वाराणसी (Varanasi) में एक नेपाली नागरिक के सिर का जबरन मुंडन कर दिया गया और उसे ''जय श्री राम'' के नारे लगाने पर विविश किया गया. वाराणसी में एक दक्षिणपंथी संगठन ने सिर्फ इतना ही नहीं किया युवक से नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली (KP Sharma Oli) के खिलाफ भी नारे लगवाए गए. यह घटना पड़ोसी देश के साथ भारत के संबंधों को और तनावपूर्ण बना सकती है. इस संगठन के नेता ने इस विचलित करने वाली घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर साझा भी किया. पीएम ओली ने दावा किया कि भगवान राम का जन्म नेपाल में हुआ था और असली अयोध्या काठमांडू के पास स्थित थी.
इस घटना को लेकर वाराणसी के पुलिस प्रमुख अमित पाठक ने बताया कि "एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर लिया गया है और अन्य की पहचान कर ली गई है. हम इस मामले में सख्त कार्रवाई करेंगे. एक आरोपी अरुण पाठक है जिसने सोशल मीडिया पर वीडियो साझा किया था और इसमें दिखाई देने वाले सभी लोग उसके सहयोगी हैं."
रिपोर्टों के मुताबिक इंटरनेट पर वीडियो सामने आने के बाद नेपाल के दूत नीलांबर आचार्य ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से बात की. योगी ने उनसे अपराध करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का वादा किया.
नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने पिछले सप्ताह कहा था कि अयोध्या लाखों हिंदुओं द्वारा भगवान राम की जन्मभूमि माना जाने वाला प्राचीन शहर है, जो कि वास्तव में काठमांडू के पास एक छोटा सा गांव है. उन्होंने कहा था कि "हम अभी भी मानते हैं कि हमने सीता को राजकुमार राम को दे दिया था, लेकिन हमने राजकुमार को अयोध्या से दिया था, भारत से नहीं. अयोध्या बीरंगज का एक छोटा सा गांव है. (बीरगंज नेपाल का एक जिला है जो कि राजधानी काठमांडू से लगभग 135 किलोमीटर दूर है)"
ओली ने यह भी कहा था कि "सांस्कृतिक रूप से हम पर जुल्म किया गया है. तथ्यों का अतिक्रमण किया गया है."
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं