विज्ञापन
This Article is From Mar 14, 2021

राकेश टिकैत ने बताया कब तक चल सकता है किसान आंदोलन, बोले- अगर जनता AC में सोती रही तो...

पश्चिम बंगाल का दौरा करने के बाद रविवार को प्रयागराज पहुंचे टिकैत ने झलवा में संवाददाताओं से कहा, “नवंबर-दिसंबर तक इस आंदोलन के चलने की उम्मीद है.”

राकेश टिकैत ने बताया कब तक चल सकता है किसान आंदोलन, बोले- अगर जनता AC में सोती रही तो...
राकेश टिकैत ने कहा- दिसंबर तक चल सकता है किसान आंदोलन (फाइल फोटो)
Quick Take
Summary is AI generated, newsroom reviewed.
'दिसंबर तक चल सकता है किसान आंदोलन'
हमारी मांग है कि एमएसपी का कानून बने : टिकैत
'इस सरकार को तो बड़ी कंपनियां चला रही हैं'
प्रयागराज:

केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के विरोध में भारतीय किसान यूनियन की अगुवाई में चल रहे किसान आंदोलन (Farmers Protest) के इस साल दिसंबर तक चलने की संभावना है. यह बात भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत  (Rakesh Tikait) ने रविवार को यहां कही. पश्चिम बंगाल का दौरा करने के बाद रविवार को प्रयागराज पहुंचे टिकैत ने झलवा में संवाददाताओं से कहा, “नवंबर-दिसंबर तक इस आंदोलन के चलने की उम्मीद है.”

पश्चिम बंगाल में आगामी विधानसभा चुनाव के पूर्व अपने बंगाल दौरे के बारे में टिकैत ने बताया, “दिल्ली से सरकार के लोग पश्चिम बंगाल में किसानों से एक मुट्ठी अनाज मांग रहे हैं. हमने किसानों से कहा कि जब वे चावल दें तो अनाज मांगने वालों से कहें कि वे इस पर एमएसपी भी तय करवा दें और 1850 रुपये का भाव दिला दें.”

उन्होंने कहा, “कल हम बंगाल में थे. पूरे देश में जा रहे हैं. हम किसानों से एमएसपी का कानून बनवाने की मांग करने के लिए कह रहे हैं. अभी बिहार में धान 700-900 रुपये प्रति क्विंटल पर खरीदा गया. हमारी मांग है कि एमएसपी का कानून बने और इससे नीचे पर खरीद ना हो.”

टिकैत ने कहा, “हम दिल्ली में ही रहेंगे. पूरे देश में हमारी बैठकें चल रही हैं. हम 14-15 मार्च को मध्य प्रदेश में रहेंगे फिर 17 मार्च को गंगानगर में और 18 तारीख को फिर गाजीपुर बार्डर चले जाएंगे. इसके बाद 19 को ओडिशा में रहेंगे और 21-22 को कर्नाटक में रहेंगे.”

READ ALSO: चिलचिलाती धूप और लू के थपेड़ों से बचने के लिए आंदोलनरत किसानों ने बनाया बांस का घर, जानें क्या है खास

उन्होंने कहा कि नए कानून से छोटे दुकानदार खत्म हो जाएंगे.. केवल दो मॉल रहेंगे. व्यापारी वर्ग खत्म होगा. लघु उद्योग खत्म हो जाएंगे. वालमार्ट जैसी कंपनियों के आने से साप्ताहिक बाजार खत्म हो जाएंगे. 

टिकैत ने कहा, “यदि सरकार किसी पार्टी की होती तो वह बातचीत कर लेती, लेकिन इस सरकार को तो बड़ी कंपनियां चला रही हैं. इन्होंने पूरा देश बेच दिया. बैंकिंग क्षेत्र, एलआईसी, हवाई अड्डे...देश का सबकुछ बिक गया. अगर जनता पंखे और एसी में सोती रही तो देश बिक जाएगा.”

इससे पूर्व, टिकैत ने झलवा में टिकैत पार्क में स्थित महेंद्र सिंह टिकैत की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया. इस मौके पर भारतीय किसान यूनियन के जिलाध्यक्ष अनुज सिंह और अन्य किसान नेता मौजूद थे.

वीडियो: इन युवाओं को किसान आंदोलन के समर्थन में उतरने के लिए कहां से मिल रही है प्रेरणा, बता रही हैं सोनाक्षी चक्रवर्ती

  

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे: