बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) के सामने नतमस्तक हो चुके हैं, ये तस्वीर और वीडियो तो सबने देखा है. लेकिन केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) के सामने भी अब सरेंडर कर दिया है. अमित शाह , शनिवार को बिहार के भोजपुर ज़िले के जगदीशपुर में बाबू वीर कुंवर सिंह के विजयोत्सव में भाग लेंगे और इस कार्यक्रम की ख़ास बात यह है कि इस कार्यक्रम में 75 हज़ार तिरंगे फहराए जाएंगे. इसका मक़सद गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में इसे दर्ज कराना है. भाजपा के हर विधायक और सांसद को इस कार्यक्रम के लिए लोगों को लाने का ज़िम्मा दिया गया है. और दावा है कि तीन लाख लोग इस रैली में भाग लेंगे. इस कार्यक्रम को आज़ादी के अमृत महोत्सव के तहत आयोजित किया जा रहा है और भाजपा नेताओं की मानें तो पार्टी का झंडा कार्यक्रम स्थल पर नहीं होगा.
लेकिन सबसे दिलचस्प है कि नीतीश जो जगदीशपुर जाकर पहले में अपनी श्रद्धांजलि देते थे, उन्होंने अभी तक स्थानीय जिलाधिकारी को यह ज़िम्मा दिया हैं जो प्रोटकॉल है. इसके अलावा नीतीश ने इस बार सुनिश्चित किया है कि उस दिन उनकी पार्टी के नेताओं द्वारा कोई राजनीतिक कार्यक्रम आयोजित ना किया जाये जो अमूमन राजपूत नेता के द्वारा पटना में होता था. इस बार नीतीश ने ना तो किसी आयोजक नेता से इस कार्यक्रम के बारे में पूछताछ की, जिससे उन्हें इस बात का अंदाज़ा हो गया कि वो ऐसा कुछ नहीं करना चाहते जिससे मीडिया में तुलनात्मक चर्चा हो.
हालांकि, जनता दल यूनाइटेड के नेताओं का कहना है कि सहयोगी के साथ गठबंधन धर्म भी निभाना ज़रूरी होता है लेकिन इसमें बहुत कुछ अधिक पड़ने की जरूरत नहीं है. हालांकि, वो मानते हैं कि नीतीश अब नरेंद्र मोदी की कृपा से कुर्सी पर बैठे हैं और इस राजनीतिक सच्चाई के कारण फ़िलहाल वो कोई समानांतर कार्यक्रम कर राजनीतिक बखेड़ा नहीं खड़ा करना चाहते. लेकिन भाजपा वीर कुंवर जयंती के बहाने पूरे बिहार में ये संदेश देने में फ़िलहाल कामयाब हैं कि नीतीश कुमार की जनता दल उसके मुक़ाबले टिकने वाली नहीं.
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