्साहान दिया. वह इसमें सफल नहीं हुए और यह सच्चाई है.''

ओवैसी ने कहा कि एआईएमआईएम वैचारिक आधार पर भाजपा से लड़ती रहेगी. राजस्थान के दो लोगों की हरियाणा में हाल में की गई कथित हत्या का संदर्भ देते हुए ओवैसी ने कहा कि पायलट ने मारे गए लोगों जुनैद और नसीर का नाम तक नहीं लिया और सवाल दागा कि तब उनकी प्रतिक्रिया क्या होती यदि इसी तरह से उनके अपने समुदाय के लोगों की हत्या की जाती.

अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने टिप्पणी की थी कि कांग्रेस नीत गठबंधन अगले साल केंद्र की सत्ता में आ सकता है. इसपर प्रतिक्रिया देते हुए ओवैसी ने कहा कि कांग्रेस के अंदर कई गतिरोध हैं. उन्होंने कहा, ‘‘यह वर्ष 2024 में ही पता चलेगा, मैं अभी कुछ नहीं कह सकता.'' ओवैसी ने कहा कि वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में भाजपा और कांग्रेस का 186 सीटों पर सीधा मुकाबला था, लेकिन कांग्रेस को केवल 16 सीटों पर जीत मिली और पार्टी के वरिष्ठ नेता भी अमेठी में हाल गए.

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(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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