भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (Indian Space Research Organisation) यानी इसरो (ISRO) ने उपग्रहों का प्रक्षेपण करने वाली यूरोपीय कंपनी एरियनस्पेस के एक प्रक्षेपण यान के जरिए अपना नवीनतम संचार उपग्रह, जीसैट -31 बुधवार सुबह 2:31 बजे फ्रेंच गुयाना के स्पेसपोर्ट से सफलतापूर्वक लॉन्च किया. बता दें कि जीसैट - 31 का वजन 2535 किग्रा है. यह भारत की मुख्य भूमि और द्वीप समूहों को अपनी सेवा प्रदान करेगा. जीसैट -31 देश का 40 वां संचार उपग्रह है. अपने सफल प्रक्षेपण के बाद यह करीब 15 साल सेवा देगा. यह टीवी अपलिंक, डिजिटल सैटेलाइट न्यूज एकत्रीकरण, डीटीएच टीवी सेवाएं आदि सेवाएं देगा. इसरो के मुताबिक, यह उपग्रह भूस्थैतिक कक्षा में केयू बैंड ट्रांसपोंडर की क्षमता को मजबूत करेगा.
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Indian Space Research Organisation: India's latest communication satellite, GSAT-31 was successfully launched from the Spaceport in French Guiana at 2:31 am today. pic.twitter.com/0S5eXooIAF
— ANI (@ANI) February 5, 2019
अंतरिक्ष एजेंसी के अनुसार, इस उपग्रह का जीवनकाल 15 साल का है. कक्षा के अंदर मौजूद कुछ उपग्रहों पर परिचालन संबंधी सेवाओं को जारी रखने में यह उपग्रह मदद मुहैया करेगा और जियोस्टेशनरी कक्षा में केयू-बैंड ट्रांसपोंडर की क्षमता बढ़ायेगा. एक बयान में भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने बताया था कि 2,535 किलोग्राम वजनी उपग्रह को फ्रेंच गुएना में कुरू से एरिएन-5 (वीए247) के माध्यम से प्रक्षेपित किया जाएगा. एजेंसी के अनुसार, उपग्रह जीसैट-31' को इसरो के परिष्कृत I-2K बस पर स्थापित किया गया है. यह इसरो के पूर्ववर्ती इनसैट/जीसैट उपग्रह श्रेणी के उपग्रहों का उन्नत रूप है.
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यह उपग्रह भारतीय भू-भाग और द्वीप को कवरेज प्रदान करेगा. इसरो के अनुसार, यह उपग्रह अपने व्यापक बैंड ट्रांसपोंडर की मदद से अरब सागर, बंगाल की खाड़ी और हिंद महासागर के विशाल समुद्री क्षेत्र के ऊपर संचार की सुविधा के लिये विस्तृत बीम कवरेज प्रदान करेगा.
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