पश्चिम बंगाल के बीरभूम में हुई हिंसा को लेकर सत्ताधारी तृणमूल कांग्रेस (TMC) के सांसदों ने आज केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) से भेंट की. इस दौरान सांसदों में बीरभूम हिंसा मामले का राजनीतिकरण नहीं किए जाने और राज्यपाल जगदीप धनखड़ को वापस बुलाए जाने की मांग की. गृह मंत्री ने सांसदों को विश्वास दिलाया कि मामले का राजनीतिकरण नहीं किया जा रहा है .गौरतलब है कि बीरभूम ज़िले के रामपुरहाट में सोमवार को हिंसा हो गई थी. जिसमें आठ लोगों की मौत हो गई थी. इससे पहले भी, इस मामले को लेकर मंगलवार को भारतीय जनता पार्टी के पश्चिम बंगाल के सांसदों ने बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष सुकान्त मजूमदार की अगुवाई में गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की थी. मुलाकात के बाद सांसदों ने कहा कि अमित शाह ने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि 72 घंटे में इस पूरे मामले में राज्य सरकार से रिपोर्ट तलब की जाए.
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टीएमसी के सांसदों की गृह मंत्री से मुलाकात के बाद NDTV से बात करते हुए बीजेपी के दिग्गज नेता दिलीप घोष ने कहा, ' TMC वाले गृह मंत्री को क्या समझाएंगे? हम भी मिले थे परसों कि वहां की कानून व्यवस्था की स्थिति खराब हो चुकी है.अब येलीपापोती करने के लिए गए थे. हमने भी केंद्र से मांग की है कि वह इस मामले में हस्तक्षेप करे. वह (टीएमसी नेता ) डरते हैं कि गृहमंत्री क्या कर दें इस कारण वे समझाने गए थे, लेकिन वहां की हालत है वह सब देख रहे हैं. चार दिन बाद मुख्यमंत्री वहां पहुंचे हैं. उनके नेता स्टेटमेंट दे रहे हैं कि नेता का मर्डर हो गया है. निहत्थे लोगों की मौत हो गई है. हम भी कह रहे कि मामले का राजनीतिकरण नहीं होना चाहिए लेकिन प्रशासनिक व्यवस्था तो होनी ही चाहिए. पुलिस क्यों नहीं काम कर रही है, पुलिस किस काम के लिए वहां पर है?' घोष ने कहा, ' हमने कानून व्यवस्था का सवाल उठाया था.उसी बात को लेकर अब चीफ मिनिस्टर बात कर रही हैं. चार दिन बाद मुख्यमंत्री क्यों गईं? अपनी नाकामयाबी को छुपाने के लिए गवर्नर पर आरोप लगाए जा रहे हैं.
इस बीच, बीरभूम हिंसा में मृतकों के शवों के पोस्टमार्टम और फॉरेंसिक जांच से कई खुलासे हुए हैं. न्यूज एजेंसी पीटीआई को एक अधिकारी ने बताया कि फोरेंसिक विशेषज्ञों ने जले हुए शवों का परीक्षण किया. इसके बाद प्रारंभिक निष्कर्षों के अनुसार, पीड़ितों को पहले बुरी तरह पीटा गया और फिर जिंदा जला दिया गया. घटना के संबंध में अब तक कम से कम 20 लोगों को गिरफ्तार किया गया है. राज्य की सीएम ममता बनर्जी ने इस घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा, ‘‘यह हमारी सरकार को बदनाम करने के लिए भाजपा, वाम दलों और कांग्रेस की कोशिश है. बीरभूम की घटना के लिए जिम्मेदार सभी लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी, चाहे वे किसी भी राजनीतिक दल से संबंध रखते हों. ''
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