हड्डी टूटने पर क्या करना चाहिए जानें कैसे करनी चाहिए फर्स्ट एड, ताकि मरीज को ना हो ज्यादा परेशानी

किसी तरह की चोट या दुर्घटना के बाद मिली फर्स्ट एड (First aid) का बहुत महत्व होता है. इससे पीड़ित को गंभीर क्षति यहां तक की जान बचाने में भी मदद मिल सकती है. आइए जानते हैं हड्डी टूट जाने पर सबसे पहले क्या उपाय (First aid for Fractures) करने चाहिए.

हड्डी टूटने पर क्या करना चाहिए जानें कैसे करनी चाहिए फर्स्ट एड, ताकि मरीज को ना हो ज्यादा परेशानी

हड्डी टूट जाए तो ऐसे करें फर्स्ट एड.

जाने- अनजाने में लोग एक्सीडेंट या किसी गंभीर चोट के शिकार हो जाते हैं, जिसकी वजह से हड्डियों में फ्रैक्चर (Fractures) हो जाता है. छोटे बच्चे खेल कूद के दौरान गिर जाते हैं जिसकी वजह से उन्हें चोट लग जाती है, या बोन फ्रैक्चर हो जाता है. किसी तरह की चोट या दुर्घटना के बाद मिली फर्स्ट एड (First aid) का बहुत महत्व होता है. इससे पीड़ित को गंभीर क्षति यहां तक की जान बचाने में भी मदद मिल सकती है. आइए जानते हैं हड्डी टूट जाने पर सबसे पहले क्या उपाय (First aid for Fractures) करने चाहिए.

हड्डी टूट जाने की स्थिति में तत्काल मेडिकल सहायता की जरूरत होती है. अगर हड्डी टूटने के कारण बहुत ज्यादा चोट या ट्रामा पहुंचा तो तुरंत इमरजेंसी नंबर 911 या लोकल इमरजेंसी नंबर पर फोन कर मदद मांगनी चाहिए.

इन हालात में तुरंत मांगे मदद ( Call for emergency help if)

  • अगर पीड़ित कोई प्रतिक्रिया नहीं दे रहा हो, सांस नहीं ले रहा हो या हिल-डुल नहीं रहा हो, सांस नहीं लेने पर तत्काल सीपीआर शुरू करना चाहिए.
  • अगर बहुत ज्यादा खून बह रहा हो
  • अगर थोड़े से भी प्रेशर या हिलाने से बहुत ज्यादा दर्द हो रहा हो
  • अंग या जोड़ डिफ्रॉम नजर आ रहा हो
  • हड्‌डी ने स्किन को फाड़ दिया हो
  • घायल हाथ या पैर का ऊपरी हिस्सा, जैसे पैर का अंगूठा या अंगुली, सिरे पर सुन्न या नीले पड़ रहे हों
  • अगर गर्दन, सिर या पीठ में कोई हड्डी टूट जाने का संदेह हो

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चोट लगने या हड्डी टूटने पर ऐसे करें फर्स्ट एड (First aid for Fractures)

  • पीड़ित को बहुत जरूरी नहीं हो तो हिलाना डुलाना नहीं चाहिए, इससे चोट बढ़ने की आशंका रहती है. मेडिकल हेल्प आने तक ये करें
  • ब्लीडिंग रोकने के लिए घाव को स्टेरेलाइट पट्‌टी या साफ कपड़े से दबा दें
  • घायल अंग को स्थिर रखने की कोशिश करें. बाहर निकली हड्डी को ठीक करने या वापस धकेलने का प्रयास न करें. अगर कोई स्प्लिंट लगाने में प्रशिक्षित व्यक्ति हो तो फ्रैक्चर साइट के ऊपर और नीचे में स्प्लिंट लगा देना चाहिए.  इससे असुविधा कम हो सकती है.
  • सूजन को रोकने के लिए आइस पैक लगाएं. इसके लिए आइस को एक टॉवेल में लपेट पर चोट पर रखें

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सदमे का उपचार करें

अगर पीड़ित सदमे में हो और उसकी सांसे उखड़ रही हो या सांस तेज चल रही हो तो उसे पीठ के बल लिटा दें. सिर को शरीर के अपेक्षाकृत नीचे रखने का प्रयास करें.

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अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.

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