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प्रेमानंद महाराज ने बताया क्यों और किसे नहीं खाना चाहिए प्याज-लहसुन, लड्डू गोपाल को लगाएं कैसा भोग

आपके घर में भी बनता है प्याज और लहसुन वाला खाना तो प्रेमानंद महाराज ने बताया लड्डू-गोपाल को कैसे भोग है भोग लगाना.

प्रेमानंद महाराज ने बताया क्यों और किसे नहीं खाना चाहिए प्याज-लहसुन, लड्डू गोपाल को लगाएं कैसा भोग
लड्डू-गोपाल को प्याज-लहसुन वाले खाने का भोग नहीं लगता है.

How to serve Laddu Gopal who eats onion and garlic: भगवान श्रीकृष्ण के बाल स्वरूप को लड्डू गोपाल कहा जाता है. लोग लड्डू गोपाल को अपने घर में रखते हैं और उनकी सेवा करते हैं. बता दें कि लड्डू गोपाल को बिल्कुल बच्चों की तरह रखा जाता है और उनकी सेवा की जाती है. जिस तरह से बच्चे को सुबह उठाने से लेकर उनके खान-पान, सुलाना, नहाना सब किया जाता है ठीक उसी तरह से लड्डू गोपाल की भी सेवा की जाती है. घर में जब भी खाना बनता है तो उनके लिए भी खाना निकाल कर भोग लगाया जाता है. लेकिन कई लोगों के मन में ये सवाल आता है कि अगर उनके घर में प्याज और लहसुन का सेवन किया जाता है और खाना बनाने में इस्तेमाल किया जाता है तो फिर लड्डू-गोपाल को भोग कैसे लगाएं. दरअसल प्याज-लहसुन को तामसिक भोजन में गिना जाता है इसलिए किसी भी धार्मिक कार्य में बने खाने में इसका इस्तेमाल नहीं किया जाता है. ऐसे में भोग लगाने पर असमंजस की स्थिति पैदा हो जाती है. प्रेमानंद महाराज ने इसी समस्या का समाधान बताया है कि जिन घरों में प्याज-लहसुन का इस्तेमाल होता है वो भोग कैसे लगाएं. 

प्रेमानंद महाराज ने बताया कि आप जब भी लड्डू-गोपाल को भोग लगाते हैं तो उसमें तुलसी का पत्ता जरूर डालें. बिना तुलसी के भगवान भोजन ग्रहण नहीं करते हैं. महाराज ने बताया कि जिस तरह से आलू को उगाया जाता है उसी तरह से प्याज और लहसुन भी उगाते हैं. लेकिन ये तामसिक होता है इसलिए साधु-संतों के लिए इसका सेवन करने की मनाही होती है. क्योंकि उन्हें तमोगुण, रजोगुण त्याग करते हुए सतोगुण होते हुए भजन में बढ़ना है.

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महाराज ने बताया कि प्याज-लहसुन का सेवन कोई पाप नहीं है. लेकिन जो लोग भगवत मार्ग पर चल रहे हैं वो इसका सेवन नहीं करते हैं. प्रेमानंद महाराज कहते हैं कि उस पदार्थ का सेवन नहीं करना चाहिए जिसमें दूसरों को कष्ट होता है जैसे मांस-मछली. 

महाराज ने बताया कि भगवान को बिना प्याज-लहसुन से बने खाने का भोग लगाएं. आप इनका सेवन कर सकते हैं. बस जब भी आप खाना बनाएं तो नन्दलाल के लिए अलग से खाना निकालने के बाद इस चीजों का इस्तेमाल करें. इसके अलावा आप रोटी वहीं ले सकते हैं जिसे आप सबके लिए बना रहे हैं. 

बिना प्याज-लहसुन के छोला कैसे बनाएं-

अगर आपको भी लगता है कि बिना प्याज-लहसुन के खाने में स्वाद नहीं आता है तो ऐसा कहना गलत है. अगर आपको खाना बनाने का सही तरीका मालूम है तो आप बिना इन दोनों के भी टेस्टी खाना बना सकते हैं. आइए जानते हैं बिना प्याज-लहसुन के छोला बनाने की रेसिपी.

सामग्री

  • 2 कटोरी कावली चने
  • 4 टमाटर कद्दूकस करें
  • थोड़ा सा तेल, नमक स्वाद अनुसार
  • थोड़ी सी लाल मिर्च पाउडर, हल्दी पाउडर, धनिया पाउडर
  • 2 चम्मच छोले मसाला,
  • थोड़ा सा बारीक कटा धनिया
  • 1 एक हरी मिर्च
  • आधी छोटी चम्मच गरम मसाला,
  • 1 हल्दी पाउडर, धनिया पाउडर

रेसिपी

काबुली चने को धोकर रात में भीगने के लिए रख दें. सुबह चनों को उबाल लें. अब आपको टमाटर को अच्छी तरह से धोकर उसे कद्दूकस कर लेना है. अब एक कढ़ाही में तेल गर्म करें. उसमें हींग और जीरा का तड़का लगाएं और इसमें टमाटर और कटी हुई हरी मिर्च डालकर मिलाएं. इसके बाद इसमें लाल मिर्च पाउडर, हल्दी, धनिया पाउडर डालकर सभी चीजों को भून लें. जब मसाले भुन जाएं और तेल निकल आए तो उसमें पानी डालकर इसे उबलने दें. फिर इसमें उबले हुए काबुली चनें डालें और थोड़े से उसमें मैश कर दें. कुछ देर उबलने के बाद इसमें ऊपर से गरम मसाला डालकर मिक्स करें और हरी धनिया से गार्निश करें. आपके बिना प्याज-लहसुन वाले छोले बनकर तैयार हैं.

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(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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