बिक्री कारोबार में आई सुस्ती से जूझ रहे वाहन उद्योग को राहत देने के लिए सरकार ने शुक्रवार को कई उपायों की घोषणा की. सरकार ने सरकारी विभागों द्वारा वाहनों की खरीद पर लगी रोक हटा दी है. साथ ही आज से लेकर मार्च, 2020 तक खरीदे गए वाहनों पर 15 प्रतिशत के अतिरिक्त मूल्यह्रास की अनुमति दी गई है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शुक्रवार को संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि मार्च, 2020 तक खरीदे गए भारत चरण- चार वाहनों को उनकी पंजीकरण की पूरी अवधि तक चलाया जा सकेगा. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के विभागों द्वारा पुराने वाहनों के बदले नए वाहनों की खरीद पर लगी रोक हटाएगा. इसके अलावा मांग प्रोत्साहन के लिए पुराने वाहनों को कबाड़ करने की नीति भी लाई जाएगी. उन्होंने कहा कि इसके साथ ही बिजली चालित वाहनों के साथ साथ पेट्रोल, डीजल जैसे ईंधन (आईसीवी) से चलने वाले वाहनों का पंजीकरण जारी रहेगा.
वित्त मंत्री ने कहा कि सरकार सहायक उपकरणों-कलपुर्जों के लिए बुनियादी ढांचे के विकास पर ध्यान केंद्रित करेगी. इनमें निर्यात के लिए बैटरियां भी शामिल हैं. साथ ही सरकार ने आज से लेकर मार्च, 2020 तक खरीदे गए सभी वाहनों पर 15 प्रतिशत अतिरिक्त मूल्यह्रास की अनुमति देने का फैसला किया है. इससे यह 30 प्रतिशत हो जाएगा. उन्होंने बताया कि एकबारगी पंजीकरण शुल्क में संशोधन को जून, 2020 तक टाल दिया गया है. वाहन उद्योग लगातार सुस्ती से जूझ रहा है.
उद्योग सरकार से प्रोत्साहन पैकेज की मांग करता रहा है. इसमें वाहनों पर माल एवं सेवा कर (जीएसटी) में कटौती भी शामिल हैं. अब करीब एक साल से वाहन उद्योग की बिक्री का आंकड़ा लगातार नीचे आ रहा है. वाहन विनिर्माताओं के संगठन सियाम के आंकड़ों के अनुसार अप्रैल-जून में सभी श्रेणियों में वाहनों की कुल बिक्री 12.35 प्रतिशत घटकर 60,85,406 इकाई रह गई. इससे पिछले साल समान अवधि में यह 69,42,742 इकाई रही थी. फेडरेशन आफ आटोमोबाइल डीलर्स एसोसिएशन (फाडा) का दावा है कि पिछले तीन माह के दौरान सुस्ती की वजह से इस क्षेत्र में करीब दो लाख लोगों की छंटनी हुई है.
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