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This Article is From Jul 19, 2016

'हमारी याद आएगी' गाने वाली मुबारक बेगम के आखिरी दौर की बदहाली भी रहेगी याद

'हमारी याद आएगी' गाने वाली मुबारक बेगम के आखिरी दौर की बदहाली भी रहेगी याद
मशहूर गायिका मुबारक बेगम (फाइल फोटो)
नई दिल्ली: किसी जमाने में अपनी आवाज से लाखों लोगों को दीवाना बनाने वाली 80 साल की मुबारक बेगम नहीं रहीं। ‘कभी तन्हाइयों में यूं, हमारी याद आएगी’ जैसे सदाबहार गीत को अपनी आवाज देने वाली मुबारक ने एसडी बर्मन, शंकर-जयकिशन और खय्याम जैसे प्रतिष्ठित संगीतकारों के साथ काम किया। बेगम ने मुख्य तौर पर 1950 से 1970 के दशक के बीच बॉलीवुड के लिए सैकड़ों गीतों और ग़ज़लों को अपनी आवाज दी थी, जिसके लिए उन्हें याद किया जाता है।

मुंबई के जोगेश्वरी में अपने परिवार के साथ रहने वाली मुबारक बेगम की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी। काफी सालों से महज पेंशन पर ही उनका गुजारा चल रहा था। बेटा भी इतना अच्छा नहीं कमा पा रहा था। बॉलीवुड के साथ इतने साल गुजारने वाली मुबारक को वहां से भी कोई आसरा नहीं मिला और वह गुमनामी के अंधेरों में खोती चली गईं।  इससे एक बार फिर वही कहावत साबित हुई कि उगते सूरज को हर कोई सलाम करता है। डूबते से हर कोई बचकर निकलता है। हालांकि बीच में खबर आई थी कि सरकार ने बेगम को हरसंभव मदद देने का भरोसा दिया है।

वह उपनगरीय मुंबई के जोगेश्वरी में एक बेडरूम के घर में रहती थीं। पिछले वर्ष उनकी बेटी की मौत के बाद से ही उनकी तबीयत बिगड़ने लगी थी। 2013 में एक इंटरव्यू के दौरान मुबारक ने अपनी हालत पर बात करते हुए कहा था कि अपने मुंह से वह किससे मदद के लिए कहें, क्या उन्हें नहीं पता कि खर्च कैसे चलता होगा? सरकार से उन्हें शिकायत थी, जो उस समय महज 700 रुपये पेंशन देती थी। बेटा जैसे-तैसे टैक्सी चलाकर गुजारा कर रहा था। बीमार बेटी पर हर महीने 5 से 6 हजार महीने खर्च करने पड़ते थे। यही नहीं उन्होंने बिना नाम लिए बॉलीवुड के प्रति भी नाराजगी जाहिर की थी।

2013 में एनडीटीवी को इंटरव्यू : बदहाली के दौर में मुबारक बेगम

उनके गाए 10 सुपरहिट गानें
1963 'हमराही' - मुझ को अपने गले लगा लो, ए मेरे हमराही...
1961 'हमारी याद आएगी'- कभी तन्हाइयों में यूं हमारी याद आएगी...
1968 'जुआरी' - नींद उड़ जाए तेरी चैन से सोने वाले...    
1955 'देवदास' - वो ना आएंगे पलट के
1958 'मधुमती'- हम हाल-ए दिल-सुनाएंगे, सनिए के न सुनिए...
1968 'सरस्वतीचंद्रा' - वादा हमसे किया,,,दिल किसी को दिया
1965 'खूनी खजाना' - ए दिल बताना हम कहां आ गए....    
1964 'शगुन' - कुछ अजनबी से आप हैं...
1961 'अरब का सितारा' - शमा गुल करके ना जाओ यूं..    
1980 'रामू तो दीवाना है' - सांवरिया तेरी याद में रो-रो मर जाएंगे हम...

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