बिहार (Bihar) के पुलिस महानिदेशक (DGP) गुप्तेश्वर पांडेय (Gupteshwar Pandey) ने मंगलवार को स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति (VRS) ले लिया. उन्होंने वीआरएस के लिए आवेदन दिया था जिसको तुरंत ही स्वीकृति मिल गई. यह कदम उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) के निर्देश पर अपनी राजनीतिक पारी शुरू करने के लिए उठाया है. केंद्र ने उनके वीआरएस को स्वीकार कर लिया. अब वे जल्द ही विधिवत रूप से राजनीतिक पारी शुरू करने की घोषणा कर सकते हैं. वे विधानसभा चुनाव लड़ेंगे. पांडेय को वीआरएस दे दिया गया है और उनकी जगह एसके सिंघल (SK Singhal) बिहार के नए डीजीपी बनाए गए हैं.
माना जाता है कि बिहार सरकार ने गुप्तेश्वर पांडेय का वीआरएस का आवेदन केंद्र को मंगलवार की शाम को ही भेजा था. पांडेय के इस्तीफ़े और वीआरएस की ख़बर पिछले कई दिनों से चल रही थी. दो दिन पहले ही पांडेय ने अपने गृह ज़िले बक्सर का दौरा किया था. वे वहा के ज़िला जनता दल यूनाइटेड के अध्यक्ष से मिले थे. हालांकि उन्होंने अपने चिरपरिचित अंदाज़ में चुनाव और राजनीति में शामिल होने की खबरों को अफ़वाह बताया था. उन्होंने तो यहां तक कहा था कि संवैधानिक पद पर बैठा व्यक्ति चुनाव कैसे लड़ सकता है.
इसके बाद उनके पटना आने के बाद उनकी मुलाक़ात कुछ और नेताओं से हुई. लेकिन जब उन्होंने वीआरएस के लिए आवेदन दे दिया तो इस बात की पुष्टि हो गई कि नीतीश कुमार से हरी झंडी मिलने के बाद अब वे राजनीति में पदार्पण ही नहीं कर रहे बल्कि जल्द ही चुनावी मैदान में कूदने वाले हैं. गुप्तेश्वर पांडेय के एनडीए के नेताओं से मधुर सम्बंध रहे हैं. सन 2009 के लोकसभा चुनाव से पूर्व भी उन्होंने वीआरएस लिया था लेकिन टिकट न मिलने पर वे नीतीश कुमार की कृपा से सर्विस में वापस आने में कामयाब हुए थे.
इस बार भी शिक्षक दिवस पर सबके सामने नीतीश कुमार ने उनसे चुनाव की तैयारी करने के लिए कहा था. उस कार्यक्रम से निकलकर पांडेय सीधे खादी के कपड़े खरीदने के लिए खादी ग्राम उद्योग की दुकान में गए थे जो काफ़ी चर्चा का विषय रहा था.
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