Bhanu Saptami 2023: पंचांग के अनुसार, हर महीने शुक्ल पक्ष की सप्तमी तिथि को भानु सप्तमी का व्रत रखा जाता है. आषाढ़ के महीने में भानु सप्तमी का व्रत 25 जून यानी आज रखा जा रहा है. रविवार के दिन पड़ने के चलते भानु सप्तमी के दिन भगवान सूर्य (Surya Dev) की पूजा का महत्व अत्यधिक बढ़ गया है. ऐसा इसलिए क्योंकि सप्ताह के हर दिन को किसी ना किसी देवता को समर्पित किया गया है. सोमवार का दिन भगवान शिव का माना जाता है, मंगलवार के दिन बजरंगबली की पूजा होती है और इसी तरह रविवार का दिन सूर्य देव को समर्पित है. यहां जानिए सूर्य देव की इस माह भानु सप्तमी के दिन किस तरह पूजा कर सकते हैं.
भानु सप्तमी के दिन सूर्य देव की पूजा
सेहत, सफलता, आत्मविश्वास, सुख और नेतृत्व क्षमता में वृद्धि के लिए भानु सप्तमी का व्रत रखा जाता है. भानु सप्तमी का व्रत रखने वाले भक्त खासतौर से सूर्य देव की आराधना करते हैं. भानु सप्तमी की पूजा (Bhanu Saptami Puja) करने के लिए सुबह-सवेरे उठकर स्नान पश्चात सूर्यदेव को अर्घ्य दिया जाता है. माना जाता है कि सूर्य देव को अर्घ्य देने के कलश में लाल चंदन डालने पर विशेष कृपा मिलती है. घर के द्वार पर सूर्य देव के आगमन के लिए रंगोली बनाई जाती है. इसके अलावा, भोग में खीर तैयार की जाती है जिसमें गेंहू के बारह ढेर डाले जाते हैं.
सूर्य मंत्रों का किया जाता है जापभानु सप्तमी के दिन मान्यतानुसार सूर्य देव के मंत्रों का जाप किया जाता है. सूर्य देव की पूजा यदि कोई नहीं भी कर पाता है तो उसे सूर्य देव के मंत्रों का जाप करने की सलाह दी जाती है.
ॐ खगाय नमः.
ॐ हिरण्यगर्भाय नमः
ॐ मित्राय नमः
ॐ रवये नमः
ॐ भानवे नमः
ॐ सवित्रे नमः
ॐ हिरण्यगर्भाय नमः.
ॐ मरीचये नमः
ॐ पूष्णे नमः
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)
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