नई दिल्ली:
दिल्ली की मुख्यमंत्री शीला दीक्षित मंगलवार को विवादास्पद लेखक सलमान रुश्दी को दिल्ली आने का न्योता देने के चंद घंटों बाद ही अपने बयान से मुकर गईं। उन्होंने पहले कहा कि प्रख्यात लेखक का दिल्ली में स्वागत है और फिर चंद घंटों बाद उन्होंने कहा कि उनके स्वागत का सवाल ही नहीं उठता।
मुख्यमंत्री कार्यालय से जारी एक बयान में कहा गया, "अंग्रेजी लेखक सलमान रुश्दी के बतौर मेहमान दिल्ली में स्वागत करने का कोई सवाल ही नहीं है।"
इससे पहले, सलमान रूश्दी की प्रस्तावित जयपुर यात्रा से कुछ मुस्लिम समूहों की नाराजगी के बीच दिल्ली की मुख्यमंत्री शीला दीक्षित ने कहा था कि उनकी लेखनी से किसी को एतराज हो सकता है, लेकिन ‘बहुत बहुत उत्कृष्ठ’ लेखक का राजधानी में स्वागत है।
उल्लेखनीय है कि प्रबुद्ध कलाकारों के समूह ‘सहमत’ ने रूश्दी को कल दिल्ली में एक समारोह में भाग लेने का न्यौता दिया था। इस बारे में पूछे जाने पर शीला ने उक्त बात कही।
समारोह से इतर संवाददाताओं से बातचीत करते हुए शीला ने कहा, ‘हम हर किसी का स्वागत करते हैं। हम इस सब में नहीं पड़ना चाहते। वह जाने माने लेखक हैं और उनकी लेखनी से किसी के मतभेद हो सकते हैं, लेकिन वह बहुत बहुत प्रतिष्ठित लेखक हैं। वह बुकर पुरस्कार विजेता हैं।’ रूश्दी को जयपुर में एक साहित्यिक समारोह में भाग लेना था, लेकिन कुछ मुस्लिम संगठनो ने इस बात का विरोध किया तो रूश्दी को अपनी जयपुर यात्रा रद्द कर देनी पड़ी।
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने भी गुलाबी नगरी में इस विवादित लेखक की यात्रा पर चिंता प्रकट की थी। रूश्दी के 23 वर्ष पहले लिखे उपन्यास ‘सेटेनिक वर्सेज’ ने मुस्लिम जगत में तूफान ला दिया था।
सहमत ने रूश्दी की भारत यात्रा पर सांप्रदायिक ताकतों के एतराज पर सरकार के रवैए की आलोचना करते हुए कल कहा कि वह हर हालात में रूश्दी की अगवानी करने को तैयार हैं।
मुख्यमंत्री कार्यालय से जारी एक बयान में कहा गया, "अंग्रेजी लेखक सलमान रुश्दी के बतौर मेहमान दिल्ली में स्वागत करने का कोई सवाल ही नहीं है।"
इससे पहले, सलमान रूश्दी की प्रस्तावित जयपुर यात्रा से कुछ मुस्लिम समूहों की नाराजगी के बीच दिल्ली की मुख्यमंत्री शीला दीक्षित ने कहा था कि उनकी लेखनी से किसी को एतराज हो सकता है, लेकिन ‘बहुत बहुत उत्कृष्ठ’ लेखक का राजधानी में स्वागत है।
उल्लेखनीय है कि प्रबुद्ध कलाकारों के समूह ‘सहमत’ ने रूश्दी को कल दिल्ली में एक समारोह में भाग लेने का न्यौता दिया था। इस बारे में पूछे जाने पर शीला ने उक्त बात कही।
समारोह से इतर संवाददाताओं से बातचीत करते हुए शीला ने कहा, ‘हम हर किसी का स्वागत करते हैं। हम इस सब में नहीं पड़ना चाहते। वह जाने माने लेखक हैं और उनकी लेखनी से किसी के मतभेद हो सकते हैं, लेकिन वह बहुत बहुत प्रतिष्ठित लेखक हैं। वह बुकर पुरस्कार विजेता हैं।’ रूश्दी को जयपुर में एक साहित्यिक समारोह में भाग लेना था, लेकिन कुछ मुस्लिम संगठनो ने इस बात का विरोध किया तो रूश्दी को अपनी जयपुर यात्रा रद्द कर देनी पड़ी।
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने भी गुलाबी नगरी में इस विवादित लेखक की यात्रा पर चिंता प्रकट की थी। रूश्दी के 23 वर्ष पहले लिखे उपन्यास ‘सेटेनिक वर्सेज’ ने मुस्लिम जगत में तूफान ला दिया था।
सहमत ने रूश्दी की भारत यात्रा पर सांप्रदायिक ताकतों के एतराज पर सरकार के रवैए की आलोचना करते हुए कल कहा कि वह हर हालात में रूश्दी की अगवानी करने को तैयार हैं।
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