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This Article is From Sep 15, 2020

शरद पवार बोले, 'प्‍याज निर्यात के बैन पर पुनर्विचार करे केंद्र, पाकिस्‍तान और अन्‍य देशों को होगा इससे लाभ'

पवार ने इस मामले में ट्वीट करते हुए लिखा, 'केंद्र सरकार ने प्‍याज के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया है. महाराष्‍ट्र के प्‍याज उगाने वाले क्षेत्र में इस कदम की तीखी प्रतिक्रिया हुई है.'

शरद पवार बोले, 'प्‍याज निर्यात के बैन पर पुनर्विचार करे केंद्र, पाकिस्‍तान और अन्‍य देशों को होगा इससे लाभ'
केंद्र सरकार ने प्‍याज के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने का निर्णय लिया है
मुंंबई:

केंद्र सरकार के वाणिज्‍य मंत्रालय (central government) ने अचानक कदम उठाते हुए सोमवार को तत्‍काल प्रभाव से प्‍याज के निर्यात पर प्रतिबंध (Ban on export of onions)लगा दिया है. देश की सबसे बड़ी प्‍याज मंडी महाराष्‍ट्र के लासलगांव में प्‍याज की औसत कीमत 30 रुपये प्रति किलो के आसपास है, यह भाव इसी वर्ष मार्च में इसके भाव से करीब दोगुना है.केंद्र सरकार के इस कदम ने प्‍याज के किसानों को नाराज कर दिया है, दरअसल, प्‍याज के मानसून की मार झेलने के बाद इन किसानों को अपनी फसल को बेहतर भाव मिलना अभी शुरू ही हुआ है. दरअसल, देश के प्‍याज पैदावार के प्रमुख क्षेत्र (Onion growing belt) कहे जाने वाले मध्‍य प्रदेश, गुजरात, कर्नाटक और महाराष्‍ट्र में अत्‍यधिक बारिश के कारण प्‍याज की फसल को खासा नुकसान पहुंचा है. राष्‍ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के प्रमुख शरद पवार ने कहा है कि उनकी इस मसले पर केंद्रीय वाणिज्‍य मंत्री पीयूष गोयल से बात हुई है और उन्‍होंने इस फैसले पर पुनर्विचार का आग्रह किया है.

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पवार ने इस मामले में ट्वीट करते हुए लिखा, 'केंद्र सरकार ने प्‍याज के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया है. महाराष्‍ट्र के प्‍याज उगाने वाले क्षेत्र में इस कदम की तीखी प्रतिक्रिया हुई है. विभिन्‍न पाटियों के जनप्रति‍निधियों ने इस मुद्दे पर कल रात मुझसे संपर्क करके सरकार को इस प्रतिक्रिया से अवगत कराने का आग्रह किया. मैं पीयूष गोयल जी से प्‍याज के निर्यात पर प्रतिबंध के फैसले पर पुनर्विचार करने का आग्रह करता हूं.'

पवार ने इसके साथ ही यह भी कहा कि इस प्रतिबंध से खाड़ी के देशों, श्रीलंका और बांग्‍लादेश के प्‍याज मार्केट में भारत का निर्यात की हिस्‍सेदारी प्रभावित होगी और इस प्रतिबंध के कारण पाकिस्‍तान जैसे अन्‍य देश भारत की जगह ले सकते हैं. लासलगांव मंडी के आंकड़ों के अनुसार, मार्च से सितंबर के माह में प्‍याज की कीमत करीब दोगुनी हो गई है. भारत में खाने के लिहाज से जरूरी माने जाने वाली प्‍याज की कीमत जून-जुलाई में 20 रुपये प्रति किलो के आसपास थी जो अब बढ़कर 35 से 40 रुपये प्रतिकिलो तक जा पहुंची है, इस कारण सरकार को प्‍याज के निर्यात पर प्रतिबंध का निर्णय लेना पड़ा है. इस बीच ऑल इंडिया किसान सभा के महासचिव डॉ. अजित नवाले ने कहा है कि प्‍याज के निर्यात पर लगे प्रतिबंध से न केवल महाराष्‍ट्र बल्कि पूरे देश के प्‍याज पैदा करने वाले किसान खुद को छला हुआ महसूस कर रहे हैं.

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