
न्यूजीलैंड के पूर्व कप्तान जेरेमी कोनी (Jeremy Coney) का मानना है कि भारत के खिलाफ दूसरे टेस्ट में करारी शिकस्त मिलने के बाद उनकी टीम को अच्छी स्पिन गेंदबाजी के खिलाफ कौशल विकसित करने के लिए साहसी बनना होगा और इसमें समय और पैसा लगाने की जरूरत है. मुंबई में खेले गये दूसरे टेस्ट मैच में न्यूजीलैंड के बल्लेबाज भारतीय स्पिनरों के खिलाफ संघर्ष करते दिखे और दोनों पारियों में महज 62 तथा 167 रन ही बना सके. टीम ने सोमवार को यह टेस्ट मैच रिकॉर्ड 372 रन से गंवा दिया. कोनी ने ‘एसईएनजेड' पर कहा, ‘‘मुझे लगता है कि न्यूजीलैंड क्रिकेट को साहसी होने की जरूरत है. उन्हें स्पिन गेंदबाजी में विश्वास करने और खेल के उस हिस्से के विकास के लिए समय और पैसा देने की जरूरत है.''
इस 69 साल के पूर्व खिलाड़ी ने कहा, ‘‘हमें ऐसी जगह चाहिए जहां खिलाड़ी बल्लेबाजी कोच की देख रेख में स्पिन का सामना करें. हमें खिलाड़ियों को भारत भेजने का प्रयास करना चाहिए.'' भारत में जन्मे न्यूजीलैंड के स्पिनर ऐजाज पटेल ने इस मैच की पहली पारी में सभी 10 विकेट लेकर आश्चर्यचकित प्रदर्शन किया. वह इस रिकॉर्ड को बनाने वाले तीसरे गेंदबाज है. उन्होंने दूसरी पारी में भी चार विकेट लिये थे.
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न्यूजीलैंड के लिए 52 टेस्ट में 2668 रन बनाने वाले कोनी ने कहा, ‘‘एक और विकल्प यह है कि हम न्यूजीलैंड में ऐसे विकेट तैयार करे जहां दूसरों की तुलना में गेंद को अधिक स्पिन मिले. इससे बल्लेबाजों के साथ विकेटकीपर और क्षेत्ररक्षकों को भी इन पिचों के बारे में समझने का मौका मिलेगा.''
उन्होंने कहा, ‘‘ये सभी पूर्णकालिक क्रिकेट है और मुझे लगता है कि हमें इस पर और अधिक काम करने की जरूरत है.'' न्यूजीलैंड की यह रनों के लिहाज से सबसे बड़ी हार है. इससे पहले दक्षिण अफ्रीका ने उसे 2007 में जोहानिसबर्ग में 358 रन से पराजित किया था.
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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं