नवजोत सिंह सिद्धू को पंजाब की नई कांग्रेस सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाया गया है
चंडीगढ़:
पंजाब सरकार में मंत्री पद की शपथ लेने के एक दिन बाद नवजोत सिंह सिद्धू ने शुक्रवार को कहा कि अगर राज्य के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह उन्हें विधायक के रूप में काम करने के लिए भी कहते, तो वह ऐसा करते. क्रिकेटर से नेता बने सिद्धू ने कहा कि वह टीवी शो में करना जारी रखेंगे. सिद्धू को अमरिंदर सरकार की कैबिनेट में स्थानीय सरकार, पर्यटन और सांस्कृतिक मामला, अभिलेखागार और संग्रहालय विभाग आवंटित किया गया है.
पदभार ग्रहण करने के बाद उन्होंने संवाददाताओं से कहा, 'इस बात को लेकर बहुत चर्चा हुई कि सिद्धू ये बनेगा, वो बनेगा...लोगों की कामनाओं और इरादों के लिए मैं उनका शुक्रगुजार हूं. हालांकि मैं इन चीजों से हमेशा दूर रहा. उनको डिप्टी सीएम बनाए जाने से जुड़ी अटकलों के बारे में पूछे जाने पर सिद्धू ने कहा, 'अगर कैप्टन (अमरिंदर सिंह) मुझे विधायक के रूप में काम करने को भी कहते तो मैं वैसा करता.'
उन्होंने कहा, 'कैप्टन साहब, राहुल जी और प्रियंका जी ने मेरे लिए जो कुछ भी सोचा, मैं उससे खुश हूं और वह मेरे अनुकूल है. मैं राज्य को सही पटरी पर लाने के लिए आया हूं. मैं कोई निजी हित साधने के लिए यहां नहीं आया हूं.'
भाजपा के पूर्व सांसद ने कहा कि भगवा दल ने वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव में उनको कुरुक्षेत्र, चंडीगढ़ और पश्चिमी दिल्ली संसदीय क्षेत्र से चुनाव लड़ने की पेशकश की थी. पूर्व क्रिकेटर ने कहा कि राज्यसभा की सीट उनके लिए मायने नहीं रखती थी और इसी कारण उनको पार्टी छोड़नी पड़ी.
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
पदभार ग्रहण करने के बाद उन्होंने संवाददाताओं से कहा, 'इस बात को लेकर बहुत चर्चा हुई कि सिद्धू ये बनेगा, वो बनेगा...लोगों की कामनाओं और इरादों के लिए मैं उनका शुक्रगुजार हूं. हालांकि मैं इन चीजों से हमेशा दूर रहा. उनको डिप्टी सीएम बनाए जाने से जुड़ी अटकलों के बारे में पूछे जाने पर सिद्धू ने कहा, 'अगर कैप्टन (अमरिंदर सिंह) मुझे विधायक के रूप में काम करने को भी कहते तो मैं वैसा करता.'
उन्होंने कहा, 'कैप्टन साहब, राहुल जी और प्रियंका जी ने मेरे लिए जो कुछ भी सोचा, मैं उससे खुश हूं और वह मेरे अनुकूल है. मैं राज्य को सही पटरी पर लाने के लिए आया हूं. मैं कोई निजी हित साधने के लिए यहां नहीं आया हूं.'
भाजपा के पूर्व सांसद ने कहा कि भगवा दल ने वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव में उनको कुरुक्षेत्र, चंडीगढ़ और पश्चिमी दिल्ली संसदीय क्षेत्र से चुनाव लड़ने की पेशकश की थी. पूर्व क्रिकेटर ने कहा कि राज्यसभा की सीट उनके लिए मायने नहीं रखती थी और इसी कारण उनको पार्टी छोड़नी पड़ी.
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