दिल्ली के कांस्टीट्यूशन क्लब के ठीक बाहर JNU छात्र उमर खालिद पर हुआ हमला.
नई दिल्ली:
दिल्ली के कांस्टीट्यूशन क्लब के ठीक बाहर JNU के छात्र उमर खालिद पर फायरिंग की गई है. हालांकि इस हमले में उमर खालिद को गोली नहीं लगी है. घटनास्थल से पिस्तौल भी बरामद की गई है. बताया जा रहा है कि हमलावार के हाथ से पिस्तौल गिर गई थी और वह फरार हो गया. अपने उपर हुए हमले के बाद उमर खालिद ने कहा कि 'देश में खौफ का माहौल है और सरकार के खिलाफ बोलने वाले हर व्यक्ति को डराया-धमकाया जा रहा है.' खालिद ने एनडीटीवी से बातचीत में कहा कि मैं पुलिस सुरक्षा की मांग करूंगा. खालिद 'यूनाइटेड अगेंस्ट हेट' संगठन के 'खौफ से आजादी' नामक एक कार्यक्रम में हिस्सा लेने पहुंचे थे.
हमले के बाद उमर खालिद ने NDTV से कहा कि हमलोग एक कार्यक्रम के लिए आए थे. कार्यक्रम शुरू होने में कुछ समय था. मैं चाय पीने के लिए बाहर गया था. जैसे ही मैं चाय पीकर अंदर जा रहा था, उसने मुझे धक्का दिया और दूसरी तरफ जाकर गोली चला दी. उन्होंने कहा कि मुझे नहीं पता कि गोली चलाने वाला कौन था, लेकिन पिछले कुछ दिनों से जो मेरे खिलाफ दुष्प्रचार किया गया है कि अब लोगों को लगता है कि ऐसे लोगों को मार दिया जाना चाहिए.
खालिद ने कहा कि मेरे ऊपर हमला एक आदमी ने किया. मैं आरोपी का चेहरा नहीं देख पाया. उन्होंने कहा कि आप इस सरकार के खिलाफ बोलने की कोशिश करेंगे तो आपके उपर एक तमगा लगाया जाएगा कि कुछ भी किया जा सकता है. एक ऐसा माहौल बनाया जा रहा है कि कभी भी कुछ हो सकता है. ऐसे खौफ के माहौल में लोग कब तक जी पाएंगे. वहीं, जेएनयू छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार ने कहा कि हमले के पीछे कौन है यह ढूंढना पुलिस का काम है. उन्होंने कहा कि हमले किस वजह से हो रहे हैं यह वजह हम सबको पता है.
जिस कार्यक्रम में शामिल होने उमर खालिद मौजूद थे उसके लिए वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण भी पहुंचे थे. उनका कहना है कि इस तरह की घटना खौफ पैदा करने की कोशिश है. उन्होंने कहा कि बीजेपी और सरकार के गुंडे खौफ पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं. दिन दहाड़े ऐसी घटना हुई और पुलिस उसे पकड़ नहीं पाई. यानी उसको पूरा यकीन था कि पुलिस उसका कुछ नहीं कर पाएगी. यही मॉब लिंचिंग में हो रहा है.
प्रोफेसर अपूर्वानंद भी उस वक्त वहां मौजूद थे. उन्होंने कहा, 'आप सोच सकते हैं कि किस माहौल में जी रहे हैं, जहां आप कहीं भी सुरक्षित नहीं हैं. आप अगर किसी सेमिनार में जाते हैं तो आपको मारा जा सकता है. वहीं, बीजेपी सांसद मीनाक्षी लेखी का मानना है कि घटना को सनसनीखेज बनाया जा रहा है.
वहीं दलित नेता और गुजरात से विधायक जिग्नेश मेवानी ने हमले के लिए भाजपा और आरएसएस को जिम्मेदार ठहराया.
कौन हैं उमर ख़ालिद?
