नई दिल्ली:
सुप्रीम कोर्ट ने चारा घोटाला मामले की सुनवाई करते हुए बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्रा को फटकार लगाई. मामले की सुनवाई को टालने की मिश्रा की मांग पर सुप्रीम कोर्ट नाराज भी हुआ. कोर्ट ने कहा, आपके मामले की सुनवाई को टालने की मंशा से हम सहमत नहीं हैं. हमने आपका हलफनामा भी देखा है और हम यहां 20 साल से काम कर रहे हैं.
कोर्ट ने अपनी नाराजगी जताते हुए कहा कि जनवरी से लेकर अभी तक आपने केस की तैयारी क्यों नहीं की. आप बार-बार केस को टालने की मांग करते हैं और फिर कहते हैं कि अदालतों में बहुत केस लंबित हैं. अब चार हफ्ते बाद सुनवाई होगी और किसी को भी और वक्त नहीं मिलेगा.
चारा घोटाला मामले में आरजेडी प्रमुख लालू यादव और अन्य पर से कुछ धाराएं हटाये जाने के खिलाफ दायर याचिका पर सुप्रीम कोर्ट सुनवाई कर रहा है. दरअसल, झारखंड हाईकोर्ट ने नवंबर 2014 में लालू को राहत देते हुए उन पर लगे घोटाले की साजिश रचने के आरोप हटा दिए थे. हाईकोर्ट ने फैसले में कहा था कि एक ही अपराध के लिए किसी व्यक्ति को दो बार सजा नहीं दी जा सकती है.
हालांकि हाईकोर्ट ने फैसले में यह भी कहा गया कि लालू यादव के खिलाफ आईपीसी की दो अन्य धाराओं के तहत मुकदमा जारी रहेगा. इस फैसले के आठ महीने बाद सीबीआई ने झारखंड हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ जुलाई में सुप्रीम कोर्ट में अपील दाखिल की थी.
करीब 950 करोड़ के चारा घोटाले के आरसी/20ए/96केस में लालू प्रसाद यादव के अलावा बिहार के पूर्व सीएम जगन्नाथ मिश्र, जेडीयू सांसद जगदीश शर्मा समेत 45 आरोपी हैं. इन सभी पर चाईबासा कोषागार से 37.7 करोड़ रुपये की अवैध निकासी का आरोप है.
कोर्ट ने अपनी नाराजगी जताते हुए कहा कि जनवरी से लेकर अभी तक आपने केस की तैयारी क्यों नहीं की. आप बार-बार केस को टालने की मांग करते हैं और फिर कहते हैं कि अदालतों में बहुत केस लंबित हैं. अब चार हफ्ते बाद सुनवाई होगी और किसी को भी और वक्त नहीं मिलेगा.
चारा घोटाला मामले में आरजेडी प्रमुख लालू यादव और अन्य पर से कुछ धाराएं हटाये जाने के खिलाफ दायर याचिका पर सुप्रीम कोर्ट सुनवाई कर रहा है. दरअसल, झारखंड हाईकोर्ट ने नवंबर 2014 में लालू को राहत देते हुए उन पर लगे घोटाले की साजिश रचने के आरोप हटा दिए थे. हाईकोर्ट ने फैसले में कहा था कि एक ही अपराध के लिए किसी व्यक्ति को दो बार सजा नहीं दी जा सकती है.
हालांकि हाईकोर्ट ने फैसले में यह भी कहा गया कि लालू यादव के खिलाफ आईपीसी की दो अन्य धाराओं के तहत मुकदमा जारी रहेगा. इस फैसले के आठ महीने बाद सीबीआई ने झारखंड हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ जुलाई में सुप्रीम कोर्ट में अपील दाखिल की थी.
करीब 950 करोड़ के चारा घोटाले के आरसी/20ए/96केस में लालू प्रसाद यादव के अलावा बिहार के पूर्व सीएम जगन्नाथ मिश्र, जेडीयू सांसद जगदीश शर्मा समेत 45 आरोपी हैं. इन सभी पर चाईबासा कोषागार से 37.7 करोड़ रुपये की अवैध निकासी का आरोप है.
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