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This Article is From Jul 07, 2022

अमरावती के ‘मास्टरमाइंड‘ ने राणा दंपती के लिए मांगे थे वोट? फेसबुक पोस्ट से उठे सवाल 

अमरावती में उमेश कोल्हे की हत्या के कथित मास्टरमाइंड इरफान खान के फेसबुक पर अतीत में राणा दंपती के प्रचार करते कई पोस्ट नजर आ रहे हैं.

इरफान खान के फेसबुक पोस्ट से अब कई सवाल खड़े हो रहे हैं.

भोपाल:

महाराष्ट्र के अमरावती (Amravati) में केमिस्ट उमेश कोल्हे की हत्या (Chemist Umesh Kolhe Murder) के कथित मास्टरमाइंड इरफान खान ने निर्दलीय सांसद नवनीत राणा (Navneet Rana) और उनके पति रवि राणा (Ravi Rana) के लिए वोट मांगा था. एनडीटीवी को इस बारे में जानकारी मिली है. राणा दंपती ने इस मामले में खुद को न्याय चाहने वाले के रूप में पेश किया है और किसी भी तरह के लिंक से इनकार किया है.  हालांकि इरफान खान के फेसबुक पर अतीत में उनके लिए प्रचार करते कई पोस्ट नजर आ रहे हैं. इसे लेकर रवि राणा ने कहा, "हमें उनसे कोई लेना-देना नहीं है. वह चाहे किसी भी पार्टी के हों, उन्हें सख्त से सख्त सजा मिलनी चाहिए." 

उमेश कोल्हे की पिछले महीने कथित तौर पर सोशल मीडिया पोस्ट के जरिये नूपुर शर्मा का समर्थन करने के लिए हत्या कर दी गई थी.निलंबित भाजपा प्रवक्ता नूपुर शर्मा ने पैगंबर मोहम्मद और इस्लाम पर टिप्पणी की थी. राणा दंपती ने हत्या को ‘हिंदुत्व पर हमला‘ करार दिया. 

जांचकर्ताओं का कहना है कि अब तक गिरफ्तार किए गए सात लोगों में से एक इरफान खान ने हत्या की योजना बनाई थी. साथ ही हत्यारों के लिए धन, हथियार और मोटरसाइकिल का इंतजाम किया था. उसके 2019 के फेसबुक पोस्ट खासतौर पर उस वक्त जब नवनीत राणा लोकसभा चुनाव लड़ रही थीं, उनके लिए समर्थन मांगना दिखाते हैं. उसने इलाके से तीन बार विधायक रहे रवि राणा के साथ एक तस्वीर भी पोस्ट की थी. 

स्थानीय निवासियों ने कहा कि उन्होंने उनके लिए वोट मांगे थे, हालांकि कुछ नाम नहीं बताना चाहते थे.इरफान खान के दोस्त इस्माइल खान ने एनडीटीवी से कहा, "2019 के चुनाव में भाभी (नवनीत राणा) ने जीत हासिल की, इरफान ने उनके लिए बहुत काम किया. उसने बहुत से लोगों को वोट देने के लिए राजी किया." 

राणा परिवार हाल ही में खुद को भाजपा के एजेंडे के करीब रख रहा है, लेकिन उन्हें अतीत में अन्य पार्टियों का समर्थन मिला है. 2014 के लोकसभा चुनाव में नवनीत राणा को एनसीपी से टिकट मिला, लेकिन शिवसेना के आनंदराव अडसुल से हार का सामना करना पड़ा. 2019 में उन्होंने एनसीपी के समर्थन से एक निर्दलीय के रूप में उस हार का बदला लिया, लेकिन उस साल विधानसभा चुनाव में जब रवि राणा मैदान में थे तो वे फिर पलट गए और बीजेपी का समर्थन करने लगे.  

पिछले महीने उमेश कोल्हे की हत्या के बाद स्थानीय भाजपा इकाई और राणा दंपती ने पुलिस और तत्कालीन उद्धव ठाकरे सरकार पर वास्तविकता छिपाने का आरोप लगाया.  इसके बाद भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार ने कदम रखा और एनआईए से जांच के आदेश दिए. इस बीच, राज्य सरकार बदल गई और अब भाजपा सत्तारूढ़ गठबंधन का हिस्सा है.

राणा दंपती ने यहां तक ​​आरोप लगाया कि उमेश कोल्हे के हत्यारे ‘पाकिस्तान द्वारा वित्तपोषित‘ थे.  

इरफान खान अमरावती की जाकिर कॉलोनी से हैं, जो कम आय वाले परिवारों का  इलाका है. अब उनके घर में उनकी मां, पत्नी और चार बच्चे हैं. उन्होंने कहा कि उन्हें उनके राजनीतिक संबंधों के बारे में कुछ भी पता नहीं है.  

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