उमर ख़ालिद जेएनयू के पीएचडी छात्र हैं
अफ़ज़ल गुरु की फांसी की बरसी पर कार्यक्रम से सुर्खियों में आए खालिद
उमर खालिद पर 9 फ़रवरी 2016 को कैंपस में देशविरोधी नारे लगाने का आरोप
उमर खालिद देशद्रोह के आरोप में गिरफ़्तार भी हुए, ज़मानत पर छूटे
JNU की कमेटी ने खालिद को दोषी माना, यूनिवर्सिटी से निकाला
उमर ख़ालिद ने इस हाइकोर्ट में चुनौती दी, हाइकोर्ट ने JNU से बलपूर्वक कार्रवाई न करने को कहा
VIDEO : हमले के बाद बोले उमर खालिद, 'देश में खौफ का माहौल'
Delhi: An unidentified man opened fire at JNU student Umar Khalid outside Constitution Club of India. He is unhurt. More details awaited. pic.twitter.com/ubNh4g4D80
— ANI (@ANI) August 13, 2018
हमले के बाद उमर खालिद ने NDTV से कहा कि हमलोग एक कार्यक्रम के लिए आए थे. कार्यक्रम शुरू होने में कुछ समय था. मैं चाय पीने के लिए बाहर गया था. जैसे ही मैं चाय पीकर अंदर जा रहा था, उसने मुझे धक्का दिया और दूसरी तरफ जाकर गोली चला दी. उन्होंने कहा कि मुझे नहीं पता कि गोली चलाने वाला कौन था, लेकिन पिछले कुछ दिनों से जो मेरे खिलाफ दुष्प्रचार किया गया है कि अब लोगों को लगता है कि ऐसे लोगों को मार दिया जाना चाहिए.
घटनास्थल से बरामद पिस्टल.
खालिद ने कहा कि मेरे ऊपर हमला एक आदमी ने किया. मैं आरोपी का चेहरा नहीं देख पाया. उन्होंने कहा कि आप इस सरकार के खिलाफ बोलने की कोशिश करेंगे तो आपके उपर एक तमगा लगाया जाएगा कि कुछ भी किया जा सकता है. एक ऐसा माहौल बनाया जा रहा है कि कभी भी कुछ हो सकता है. ऐसे खौफ के माहौल में लोग कब तक जी पाएंगे. वहीं, जेएनयू छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार ने कहा कि हमले के पीछे कौन है यह ढूंढना पुलिस का काम है. उन्होंने कहा कि हमले किस वजह से हो रहे हैं यह वजह हम सबको पता है.
जिस कार्यक्रम में शामिल होने उमर खालिद मौजूद थे उसके लिए वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण भी पहुंचे थे. उनका कहना है कि इस तरह की घटना खौफ पैदा करने की कोशिश है. उन्होंने कहा कि बीजेपी और सरकार के गुंडे खौफ पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं. दिन दहाड़े ऐसी घटना हुई और पुलिस उसे पकड़ नहीं पाई. यानी उसको पूरा यकीन था कि पुलिस उसका कुछ नहीं कर पाएगी. यही मॉब लिंचिंग में हो रहा है.
प्रोफेसर अपूर्वानंद भी उस वक्त वहां मौजूद थे. उन्होंने कहा, 'आप सोच सकते हैं कि किस माहौल में जी रहे हैं, जहां आप कहीं भी सुरक्षित नहीं हैं. आप अगर किसी सेमिनार में जाते हैं तो आपको मारा जा सकता है. वहीं, बीजेपी सांसद मीनाक्षी लेखी का मानना है कि घटना को सनसनीखेज बनाया जा रहा है.
My reaction on Umar Khalid pic.twitter.com/wkjOLFyip3
— Jignesh Mevani (@jigneshmevani80) August 13, 2018
वहीं दलित नेता और गुजरात से विधायक जिग्नेश मेवानी ने हमले के लिए भाजपा और आरएसएस को जिम्मेदार ठहराया.
कौन हैं उमर ख़ालिद?
उमर ख़ालिद जेएनयू के पीएचडी छात्र हैं
अफ़ज़ल गुरु की फांसी की बरसी पर कार्यक्रम से सुर्खियों में आए खालिद
उमर खालिद पर 9 फ़रवरी 2016 को कैंपस में देशविरोधी नारे लगाने का आरोप
उमर खालिद देशद्रोह के आरोप में गिरफ़्तार भी हुए, ज़मानत पर छूटे
JNU की कमेटी ने खालिद को दोषी माना, यूनिवर्सिटी से निकाला
उमर ख़ालिद ने इस हाइकोर्ट में चुनौती दी, हाइकोर्ट ने JNU से बलपूर्वक कार्रवाई न करने को कहा
VIDEO : हमले के बाद बोले उमर खालिद, 'देश में खौफ का माहौल'
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